हिंदू नववर्ष की इस पूर्णिमा पर मनाई जाएगी हनुमान जयंती, जानें तिथि, मुहूर्त और पूजा विधि!

हिंदू नववर्ष की पहली पूर्णिमा पर मनाई जाएगी हनुमान जयंती, जानें तिथि, मुहूर्त और पूजा विधि!

हनुमान जयंती 2025: चैत्र माह का हिंदू धर्म में विशेष महत्व माना गया है क्योंकि इस महीने कई बड़े एवं प्रमुख पर्वों को मनाया जाता है। इसी क्रम में, हनुमान जी के भक्तों को चैत्र मास का बेसब्री से इंतजार रहता है क्योंकि इस माह में हनुमान जयंती आती है। भगवान हनुमान के जन्मोत्सव के रूप में हनुमान जयंती को मनाया जाता है। बता दें कि हनुमान जी भगवान राम के परम भक्त हैं और इनकी पूजा-अर्चना करने से भक्तों के जीवन से सभी तरह के संकट और बाधाओं का निवारण होता है। कहते हैं कि हनुमान जी की आराधना करने से भक्तों को हर भय और पीड़ा से मुक्ति मिलती है। साथ ही, हनुमान जयंती को चैत्र पूर्णिमा के रूप में भी मनाया जाता है। 

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“हनुमान जयंती 2025” का यह विशेष ब्लॉग एस्ट्रोसेज एआई अपने पाठकों के लिए लेकर आया है ताकि आपको हनुमान जयंती की तिथि, मुहूर्त, इसका महत्व और सही पूजा विधि की सटीक जानकारी प्राप्त हो सके। साथ ही, इस दिन किन उपायों को करने से आप हनुमान जी का आशीर्वाद पाने के साथ-साथ नकारात्मक शक्तियों से सुरक्षा पा सकते है,  इस बारे में भी हम बात करेंगे। तो चलिए बिना देर किए शुरुआत करते हैं इस ब्लॉग की और जानते हैं हनुमान जयंती के बारे में सब कुछ।

हनुमान जयंती 2025: तिथि एवं मुहूर्त  

भगवान हनुमान को आठ चिरंजीवियों में से एक माना गया है और इनकी विशेष कृपा प्राप्त करने के लिए हनुमान जयंती का दिन सर्वश्रेष्ठ होता है। हिन्दू पंचांग के अनुसार, चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि पर हनुमान जी का जन्म हुआ था इसलिए इस तिथि को हनुमान जयंती के रूप में हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। इस दिन भक्तों द्वारा हनुमान जी की आराधना की जाती है और उनके लिए व्रत रखा जाता है। बता दें कि हनुमान जयंती चैत्र मास की पूर्णिमा पर आती है इसलिए इस दिन चैत्र पूर्णिमा का व्रत भी किया जाता है। हालांकि, उत्तर और दक्षिण भारत में हनुमान जयंती की तिथियों में अंतर देखने को मिलता है। इस बारे में हम बाद में चर्चा करेंगे, उससे पहले जान लेते हैं हनुमान जयंती की सही तिथि। 

हनुमान जयंती की तिथि: 12 अप्रैल 2025, शनिवार

पूर्णिमा तिथि का आरंभ: 12 अप्रैल 2025 की रात 03 बजकर 24 मिनट पर, 

पूर्णिमा तिथि समाप्त: 13 अप्रैल 2025 की सुबह 05 बजकर 54 मिनट तक। 

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हनुमान जयंती का धार्मिक महत्व 

हनुमान जी को राम जी के सबसे बड़े भक्त का दर्जा प्राप्त है जो साहस और निडरता के प्रतीक माने गए है। इनके पिता केसरी और माता अंजनी हैं। संकटमोचन को भगवान शिव का ग्यारहवां अवतार माना जाता है। हम सभी इस बात को भली-भांति जानते हैं कि हिन्दू धर्म के महाकाव्य रामायण में हनुमान जी ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। बजरंगबली की शक्ति, भक्ति और पराक्रम ने भगवान राम की रावण के विरुद्ध युद्ध जीतने में सहायता की थी। 

भक्ति और निष्ठा के प्रतीक के रूप में हनुमान जी की कृपा एवं सानिध्य पाने के लिए हनुमान जयंती का दिन सर्वश्रेष्ठ होता है। इनकी गिनती आठ चिरंजीवियों में होती है जो कलयुग में भी अपने भक्तों की हर संकट से रक्षा करते हैं। कहते हैं कि इस दिन श्रद्धापूर्वक और सच्चे मन से पूजा एवं व्रत करना भक्तों के लिए फलदायी साबित होता है। हनुमान जयंती के अवसर पर देश भर के हनुमान मंदिरों में पूजा-पाठ, धार्मिक अनुष्ठानों एवं भंडारों का आयोजन किया जाता है। साथ ही, हनुमान जी के जन्म कथा और लीलाओं का पाठ किया जाता है। 

हनुमान पूजा के लाभ 

हनुमान जयंती एक बेहद शुभ अवसर होता है संकटमोचन की कृपा पाने के साथ-साथ अपनी समस्याओं का समाधान प्राप्त करने के लिए। ऐसी मान्यता है कि हनुमान जन्मोत्सव पर बजरंगबली के निमित्त व्रत एवं पूजन करने से भक्त के जीवन से हर तरह के दुख और संकट का नाश होता है। कहते है कि इस दिन हनुमान पूजन के दौरान वायुपुत्र को सिंदूर अवश्य अर्पित करना चाहिए, अन्यथा पूजा अधूरी रहती है। ऐसा करने से भक्त को आर्थिक समस्याओं से छुटकारा मिलता है और नकारात्मक शक्तियों से सुरक्षा प्राप्त होती है।

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दो बार क्यों मनाई जाती है हनुमान जयंती?

शायद आपको यह बात हैरान कर सकती है कि एक वर्ष में हनुमान जयंती दो बार मनाई जाती है, पहली चैत्र पूर्णिमा के दिन और दूसरी कार्तिक माह की चतुर्दशी तिथि पर। धार्मिक ग्रंथों के अनुसार, हनुमान जी का जन्म कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी पर देवी अंजनी के गर्भ से हुआ था। वहीं, दूसरी हनुमान जयंती के पीछे एक कथा जुड़ी है जिसमें ऐसा कहा गया है कि एक बार हनुमान जी सूर्य को फल समझकर निगल गए थे और इससे क्रोधित होकर इंद्रदेव ने अपने वज्र से हनुमान जी पर प्रहार कर दिया था जिससे वह मूर्छित हो गए थे, तब पवन देव के क्रोधित होने पर ब्रह्मा जी और सभी देवी-देवताओं ने बजरंगबली को पुनः जीवनदान दिया था, उस समय से ही यह दिन हनुमान जयंती के रूप में मनाया जाने लगा। 

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हनुमान जयंती पूजा विधि

हनुमान जयंती के शुभ अवसर पर हनुमान जी का पूजन नीचे दी गई विधि से करें।   

  • प्रात:काल स्नान-ध्यान से निवृत्त होकर व्रत का संकल्प लेकर पूजा स्थान की साफ़-सफाई  करें।
  • पूजा स्थान पर लाल कपड़ा बिछाकर हनुमान जी का चित्र या मूर्ति की स्थापना करें। 
  • इसके बाद बजरंगबली के सामने घी का दीपक जलाएं और धूप, दीप दिखाएं। 
  • अब अनामिका अंगुली से हनुमान जी को तिलक करें और उन्हें पूजन सामग्री सिंदूर, चंदन गंध और फूल अर्पित करें।
  • पंचोपचार पूजन के उपरांत संकटमोचन को नैवेद्य अर्पित करें।
  • वायुपुत्र हनुमान जी की पूजा के बाद उन्हें गुड़-चने का प्रसाद के रूप में भोग लगाएं। 
  • आरती करने के बाद सबको प्रसाद दें और आप भी इसका सेवन करें। 

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हनुमान जयंती के लिए मंत्र, प्रिय भोग और फूल 

हनुमान मंत्र 

 ॐ हनु हनु हनु हनुमते नम:

हनुमान जी का प्रिय भोग

हनुमान जयंती पर भगवान हनुमान की कृपा पाने के लिए आप बेसन, केले या बूंदी के लड्डुओं का भोग लगाएं।

हनुमान जयंती पर अर्पित करें ये फूल 

हनुमान जयंती पर हनुमान पूजन के लिए लाल या पीले रंग के वस्त्र धारण करें और इनकी पूजा में लाल गुलाब के फूल अर्पित करें।

हनुमान जयंती पर करें ये सरल उपाय

  • घर में धन का प्रवाह बनाए रखने के लिए हनुमान जयंती के दिन से हनुमान जी के मंदिर जाना शुरू करें और अगले 9 मंगलवार 9 बताशे, एक जनेऊ और एक पान अर्पित करें।
  • रोगों से मुक्ति के लिए हनुमान जयंती पर सूर्योदय के समय हनुमान मंदिर जाएं और बजरंगबली को दण्डवत प्रणाम करें।

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सुरक्षा प्राप्ति के लिए हनुमान जयंती 2025 पर राशि अनुसार करें ये उपाय  

मेष राशि 

साहस, दृढ़ता में वृद्धि और सफलता की प्राप्ति के लिए हनुमान जयंती पर मेष राशि के जातक हनुमान चालीसा का 11 बार पाठ करें और हनुमान को लाल फूल चढ़ाएं। 

वृषभ राशि

वृषभ राशि के जातक अपने करियर में स्थिरता और तरक्की पाने के लिए भगवान हनुमान को सिंदूर और गुड़ अर्पित करें। साथ ही, बजरंग बाण का पाठ करें।

मिथुन राशि

मिथुन राशि वाले हनुमान जयंती पर हनुमान अष्टक का 108 बार पाठ करें और बजरंगबली को हरे चने का भोग लगाएं।

कर्क राशि

कर्क राशि वाले इस दिन हनुमान जी को दूध और शहद चढ़ाएं। जीवन में भावनात्मक स्थिरता पाने के लिए गायत्री मंत्र का जाप करें।

सिंह राशि

सिंह राशि के जातक नेतृत्व क्षमता को मज़बूत बनाने के लिए हनुमान जयंती पर संकटमोचन के मंत्र “ॐ हनुमते नमः” का 108 बार जाप करें। साथ ही, उन्हें लाल चंदन चढ़ाएं।

कन्या राशि

कन्या राशि वाले हनुमान जयंती के दिन हनुमान द्वादश नाम स्तोत्र का 12 बार पाठ करें। साथ ही, हनुमान जी को पीले रंग के फूल अर्पित करें। 

तुला राशि

तुला राशि के जातक इस अवसर पर हनुमान आरती का पाठ करें और उन्हें तिल का तेल चढ़ाएं। 

वृश्चिक राशि

वृश्चिक राशि के लोग बुरी शक्तियों से सुरक्षा के लिए संकटमोचन हनुमान को सिंदूर अर्पित करें। साथ ही, हनुमान कवच का 108 बार पाठ करें।

धनु राशि

धनु राशि वाले आर्थिक समृद्धि के लिए हनुमान जी को पीले रंग की मिठाई या पेड़े का भोग लगाएं और हर मंगलवार को हनुमान मंदिर जाएं।

मकर राशि

मकर राशि के जातक भगवान हनुमान को सरसों का तेल अर्पित करें और हनुमान चालीसा का पाठ करें। 

कुंभ राशि

कुंभ राशि वाले हनुमान जयंती के दिन हनुमान जी को नीले रंग के फूल चढ़ाएं और हनुमान अष्टोत्तर शतनामावली का 108 बार पाठ करे। 

मीन राशि

मीन राशि के जातकों के लिए हनुमान स्तोत्र का पाठ करें। साथ ही, हनुमान जी को सफेद रंग के फूल अर्पित करें।

हनुमान जन्म की पौराणिक कथा 

धार्मिक ग्रंथों में वर्णित कथाओं के अनुसार, माता अंजना एक अप्सरा थीं जिन्हें एक श्राप की वजह से धरती पर जन्म लेना पड़ा था। देवी अंजना को इस श्राप से मुक्ति तब ही मिल सकती थी जब वह अपने गर्भ से संतान को जन्म देतीं। वाल्मीकि रामायण में कहा गया है कि श्री हनुमान जी के पिता केसरी थे जो सुमेरू के राजा थे और बृहस्पति देव के पुत्र थे। देवी अंजना ने संतान की प्राप्ति के लिए 12 वर्षों तक भगवान शिव की कठोर तपस्या की थी और इसके बाद, उन्होंने हनुमान जी को पुत्र रूप में प्राप्त किया, इसलिए भगवान हनुमान को शिव जी का अवतार माना जाता है। 

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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

1. साल 2025 में हनुमान जयंती कब है?

इस वर्ष हनुमान जयंती का पर्व 12 अप्रैल 2025 को मनाया जाएगा।

2. चैत्र पूर्णिमा 2025 कब है?    

साल 2025 में चैत्र पूर्णिमा 12 अप्रैल 2025 को पड़ेगी। 

3. हनुमान जी के पिता कौन हैं?   

भगवान हनुमान के पिता वानरराज केसरी हैं।

साप्ताहिक अंक फल (13 अप्रैल से 19 अप्रैल, 2025): कैसा रहेगा यह सप्ताह आपके लिए?

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कैसे जानें अपना मुख्य अंक (मूलांक)? 

अंक ज्योतिष साप्ताहिक भविष्यफल जानने के लिए अंक ज्योतिष मूलांक का बड़ा महत्व है। मूलांक जातक के जीवन का महत्वपूर्ण अंक माना गया है। आपका जन्म महीने की किसी भी तारीख़ को होता है, उसको इकाई के अंक में बदलने के बाद जो अंक प्राप्त होता है, वह आपका मूलांक कहलाता है। मूलांक 1 से 9 अंक के बीच कोई भी हो सकता है, उदाहरणस्वरूप- आपका जन्म किसी महीने की 10 तारीख़ को हुआ है तो आपका मूलांक 1+0 यानी 1 होगा। 

इसी प्रकार किसी भी महीने की 1 तारीख़ से लेकर 31 तारीख़ तक जन्मे लोगों के लिए 1 से 9 तक के मूलांकों की गणना की जाती है। इस प्रकार सभी जातक अपना मूलांक जानकर उसके आधार पर साप्ताहिक राशिफल जान सकते हैं।

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अपनी जन्मतिथि से जानें साप्ताहिक अंक राशिफल (13 अप्रैल से 19 अप्रैल, 2025)

अंक ज्योतिष का हमारे जीवन पर सीधा प्रभाव पड़ता है क्योंकि सभी अंकों का हमारे जन्म की तारीख़ से संबंध होता है। नीचे दिए गए लेख में हमने बताया है कि हर व्यक्ति की जन्म तिथि के हिसाब से उसका एक मूलांक निर्धारित होता है और ये सभी अंक अलग-अलग ग्रहों द्वारा शासित होते हैं। 

जैसे कि मूलांक 1 पर सूर्य देव का आधिपत्य है। चंद्रमा मूलांक 2 का स्वामी है। अंक 3 को देव गुरु बृहस्पति का स्वामित्व प्राप्त है, राहु अंक 4 का राजा है। अंक 5 बुध ग्रह के अधीन है। 6 अंक के राजा शुक्र देव हैं और 7 का अंक केतु ग्रह का है। शनिदेव को अंक 8 का स्वामी माना गया है। अंक 9 मंगल देव का अंक है और इन्हीं ग्रहों के परिवर्तन से जातक के जीवन में अनेक तरह के परिवर्तन होते हैं।

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मूलांक 1 

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 1, 10, 19 या फिर 28 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 1 होगा। ऐसे में यह सप्ताह आपको मिले-जुले या औसत से कुछ हद तक कमजोर परिणाम भी दे सकता है। इस सप्ताह आपके तेवर कुछ बदले हुए रह सकते हैं। कभी कभार बेवजह में भी क्रोध देखने को मिल सकता है। इस कारण से भाइयों और मित्रों के साथ आपके संबंध थोड़े से कमज़ोर भी हो सकते हैं। इसी तरह ही जमीन जायदाद से संबंधित मामलों में सावधानी पूर्वक काम करने पर अनुकूल परिणामों की उम्मीद की जा सकेगी। 

वैसे सावधानीपूर्वक निर्वाह करने की स्थिति में यह सप्ताह अधूरे पड़े हुए कामों को पूरा करने में मददगार बन सकता है। यदि आप किसी काम से अब अलग होना चाह रहे हैं, मुक्ति या छुटकारा पाना चाह रहे हैं तो उस मामले में भी यह सप्ताह आपके लिए मददगार बन सकता है। हृदय रोग इत्यादि से संबंधित मामलों के लिए सप्ताह थोड़ा सा कमजोर है। ऐसे में जिन लोगों को सीने या हृदय से संबंधित कोई परेशानी पहले से है उन्हें इस सप्ताह सावधानी पूर्वक निर्वाह करने की आवश्यकता रहेगी। अर्थात सावधानीपूर्वक निर्वाह करने की स्थिति में इस सप्ताह कोई बड़ी परेशानी नहीं आएगी।

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में नियमित रूप से हनुमान चालीसा का पाठ करना शुभ रहेगा।

मूलांक 2

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 2, 11, 20 या फिर 29 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 2 होगा। इस सप्ताह विशेष की बात की जाए तो यह सप्ताह आपको मिले-जुले परिणाम दे सकता है। यद्यपि किसी भी मामले में कोई चिंता जैसी बात नहीं है लेकिन किसी भी मामले में लापरवाही बरतनी भी ठीक नहीं रहेगा। इस सप्ताह वरिष्ठों के साथ बेहतर तालमेल बिठाकर चलने की जरूरत रहेगी। यदि आपका किसी से कोई काम है, तो उसे मामले में स्वयं ही जागरूक रहना है। साथ ही साथ जिस व्यक्ति के माध्यम से कम होना है उन्हें भी उचित समय पर याद दिलाकर काम करवाने का निवेदन करना है, न कि इस अहंकार में रहना है कि मैंने तो कह दिया है अब सामने वाला करे या न करे। क्योंकि अंक 1 का प्रभाव ऐसा ही संकेत कर रहा है कि यदि आप अहंकार का त्याग करके वरिष्ठों के सहारे कोई काम करेंगे तो उसमें आपको सफलता मिल जाएगी। 

किसी भी मामले में जरूरत से ज्यादा भावुक होने से बचना भी जरूरी रहेगा। इस तरह से काम करने की स्थिति में आप नए कामों की शुरुआत भी कर सकेंगे और सामाजिक सामंजस्य भी बिठा सकेंगे। इतना ही नहीं अपने मान सम्मान के ग्राफ को भी मेंटेन कर सकेंगे। यदि पिताजी का स्वास्थ्य ठीक नहीं है तो इस अवधि में उनकी सेवा आदि के लिए पूरा समय निकालना जरूरी रहेगा। इससे दोनो पक्षों को लाभ मिलेगा। अन्य लोगों को भी पिता के माध्यम से लाभ मिलने की संभावनाएं प्रतीत हो रही हैं। 

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में सूर्य भगवान को कुंकुम मिला जल चढ़ाना शुभ रहेगा।

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मूलांक 3

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 3, 12, 21 या फिर 30 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 3 होगा। इस सप्ताह के अंक इस बात का संकेत कर रहे हैं कि मूलांक 3 वाले लोगों को इस सप्ताह अधिकांश मामलों में काफी हद तक अनुकूल परिणाम मिल सकते हैं। पहले से चल रहे कामों को और अधिक गति देने में आप कामयाब हो सकेंगे। यदि आप नौकरीपेशा हैं तो अच्छे प्रदर्शन के लिए वरिष्ठों के द्वारा आपको प्रशंसा मिल सकती है। वहीं अपना काम करने वाले लोग भी अपनी उपलब्धियों से प्रसन्न रहेंगे। यह सप्ताह रिश्तों को सुधारने में भी मददगार बन सकता है। यदि किसी से अपने दिल की बात कहनी है तो सप्ताह की शुरुआत में ही कर लेना ज्यादा अच्छा रहेगा। 

यद्यपि बाद में भी परिणाम सकारात्मक रहने की संभावनाएं हैं लेकिन शुरुआती दिन अपेक्षाकृत ज्यादा सकारात्मक रह सकते हैं। साझेदारी के कामों के लिए भी इस सप्ताह को काफी अच्छा माना जाएगा। साझेदारी के कामों में अच्छा लाभ मिलेगा। पार्टनर के साथ संबंध भी बेहतर हो सकेंगे। यद्यपि भावनाओं में आकर निर्णय लेने से बचने की जरूरत भी रहेगी। साथ ही साथ इस सप्ताह में धैर्य के ग्राफ को बढ़ाना भी जरूरी रहेगा। हालांकि आप धैर्यवान व्यक्ति हैं लेकिन इस सप्ताह कुछ मामलों में थोड़ी सी जल्दबाजी कर सकते हैं। उसको मेंटेन करेंगे तो परिणाम और भी अच्छे रहेंगे।

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में किसी मां समान स्त्री को दूध और चावल भेंटकर उसका आशिर्वाद लेना शुभ रहेगा।

मूलांक 4

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 4, 14, 22 या फिर 31 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 4 होगा। मूलांक 4 वालों के लिए यह सप्ताह औसत लेवल के परिणाम देता हुआ प्रतीत हो रहा है। यदि आप किसी मामले में ऐसा महसूस कर रहे हैं कि इस मामले में किसी की सलाह ले लेना अच्छा रहेगा तो संकोच करने या चुप बैठने से अच्छा है किसी अनुभवी व्यक्ति की सलाह ले ली जाए। क्योंकि ऐसा करना आपके लिए फायदेमंद रहेगा। यदि आप विद्यार्थी है तो वरिष्ठों और गुरुजनों का सम्मान करते रहना बहुत जरूरी रहेगा। साथ ही साथ अपनी विषय वस्तु पर कंसंट्रेट करना भी बहुत जरूरी रहेगा। तभी परिणामों का ग्राफ और बेहतर हो सकेगा। सामाजिक गतिविधियों के लिए यह सप्ताह बेहतर है। 

यदि पिछले दिनों किसी बात को लेकर आपकी छवि बिगड़ गई थी तो यही वह समय है जब आप अपनी छवि को सुधार सकते हैं। ऐसे में, सामाजिक कामों में निष्ठा पूर्वक भाग लेना जरूरी रहेगा। यदि आप किसी भी तरह के क्रिएटिव कामों से जुड़े हुए व्यक्ति हैं तो यह सप्ताह आपको काफी अच्छे परिणाम दे सकता है। यह सप्ताह कार्यक्षेत्र के अलावा मित्रों से संबंधित मामलों में भी बेहतर परिणाम दे सकता है। यद्यपि किसी भी काम को मित्रों के भरोसे छोड़ना ठीक नहीं रहेगा लेकिन मित्रों पर विश्वास बनाए रखना जरूरी रहेगा। 

यदि किसी मित्र को आपके सहयोग की जरूरत है तो आप उस मित्र के लिए समय निकालने का प्रयास जरूर करें। इस तरह से आप अपने संबंधों को तो मेंटेन कर ही सकेंगे साथ ही साथ कार्यक्षेत्र में भी संतुलित परिणाम प्राप्त कर सकेंगे। जैसा कि हमने पहले ही कहा कि यह सप्ताह नए सिरे से कोई बहुत बड़ी उपलब्धि देता हुआ प्रतीत नहीं हो रहा है लेकिन अनुकूल बात यह है कि सप्ताह कोई नुकसान भी नहीं देगा। ऐसे में जो चीजें जैसे चल रही हैं उनको मेंटेन करना संभव हो सकेगा। 

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में केसर मिश्रित जल से शिव जी का अभिषेक करना शुभ रहेगा।

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मूलांक 5

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 5, 14 या फिर 23 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 5 होगा। ऐसे में यह सप्ताह आपको औसत से बेहतर परिणाम दे सकता है। वैसे तो यह सप्ताह बीच-बीच में आपको वैचारिक रूप से उलझाने का काम कर सकता है लेकिन अपने पूर्व के अनुभवों के आधार पर आप उसे उलझाओं से बच सकेंगे और बेहतर निर्णय ले सकेंगे। उचित निर्णय लेने की स्थिति में यह सप्ताह तेजी से उन्नति देने का काम कर सकता है। अर्थात इस सप्ताह के अंकों का प्रभाव ऐसा रहेगा की जल्दबाजी दिखाने का मन करेगा लेकिन आप जल्दबाजी से बचेंगे और बेहतर निर्णय लेंगे तो परिणाम फिर जल्दी-जल्दी मिलने शुरू हो जाएंगे। 

अतः कुछ विशेष स्थितियों में यह सप्ताह आपको काफी अच्छे परिणाम दे सकता है। हो सकता है कि कुछ कामों में जल्दबाजी दिखाना उचित न रहे और जल्दबाजी की स्थिति में काम खराब भी हो जाए तो ऐसे में बेहतर यही रहेगा कि किसी भी काम को कंप्लीट करने के लिए आप रेगुलर लगने वाले समय से थोड़ा सा अधिक समय लेकर चले और धैर्य पूर्वक काम करके बेहतर परिणाम प्राप्त कर सकें। अनुभवी लोगों से सलाह लेना भी उचित रहेगा। वैसे बेहतर तो यही रहेगा कि इस सप्ताह कोई नया प्रयोग न किया जाए लेकिन यदि करना बहुत जरूरी हो तो एक्सपर्ट एडवाइस लेकर आप कर सकते हैं। 

इस सप्ताह ऐसा कुछ नहीं करना है जिससे आपके मान सम्मान को ठेस पहुंचे। यदि आप ऐसा करने में कामयाब हो सकेंगे तो न केवल आप अपने सम्मान की रक्षा कर सकेंगे बल्कि सामाजिक सम्मान भी प्राप्त कर सकेंगे। यह सप्ताह आपको चर्चित बन सकता है। अर्थात आप किसी चर्चा के केंद्र बिंदु रह सकते हैं। बेहतर होगा कि आप कुछ अच्छा करें, जिससे यह चर्चा सकारात्मक रहे। ऐसे लोग जो आपको अपमानित करने के मौके तलाशते रहते हैं; इस सप्ताह उन्हें कामयाबी नहीं मिलेगी। फिर भी जानबूझकर विरोधियों को मौका देना उचित नहीं रहेगा। अर्थात स्वयं को अनुशासित बनाए रखें और आगे बढ़ते रहें; अच्छे परिणाम मिलते रहेंगे। इंटरनेट इत्यादि से जुड़े हुए काम करने वाले लोग काफी शानदार परिणाम प्राप्त कर सकते हैं।

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में शिवलिंग पर जल चढ़ाएं और काले तिल अर्पित करना शुभ रहेगा।

मूलांक 6 

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 6, 15 या फिर 24 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 6 होगा। और इस सप्ताह विशेष की बात की जाए तो यह सप्ताह आपके लिए मिले-जुले परिणाम दे सकता है। कुछ मामलों में परिणाम औसत से कमजोर भी रह सकते हैं। फिर भी धैर्य के साथ काम करने वाले लोग न केवल परिणाम को संतुलित रख सकेंगे बल्कि अच्छे मौके ढूंढ निकालेंगे और सार्थक परिणाम भी प्राप्त कर सकेंगे। अर्थात इस महीने सार्थक और अनुकूल परिणाम प्राप्त करना आसान तो नहीं रहेगा लेकिन मुमकिन हो सकेगा। हो सकता है कि इस सप्ताह आपके निर्णय का विरोध करने वाले लोग बड़ी मात्रा में मिलें, तो ऐसे में संभव हो तो निर्णय को क्रियान्वित करने के लिए भविष्य के दिनों का चयन किया जाए। वर्तमान के अवरोधों को देखते हुए स्वयं को शांत ही रखना उचित रहेगा। 

वैसे यह सप्ताह स्वयं को विस्तार देने में सहायक बन सकता है लेकिन विस्तार देने की प्रक्रिया को नए सिरे से शुरू करना ठीक नहीं रहेगा। अर्थात नए सिरे से कोई काम न करें लेकिन जो काम पहले से कर रहे हैं उनमें कुछ नए प्रयोग आप कर सकते हैं। यद्यपि गैरजरूरी यात्राओं से बचना उचित रहेगा लेकिन जरूरी यात्राओं में सावधानी बरतने की स्थिति में चाहे गए परिणाम मिल सकेंगे। मनोरंजन करने के मौके भी मिलने की संभावनाएं हैं लेकिन व्यर्थ के खर्च करके मनोरंजन करना उचित नहीं रहेगा। अर्थात यदि आप समर्थवान है और खर्च करने से कोई जरूरी काम बाधित नहीं हो रहा तो आप मनोरंजन कर सकते हैं। इस सप्ताह मिलने वाले अवसरों का लाभ ले सकते हैं। 

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में बुधवार के दिन गणेशजी को दुर्वा अर्पित करना शुभ रहेगा।

कालसर्प दोष रिपोर्ट – काल सर्प योग कैलकुलेटर

मूलांक 7

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 7, 16 या फिर 25 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 7 होगा। सामान्य तौर पर यह सप्ताह आपके अनुकूल परिणाम देता हुआ प्रतीत हो रहा है। भले ही रास्ता बहुत आसान न रहे लेकिन इतना कठिन भी नहीं रहेगा कि आप अपने लक्ष्य तक न पहुंच पाएं। अर्थात थोड़ी सी कोशिश करके आप अपने लक्ष्य तक पहुंच सकेंगे और अनुकूल परिणाम भी प्राप्त कर सकेंगे। विशेषकर घर परिवार से संबंधित मामलों में काफी अच्छे परिणाम मिल सकते हैं। प्रेम प्रसंग के दृष्टिकोण से भी यह सप्ताह अनुकूल परिणाम देने का काम करेगा। 

यदि आप विवाहित हैं तो जीवनसाथी या जीवन संगिनी के साथ आप क्वालिटी टाइम स्पेंड करने के मौके निकाल सकेंगे। यदि विवाह की बात चल रही है तो बातों की आगे बढ़ाने और अनुकूल परिणाम मिलने की अच्छी संभावनाएं हैं। इसके बावजूद भी क्रोध और विवाद से बचना समझदारी का काम होगा। अर्थात् किसी भी मामले में जल्दबाजी नहीं दिखानी है। चाहे वह मामला कार्य क्षेत्र से संबंधित हो या फिर प्रेम प्रसंग की अथवा विवाह आदि के मामले में किसी मेडिएटर व्यक्ति से उलझना उचित नहीं रहेगा। इन सावधानियां को अपनाने की स्थिति में आपको अच्छे परिणाम मिल सकेंगे। इन सबके बावजूद भी सामाजिक मर्यादा का ख्याल रखना भी जरूरी रहेगा। आमोद प्रमोद और मनोरंजन इत्यादि के लिए इस सप्ताह को सामान्य तौर पर अच्छा कहा जाएगा। यदि संभव हो तो दीन-हीन गरीब और जरूरतमंद लोगों की मदद भी की जाए। 

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में शुक्रवार के दिन शिवलिंग पर दही और चीनी चढ़ाएं। 

मूलांक 8

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 8, 17 या फिर 26 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 8 होगा। ऐसे नहीं आ सकता आपको मिले जुले परिणाम दे सकता है। यह सप्ताह आपके लिए कुछ अनुकूल परिणाम दे सकता है। तो वहीं कुछ प्रतिकूल परिणाम भी दे सकता है। कुल मिलाकर यह सप्ताह आपको इस बात की अनुभूति करवा सकता है कि कौन सा व्यक्ति आपके लिए हितकर है और कौन सा व्यक्ति आपका हितैषी होने का दिखावा मात्र कर रहा है। हालांकि धर्म कर्म और आध्यात्म आदि से संबंधित मामलों के लिए यह सप्ताह अच्छा कहा जाएगा। ऐसे में वो लोग जो आध्यात्मिक शक्तियों को बढ़ाने की इच्छा रखते हैं उन्हें काफी अच्छे परिणाम मिल सकते हैं लेकिन सांसारिक मामलों के लिए सप्ताह मिले-जुले परिणाम दे सकता है। इन स्थितियों को ध्यान में रखते हुए किसी भी प्रकार का रिस्क लेना इस सप्ताह में उचित नहीं रहेगा।

किसी नए काम की शुरुआत या नए प्रयोग करना भी उचित नहीं रहेगा। किसी अजनबी व्यक्ति पर यकीन कर लेना भी ठीक नहीं रहेगा। साइबर फ्रॉड इत्यादि से बचने की कोशिश भी जरूरी रहेगी। अर्थात इन सावधानियों को अपनाकर आप परिणामों को तुलनात्मक रूप से बेहतर कर सकेंगे लेकिन लापरवाह होने की स्थिति में नुकसान भी हो सकता है।

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में काला कुत्ता जो पालतू न हो उसे सावधानी पूर्वक रोटी खिलाएं।

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मूलांक 9 

यदि आपका जन्म किसी भी महीने की 9, 18 या फिर 27 तारीख को हुआ है तो आपका मूलांक 9 होगा। ऐसे में या सप्ताह आपको मिले-जुले किंतु एवरेज से बेहतर परिणाम दे सकता है। हालांकि इस सप्ताह में जल्दबाजी से बचने की सलाह हम आपको देना चाहेंगे। यह सप्ताह आपसे धैर्य की डिमांड कर सकता है। धैर्य पूर्वक काम करने की स्थिति में न केवल काम पूरे होंगे बल्कि उन कामों के परिणाम भी सार्थक और फेवर में रह सकते हैं। विशेषकर आर्थिक मामलों में यह सप्ताह आपको अच्छे परिणाम दे सकता है। 

आपके भीतर की शक्ति को बढ़ाने के लिए भी यह सप्ताह मददगार हो सकता है। व्यापार व्यवसाय इत्यादि में धैर्य पूर्वक के लिए गए निर्णय आपको फायदा पहुंचा सकते हैं। हालांकि या सप्ताह बदलाव का समर्थन कर रहा है अर्थात आप कोई नया काम शुरू कर सकते हैं या कुछ नए प्रयोग कर सकते हैं लेकिन जल्दबाजी नहीं दिखानी है। इस तरह से संयम बरतने की स्थिति में आप अच्छे परिणाम प्राप्त कर सकेंगे। क्रोध और जल्दबाजी बिल्कुल भी नहीं दिखानी है। यद्यपि आप किसी काम को जल्द से जल्द पूरा कर लेने का स्वभाव रखने वाले व्यक्ति हो सकते हैं लेकिन कम से कम इस सप्ताह जल्दबाजी बिल्कुल भी नहीं दिखानी है जो भी करें उसे करने से पूर्व भली भांति चिंतन मंथन करना जरूरी रहेगा।

उपाय: उपाय की बात करें तो उपाय के रूप में किसी मजदूर को भोजन कराना शुभ रहेगा।

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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

1. नंबर 3 के लिए यह सप्ताह कैसा है?

यह सप्ताह आपको औसत से बेहतर परिणाम दे सकता है।

2. 7 नंबर में बालों के लिए यह सप्ताह कैसा रहेगा?

यह सप्ताह आपके अनुकूल परिणाम देता हुआ प्रतीत हो रहा है। 

3. 4 नंबर का स्वामी कौन है?

अंक शास्त्र के मुताबिक, मूलांक 4 के स्वामी राहु ग्रह हैं।

शुक्र मीन राशि में मार्गी होकर इन राशियों को देंगे शुभ परिणाम, अच्छा समय होगा शुरू!

शुक्र मीन राशि में मार्गी होकर इन राशियों को देंगे शुभ परिणाम, अच्छा समय होगा शुरू!

शुक्र मीन राशि में मार्गी: एस्ट्रोसेज एआई समय-समय पर ज्योतिष की दुनिया में होने वाले छोटे से लेकर बड़े बदलावों से आपको अवगत करवाता रहा है। हमारे आज का यह लेख आपको “शुक्र मीन राशि में मार्गी” के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी प्रदान करेगा। बता दें कि शुक्र महाराज 13 अप्रैल 2025 को मीन राशि में अपनी स्थिति में बदलाव करते हुए वक्री से मार्गी होने जा रहे हैं जिसका असर संसार के साथ-साथ सभी राशियों पर भी दिखाई दे सकता है। हालांकि, आपको यह बात ध्यान में रखनी होगी कि शुक्र ग्रह अपनी उच्च राशि मीन में विराजमान है, तो ऐसे में,  क्या हम शुक्र से उत्तम परिणामों की उम्मीद कर सकते है? आइए जानते हैं शुक्र मार्गी के प्रभावों के बारे में।

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वैदिक ज्योतिष में शुक्र ग्रह प्रेम, सौंदर्य, आनंद और रिश्तों के कारक कहे गए हैं। यह दर्शाते हैं कि हम जीवन में किस चीज़ को महत्व देते हैं, हम अपने प्रेम को किस तरह से व्यक्त करते हैं और हमारे जीवन में कौन सी चीज़ें ख़ुशियाँ और प्रेम लेकर आती हैं। राशि चक्र की सभी बारह राशियों में शुक्र महाराज को वृषभ और तुला राशि पर स्वामित्व प्राप्त हैं इसलिए इन दोनों राशियों के जातकों में शुक्र ग्रह के गुण पाए जाते हैं। इसके अलावा, हमारे जीवन में शुक्र ग्रह धन-वैभव और भौतिक सुख भी लेकर आते हैं। किसी व्यक्ति की जन्म कुंडली में शुक्र की स्थिति से हम यह जान सकते हैं कि आपके जीवन में पैसा कितना मायने रखता है, धन कमाने और खर्च करने को लेकर आपके विचार क्या हैं और धन-संपत्ति से आप किस तरह का सुख पाना चाहते हैं । साथ ही, शुक्र देव की स्थिति इस बात की तरफ भी संकेत करती है कि आपके लिए जीवन में क्या महत्वपूर्ण है फिर चाहे वह भौतिक सुख हो या भोग-विलासिता से पूर्ण जीवन। 

शुक्र मीन राशि में मार्गी: समय 

जैसे कि हम भली-भांति जानते हैं कि ज्योतिष में शुक्र देव प्रेम, सुंदरता और कला के कारक माने गए हैं। अब यह मीन राशि में मार्गी होने के लिए पूरी तरह से तैयार हैं। बता दें कि शुक्र ग्रह 13 अप्रैल 2025 की सुबह 05 बजकर 45 मिनट पर राशि मीन में मार्गी हो रहे हैं जो कि इनकी उच्च राशि है। मीन राशि में शुक्र की उपस्थिति को बहुत शुभ माना गया है और इसके परिणामस्वरूप, इनसे सकारात्मक परिणामों की अपेक्षा की जा सकती है। लेकिन दूसरी तरफ, मीन राशि में शुक्र महाराज पापी ग्रह शनि, राहु और सूर्य के साथ बैठे होंगे। चलिए अब जानते हैं सभी राशियों पर इसके प्रभाव के बारे में। 

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शुक्र मीन राशि में मार्गी: इन राशियों पर बरसेगी शुक्र देव की कृपा 

वृषभ राशि

वृषभ राशि वालों के लिए शुक्र ग्रह आपके लग्न भाव के स्वामी हैं और अब यह आपके ग्यारहवें भाव में मार्गी हो रहे हैं। बता दें कि कुंडली में ग्यारहवां भाव इच्छाओं की पूर्ति का होता है। ऐसे में, शुक्र मीन राशि में मार्गी आपके लिए शुभ रहेगा। व्यापार या नौकरी करने वालों के लिए यह समय बेहतरीन अवसर लेकर आ सकता है। शुक्र मार्गी के दौरान आपको दोस्तों, रिश्तेदारों और पेशेवर जीवन के लोगों से किसी समारोह या पार्टी का निमंत्रण मिल सकता है। साथ ही, इन मुलाकातों में आप कुछ प्रभावशाली लोगों के साथ संपर्क में आ सकते हैं। 

शुक्र मार्गी होकर आपकी भौतिक ज़रूरतों को पूरा करने का काम करेंगे। ऐसे में, आपके पेशेवर और निजी जीवन में भी सुधार देखने को मिलेगा। इस दौरान आपके मामा और बड़ी बहन के पास पर्याप्त मात्रा में पैसा आएगा। साथ ही, आपके रिश्ते उनके साथ मज़बूत होंगे। आपकी किसी सलाह की वजह से आपके मामा को आर्थिक रूप से लाभ होगा जिसके चलते आपके रिश्ते उनके साथ भी पहले की तुलना में मज़बूत होंगे।              

मिथुन राशि

मिथुन राशि के जातकों के लिए शुक्र महाराज आपके पांचवें भाव और बारहवें के स्वामी हैं। कुंडली में पांचवां भाव बुद्धि, प्यार, प्रेम संबंध, संतान एवं शिक्षा का होता है जबकि बारहवां भाव खर्चों का होता है। अब शुक्र मीन राशि में मार्गी आपके दसवें भाव में हो रहे हैं जिसका संबंध आपके पेशेवर जीवन और करियर से होता है। इसके परिणामस्वरूप, आपका पेशेवर जीवन इस दौरान समृद्ध रहेगा और आपको कई तरह से लाभ की प्राप्ति होगी।

शुक्र मार्गी की अवधि में आपके वरिष्ठ अधिकारी आपकी नई सोच और सही निर्णय लेने की क्षमता को पहचानेंगे और इसके लिए आपको सराहना भी मिलेगी। आपके रिश्ते सहकर्मियों के साथ मज़बूत बनेंगे। इसके अलावा, आपको करियर के अनेक अवसर प्राप्त होंगे, विशेष रूप से विदेशों से या फिर काम के सिलसिले में आपको विदेश यात्रा पर जाने के अवसर मिलेंगे। 

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कर्क राशि

कर्क राशि वालों के लिए शुक्र ग्रह आपके ग्यारहवें भाव और चौथे भाव के अधिपति देव हैं। बता दें कि ग्यारहवां भाव मनोकामनाओं की पूर्ति एवं भौतिक इच्छाओं का होता है जबकि कुंडली का चौथा भाव शांति, भावनाओं, परिवार की ख़ुशियों, माता और जन्मभूमि का होता है। अब यह आपके नौवें भाव में मार्गी हो रहे हैं और ऐसे में, यह समय आपके लिए शानदार रहेगा। शुक्र की मार्गी चाल को स्त्री या महिलाओं से जड़े कार्यों में शामिल होने के लिए श्रेष्ठ कहा जाएगा। साथ ही, इस अवधि में आप धर्म-कर्म के कार्यों में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेंगे। शुक्र की मार्गी अवस्था धार्मिक तीर्थ स्थलों की यात्रा की योजना बनाने के लिए उत्तम रहेगा। 

इस दौरान आपको काम के सिलसिले में लंबी दूरी की यात्रा करनी पड़ सकती है जो आपके लिए लाभदायक साबित होगी। ऐसे में, आप ख़ुश और संतुष्ट दोनों दिखाई देंगे। चाहे आप दोस्तों या परिवार के साथ यात्रा या किसी ट्रिप पर जाएं, वह आपके लिए फलदायी रहेगा। संभव है कि इस दौरान आपका सारा ध्यान घर-परिवार की जरूरतों को पूरा करने पर हो या फिर अगर आप घर के लिए कोई बड़ी खरीदारी करने जैसे कि नया घर, वाहन आदि के बारे में सोच रहे हैं, तो आपके लिए यह समय अच्छा रहेगा। ऐसे में, आप अपनी इच्छाओं की पूर्ति कर सकेंगे। 

कन्या राशि 

कन्या राशि वालों के लिए शुक्र देव आपके दूसरे और नौवें भाव के स्वामी हैं। अब यह आपके सातवें भाव में मार्गी हो रहे हैं। ऐसे में, यह समय आपके मान-सम्मान में वृद्धि करेगा। हालांकि, वर्तमान समय में शुक्र ग्रह मीन राशि में विराजमान हैं। इनके प्रभाव से आपकी दूर दृष्टि बेहतर बनेगी और ऐसे में, लोग आपको पसंद करेंगे। साथ ही, आपका व्यक्तित्व आकर्षक बनेगा। आपको बता दें कि सातवें भाव में बैठकर शुक्र की दृष्टि आपके लग्न भाव पर होगी। इसके फ़लस्वरूप, आपका जीवन प्रेम और आनंद से भरा रहेगा।  आप अपने सौंदर्य को लेकर सजग रहेंगे।     

आर्थिक जीवन के भाव दूसरे और भाग्य भाव के स्वामी के रूप में शुक्र की मार्गी अवस्था आपके लिए धन से जुड़े अनेक अवसर लेकर आएगी। जीवनसाथी की सहायता से आप आर्थिक जीवन में सफलता प्राप्त करने में सक्षम होंगे। शुक्र मार्गी का समय धन संबंधित बड़े फैसले लेने और अविवाहित जातको के लिए अपने पिता, गुरु या मेंटर की सलाह का पालन करने के लिए सर्वश्रेष्ठ रहेगा।

वृश्चिक राशि

वृश्चिक राशि के जातकों के लिए शुक्र देव आपके अलगाव, हानि और अध्यात्म के भाव यानी कि बारहवें भाव के साथ-साथ रिश्ते और विवाह के भाव अर्थात सातवें भाव के स्वामी हैं। अब शुक्र आपके पांचवें भाव में मार्गी होने जा रहे हैं जो आपके जीवन में सकारात्मक ऊर्जा लेकर आएंगे। बता दें कि इस राशि में शुक्र देव उच्च अवस्था में होते हैं और इनका संबंध आनंद, संतोष, प्रेम और रोमांस आदि से है जो कि पांचवें भाव के गुणों से मिलता है, इसलिए इनसे मिलने वाले परिणाम अनुकूल हो सकते हैं।   

वृश्चिक राशि के जो जातक सिंगल हैं, वह इस अवधि में किसी दूसरी संस्कृति या किसी दूसरे देश में रहने वाले इंसान के साथ रिलेशनशिप में आ सकते हैं। वहीं, जिन जातकों का संबंध कला से जुड़े क्षेत्रों से है या फिर फिल्म या सोशल मीडिया के क्षेत्र में कार्यरत हैं, उन्हें इस अवधि में करियर में वृद्धि देखने को मिलेगी। इसके अलावा, इस दौरान आपको घूमना-फिरना या ट्रेवल खुशी देने का काम करेगा। 

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शुक्र मीन राशि में मार्गी: इन राशियों को रहना होगा सावधान 

मेष राशि 

मेष राशि वालों के लिए शुक्र देव आपके सातवें और दूसरे भाव के स्वामी हैं। कुंडली में सातवां भाव रिलेशनशिप का होता है जबकि दूसरे भाव का संबंध धन से होता है। इन जातकों को अपने स्वास्थ्य को लेकर सतर्क रहना होगा क्योंकि सातवें भाव के स्वामी के रूप में शुक्र आपके बारहवें भाव में मार्गी हो रहे हैं। ऐसे में, यह आपके लिए स्वास्थ्य समस्याएं लेकर आ सकते हैं। अगर आपने कोई लोन लिया हुआ है, तो यह अवधि आपके लिए मुश्किल रह सकती है क्योंकि इस दौरान आप उसे चुकाने में नाकाम रह सकते हैं या फिर आपको धन का प्रबंधन करना कठिन लग सकता है इसलिए आपको थोड़ा सावधान होकर चलना होगा।

शुक्र मीन राशि में मार्गी के दौरान आपको बहुत सोच-समझकर धन के संबंध में फैसले लेने होंगे क्योंकि यह दूसरे भाव के स्वामी के रूप में आपके बारहवें भाव में जा रहे हैं। इसके परिणामस्वरूप, इन लोगों को अपने दोस्तों या करीबी रिश्तेदारों को भी पैसे उधार देने से बचना होगा क्योंकि इस बात की प्रबल संभावना है कि यह पैसा कभी आपको वापस न मिले। धन हानि या खर्चों का बढ़ना, विशेषकर रोगों के इलाज में पैसा लगने से आप तनाव में आ सकते हैं।

मीन राशि

मीन राशि के जातकों के लिए शुक्र ग्रह आपके तीसरे और आठवें भाव के स्वामी हैं जो अब आपके पहले/लग्न भाव में मार्गी हो रहे हैं। बता दें कि मीन राशि में शुक्र अपनी उच्च अवस्था में होंगे। इस राशि में मौजूद शुक्र पापी ग्रहों के साथ युति का निर्माण करेंगे जैसे कि शनि, सूर्य और राहु। मीन राशि वालों के लिए इन तीन ग्रहों के साथ शुक्र का होना अच्छा नहीं कहा जा सकता है। इस समय आपको अपनी सेहत का बहुत ध्यान रखना होगा और लापरवाही बरतने से बचना होगा क्योंकि आपको गर्भाशय से संबंधित समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। 

छाया ग्रह राहु के साथ शुक्र की युति की वजह से आप अपने आकर्षक व्यक्तित्व का फायदा उठाते हुए दूसरों को ऐसे गलत काम करने के लिए प्रेरित कर सकते हैं जिसका सीधा लाभ आपको प्राप्त होगा। यह एक ऐसी अवधि होगी जब आपके इरादों या चरित्र पर लोग सवाल उठाने का काम कर सकते हैं जिसका गहरा असर आपके आत्मसम्मान पर पड़  सकता है। इसी क्रम में, आपको दूसरे लोगों के साथ बातचीत करते समय काफ़ी सतर्क रहना होगा क्योंकि इस बात की संभावना है कि आप छलकपट या धोखाधड़ी का शिकार हो सकते हैं। साथ ही, नौकरी में परिवर्तन या अनचाहा ट्रांसफर आपकी परेशानी का सबब बन सकता है। 

कालसर्प दोष रिपोर्ट – काल सर्प योग कैलकुलेटर

शुक्र मीन राशि में मार्गी: सरल एवं प्रभावी उपाय  

  • शुक्र ग्रह के प्रभावों में वृद्धि और घर में सकारात्मक ऊर्जा के संचार के लिए प्रत्येक शुक्रवार देवी लक्ष्मी की पूजा करें।
  • खुद को आत्मविश्वासी और आकर्षक बनाने के लिए छह मुखी रुद्राक्ष धारण करें। 
  • कुंडली में शुक्र को बलवान करने के लिए आप मध्यमा उंगली में हीरा या ओपल पहनें। हालांकि, किसी भी रत्न को पहनने से पहले विद्वान एवं अनुभवी ज्योतिषी से परामर्श अवश्य लें।
  • शुक्रवार  के दिन व्रत करें। साथ ही, गरीब कन्याओं और स्त्रियों को घर में बनी खीर बांटें।
  • प्रतिदिन “ॐ शुक्राय नमः’ मंत्र का 108 बार जाप करें। 
  • नियमित रूप से परफ्यूम या इत्र का इस्तेमाल करें।

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अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

1. शुक्र ग्रह की नीच राशि कौन सी है?

कन्या राशि। 

2. ज्योतिष के अनुसार शुक्र किसके कारक हैं?

शुक्र ग्रह को प्रेम, पत्नी और विलासिता का प्रतीक माना जाता है।

3. शुक्र देव का शत्रु कौन हैं?  

सूर्य और चंद्र ग्रह। 

सूर्य का मेष राशि में गोचर, इन राशियों पर पड़ सकता है भारी, इनकी होगी बल्‍ले-बल्‍ले!

सूर्य का मेष राशि में गोचर, इन राशियों पर पड़ सकता है भारी, इनकी होगी बल्‍ले-बल्‍ले!

सूर्य गोचर 2025: एस्ट्रोसेज एआई की हमेशा से यही पहल रही है कि किसी भी महत्वपूर्ण ज्योतिषीय घटना की नवीनतम अपडेट हम अपने रीडर्स को समय से पहले दे पाएं और इसी कड़ी में हम आपके लिए लेकर आए हैं सूर्य का मेष राशि में गोचर से संबंधित यह खास ब्लॉग। 14 अप्रैल, 2025 को सूर्य मेष राशि में प्रवेश करने जा रहे हैं जिसका देश-दुनिया एवं राशियों पर गहरा प्रभाव देखने को मिलेगा।

सूर्य को मेष राशि में उच्‍च का माना जाता है, तो क्‍या सूर्य के इस गोचर से शुभ परिणाम प्राप्‍त होंगे? जानते हैं कि सूर्य के इस गोचर का देश-दुनिया, शेयर मार्केट और राशियों पर क्‍या असर पड़ेगा।

आप कैसे हैं, आपका व्‍यक्‍तित्‍व कैसा है और आपके अंदर क्‍या गुण हैं, वैदिक ज्‍योतिष के अनुसार आपकी कुंडली में सूर्य की स्थिति से इन सभी चीज़ों का पता चलता है। कुंडली में सूर्य को सबसे महत्‍वपूर्ण ग्रहों में से एक माना गया है जो कि अहंकार, उत्‍साह एवं रचनात्‍मक ऊर्जा का कारक है। सूर्य किस राशि और भाव में बैठा है, इसके आधार पर व्‍यक्‍ति के चरित्र के बारे में बहुत कुछ जाना जा सकता है। इससे उसके जीवन के उद्देश्‍य और दुनिया के सामने खुद को व्‍यक्‍त करने के तरीके के बारे में भी पता चल सकता है।

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सूर्य का मेष राशि में गोचर: समय

ज्‍योतिषशास्‍त्र में सूर्य को ग्रहों का राजा कहा गया है। अब सूर्य अपनी उच्‍च राशि मेष में गोचर करने जा रहे हैं। सूर्य का मेष राशि में होना सूर्य की सबसे शक्‍तिशाली स्थितियों में से एक मानी जाती है। इस बार 14 अप्रैल, 2025 को सुबह 03 बजे सूर्य मेष राशि में प्रवेश करने जा रहे हैं।

सूर्य का मेष राशि में गोचर: विशेषताएं

मेष राशि में सूर्य के होने पर व्‍यक्‍ति साहसी, ऊर्जा से भरपूर और आत्‍मविश्‍वासी बनता है। मेष अग्नि तत्‍व की राशि है जिसके स्‍वामी ग्रह मंगल हैं। मंगल कार्य करने और प्रे‍रणा का कारक है जिससे इस राशि वाले जातक गतिशील और साहसी होते हैं।

  • आत्‍मविश्‍वासी और आत्‍मनिर्भर: मेष राशि वाले जातकों को उनके आत्‍मविश्‍वास के लिए जाना जाता है। ये आत्‍मनिर्भर होते हैं और अपने लक्ष्‍यों को पाने एवं निर्णय लेने के लिए खुद पर भरोसा करते हैं। ये खुद पर विश्‍वास करते हैं और अपनी बात पर अडिग रहते हैं।
  • जोश और उत्‍साह से भरपूर: जिन लोगों की कुंडली में मेष राशि में सूर्य स्थित होता है, वे जातक जोश से भरपूर होते हैं। ये उत्‍साह के साथ जीवन जीते हैं और हमेशा आगे बढ़ने के बारे में सोचते हैं। ये चुनौतियों का सामना करने से डरते नहीं है और तेजी से कार्य करते हैं।
  • साहसी और निडर होते हैं: मेष राशि वालों को जोखिम उठाने में बिलकुल भी डर नहीं लगता है। ये चुनौतियों का सामना करने से कतराते नहीं हैं। इनकी मानसिकता डरने की नहीं बल्कि कुछ करने की होती है। अपने इस निडर स्‍वभाव के कारण ये सफल हो सकते हैं लेकिन कभी-कभी यह प्रवृत्ति इन्‍हें लापरवाह भी बना सकती है।
  • आवेगशील और जल्‍दी गुस्‍सा करते हैं: मेष राशि वाले आवेणपूर्ण हो सकते हैं और जल्‍दबाज़ी में निर्णय ले सकते हैं। इस आवेग की वजह से इनमें कुंठा आ सकती है या इनसे गलतियां हो सकती हैं। इन्‍हें बहुत जल्‍दी गुस्‍सा आता है लेकिन थोड़ी ही देर में चला भी जाता है।
  • प्रतिस्‍पर्धी और महत्‍वाकांक्षी होते हैं: मेष राशि के जातकों के अंदर जीतने और सर्वश्रेष्‍ठ बनने की मज़बूत इच्‍छा होती है। बात चाहे करियर की हो या खेल या फिर निजी जीवन में आने वाली चुनौतियों की, ये बहुत ज्‍यादा प्रतिस्‍पर्धी होते हैं। इनकी महत्‍वाकांक्षाएं इन्‍हें लगातार प्रेरित करती रहती हैं।
  • आशावादी और प्रेरक होते हैं: जिन जातकों की कुंडली में मेष राशि में सूर्य होता है, वे लोग जीवन के प्रति आशावादी रवैया रखते हैं। इनकी सकारात्‍मक ऊर्जा दूसरों को प्रेरित करती है। इनके अंदर स्‍वाभाविक रूप से लीडर बनने का गुण होता है। ये खुद को और दूसरों को कार्य करने एवं अपने लक्ष्‍यों को प्राप्‍त करने के लिए प्रेरित करने में माहिर होते हैं।
  • सीधी बात करते हैं: मेष राशि वाले सीधी बात करना पसंद करते हैं। ये किसी भी बात को घुमा-फिराकर नहीं कहते हैं और जो भी कहना होता है सीधा कह देते हैं। ये स्‍पष्‍टता को महत्‍व देते हैं और धोखे को नापसंद करते हैं।
  • बेचैन और आसानी से बोर होने वाले: इन्‍हें हमेशा कुछ न कुछ ऐसा चाहिए होता है, जो इन्‍हें उत्तेजित करे। मेष राशि वाले अपनी दिनचर्या या किसी भी ऐसी चीज़ से ऊब जाते हैं, जो स्थिर लगती है। इन्‍हें किसी भी काम में अपनी रुचि बनाए रखने के लिए उत्‍साहित रहने, अलग-अलग चीज़ें करने और बदलाव की ज़रूरत होती है।

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सूर्य का मेष राशि में गोचर: विश्‍व पर प्रभाव

सरकार

  • सूर्य का मेष राशि में गोचर होने पर सरकार और कुछ राजनेता ऐसे महत्‍वपूर्ण निर्णय ले सकते हैं जो देश को सकारात्‍मक एवं महत्‍वपूर्ण तरीके से प्रभावित करेंगे।
  • भारत और दुनियाभर की सरकारें अपने-अपने देश में अपनी स्थिति को लेकर आशवस्‍त रहेंगी। इस गोचर के दौरान वे और अधिक मज़बूत होंगे।
  • राजनेताओं, शिक्षकों, विद्वानों, आध्‍यात्मिक उपदेशकों, काउंसलर, पब्लिक रिलेशन, लेखकों, कलाकारों, मूर्तिकारों, सरकारी अधिकारियों और प्रशासकों के लिए यह गोचर अत्‍यंत लाभकारी रहने वाला है।
  • इस समय सरकार देश की आंतरिक व्‍यवस्‍था को अच्‍छे से संभालने में सक्षम होगी।
  • सरकारी या उच्‍च पदों पर बैठे लोग अपनी जिम्‍मेदारियों को उत्‍कृष्‍टता से निभाएंगे। इनके कार्यों के लिए इनकी प्रशंसा की जा सकती है।

व्‍यवसाय और आर्थिक स्थिति

  • वित्तीय संस्‍थाएं जैसे कि बैंक, देश की स्‍वास्‍थ्‍य सेवा प्रणाली और न्‍याय प्रणाली में अचानक सुधार देखने को मिल सकता है। इन सभी क्षेत्रों को और अधिक मज़बूत करने के लिए नई नीतियां भी लागू की जा सकती हैं।
  • अधिकांश व्‍यवसायों और दुनियाभर के व्‍यापारियों को मार्केट के अंदर एक नई ऊर्जा का अनुभव होगा एवं चीज़ें सही दिशा में आगे बढ़ेंगी।

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सूर्य का मेष राशि में गोचर: स्‍टॉक मार्केट पर असर

  • केमिकल उद्योग, पब्लिक सेक्‍टर, फार्मास्‍यूटिकल सेक्‍टर, बिजली सेक्‍टर और सीमेंट उद्योग अच्‍छा प्रदर्शन करेंगे।
  • इलेक्ट्रिक उत्‍पाद बनाने वाले उद्योग, इलेक्‍ट्रिकल, बिजली, चाय और कॉफी उद्योग, सीमेंट, उद्योग, डायमंड इंडस्‍ट्री, केमिकल, हैवी इंजीनियरिंग इंडस्‍ट्री भी इस समयावधि में बेहतर प्रदर्शन करेंगे।
  • एड-टेक यानी शिक्षण एवं टेक्‍नोनॉजी कंपनियां और शिक्षण संस्‍थान अच्‍छा प्रदर्शन करते हुए नज़र आएंगे।
  • सोने के दाम नई ऊंचाईयां छू सकते हैं।

सूर्य का मेष राशि में गोचर: रिलीज़ होने वाली फिल्‍में

फिल्‍म का नामस्‍टार कास्‍टरिलीज़ की तारीख़
तेरी मेहरबानियांशक्‍ति कपूर और तनवी वर्मा15 अप्रैल, 2025
द भूतनीसंजय दत्त और पलक तिवारी18 अप्रैल, 2025
किक 2सलमान खान20 अप्रैल, 2025

सूर्य ग्रह का मेष राशि में गोचर का मनोरंजन उद्योग पर बहुत सकारात्‍मक प्रभाव पड़ेगा क्‍योंकि सूर्य रचनात्‍मकता को दर्शाता है। हालांकि, रचनात्‍मकता का कारक शुक्र उच्‍च अवस्‍था में होने पर भी शनि और राहु जैसे अशुभ ग्रहों के बीच फंसा हुआ है जिससे मनोरंजन उद्योग के लिए अप्रैल का महीना ज्‍यादा अच्‍छा साबित नहीं होगा और फिल्‍में अच्‍छा प्रदर्शन नहीं कर पाएंगी।

तेरी मेहरबानियां बॉक्‍स ऑफिस पर खराब प्रदर्शन कर सकती है जबकि द भूतनी औसत बिज़नेस करेगी। वहीं किक 2 बॉक्‍स ऑफिस पर अच्‍छा प्रदर्शन कर के फिल्‍म उद्योग को थोड़ी राहत दे सकती है।

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सूर्य का मेष राशि में गोचर: इन राशियों पर पड़ेगा सकारात्‍मक प्रभाव

मेष राशि

मेष राशि के जातकों के लिए सूर्य पांचवे भाव के स्‍वामी हैं जो कि साझेदारी, प्‍यार और संतान का कारक है। अब सूर्य आपके पहले भाव में गोचर करने जा रहे हैं जो कि व्‍यक्‍तित्‍व, चरित्र और स्‍वयं का कारक होता है। पेशेवर जीवन में सूर्य का मेष राशि में गोचर करने से आपको अपने काम के लिए प्रेरणा और उत्‍साह मिलेगा। इससमय आप अधिक महत्‍वाकांक्षी, प्रभावशाली और आत्‍मविश्‍वासी होंगे। इससे आप अपने कार्यक्षेत्र में आसानी से जोखिम उठा पाएंगे। मेष राशि वाले अपने लक्ष्‍यों को पाने एवं विकार के अवसरों का लाभ उठाने को लेकर बहुत ज्‍यादा आक्रामक हो सकते हैं।

इस गोचर के दौरान मेष राशि के जातकों को अपने करियर में काफी उन्‍नति देखने को मिल सकती है जैसे कि उन्‍हें प्रमोशन मिल सकता है, उनके काम को पहचान मिल सकती है या फिर उन्‍हें या बिज़नेस शुरू करने का मौका मिल सकता है। इनकी नेतृत्‍व करने की क्षमता और काम करने का दिलचस्‍प तरीका, इनके वरिष्‍ठ अधिकारियों या संभावित बिज़नेस पार्टनर का ध्‍यान आकर्षित कर सकती है। मेष राशि के जातकों को अपनी काबिलियत को दिखाने और कार्यस्‍थल में किसी खास वरिष्‍ठ अधिकारी से चुनौतियों को स्‍वीकार करने का शानदार अवसर होगा।

मेष राशिफल 2025

मिथुन राशि

मिथुन राशि के ग्‍यारहवें भाव में सूर्य का गोचर होने जा रहा है जो कि संपत्ति और इच्‍छा का कारक है। मिथुन राशि के तीसरे भाव के स्‍वामी सूर्य देव हैं। यह भाव भाई-बहन, पड़ोसियों और लघु यात्रा को दर्शाता है। करियर के मामले में मिथुन राशि वालों के ग्‍यारहवें घर पर सूर्य के गोचर का प्रभाव पड़ेगा। आपके वेतन में वृद्धि होने के संकेत हैं। इसके साथ ही आपको पदोन्‍नति का अवसर भी मिल सकता है।

अपने कार्यक्षेत्र में सफलता प्राप्‍त करने के अलए आप अपने प्रबंधन कौशल को और बेहतर करने एवं अपने वरिष्‍ठ अधिकारियों के साथ मज़बूत संबंध बनाने पर ध्‍यान दे सकते हैं। आप एक साथ कई काम करने में माहिर होंगे जिससे आपके आत्‍मविश्‍वास में वृद्धि होगी और इंडस्‍ट्री में आपकी स्थिति में सुधार आएगा।

मिथुन राशिफल 2025

कर्क राशि

कर्क राशि के दूसरे भाव में सूर्य विराजमान हैं और अब वह इस राशि के दसवें भाव में गोचर करने जा रहे हैं। यह सूर्य की उत्तम स्थिति है। इस समय आपको अपने कार्यस्‍थल में बड़ी उपलब्धियां और मान्‍यता मिलने के संकेत हैं। आपको अपने क्षेत्र में सफल होने के अवसर प्राप्‍त होंगे।। इसके साथ ही आप कोई कौशल भी सीख सकते हैं जैसे कि काम को प्रबंध करना या फिर आपको प्रमोशन भी मिल सकता है। आपके कार्यस्‍थल का माहौल सकारात्‍मक रहेगा जिससे आपको अपने लक्ष्‍य को प्राप्‍त करने में मदद मिलेगी। वहीं सहकर्मियों और मैनेजर के साथ सकारात्‍मक बातचीत होने से करियर के क्षेत्र में प्रगति हासिल होगी।

आपको निवेश पर वित्तीय लाभ होने के आसार हैं। व्‍यापारियों के पास जल्‍द ही विकास और वृद्धि के अधिक अवसर होंगे जिससे उन्‍हें सफलता और वित्तीय सुरक्षा मिलेगी। आर्थिक स्‍तर पर वित्तीय विकास और स्थिरता के कई अवसर मिलने की वजह से पैसों की बचत और धन संचय करने के लिए अनुकूल समय है।

कर्क राशिफल 2025

सिंह राशि

सिंह राशि के पहले भाव के स्‍वामी सूर्य ग्रह हैं जिसका संबंध चरित्र, विशिष्‍टता और पहचान से होता है। नौवें भाव का संबंध उच्‍च शिक्षा, धर्म और अध्‍यात्‍म से होता है एवं सूर्य का मेष राशि में गोचर होने के दौरान सूर्य ग्रह सिंह राशि के नवम भाव में गोचर करेंगे जो कि सूर्य की उच्‍च स्थिति है। इस गोचर के दौरान आपको करियर में शानदार सफलता और अवसर मिलने के योग हैं। इस समय आपको पदोन्‍नति, वेतन में वृद्धि और अन्‍य उपलब्धियां मिल सकती हैं।

आपको उच्‍च पद की नोकरी का अवसर या उच्‍च लाभ के साथ पदोन्‍नति मिलने की संभावना है। यह समय व्‍यवसाय और व्‍यापारिक कार्यों के विस्‍तार के लिए अनुकूल रहने वाला है।

सिंह राशिफल 2025

वृश्चिक राशि

सूर्य दसवें भाव का स्‍वामी है जिसका संबंध नाम, सिलेब्रिटी और पहचान से होता है। अब सूर्य छठे भाव में गोचर करने जा रहे हैं जो कि कर्ज़, शत्रु और रोग का कारक है। सूर्य का मेष राशि में गोचर होने पर आपको अपने करियर में प्रगति मिलेगी। आपके वेतन में वृद्धि हो सकती है, प्रमोशन मिल सकता है या आपकी कड़ी मेहनत और प्रतिबद्धता को पहचान मिल सकती है।

आप अपने क्षेत्र में शीर्ष पर पहुंच सकते हैं और आत्‍मविश्‍वास एवं कौशल के साथ टीम एवं प्रोजेक्‍ट का नेतृत्‍व कर सकते हैं। इसके अलावा करियर में प्रगति के अवसर मिल सकते हैं साथ ही खासतौर पर पब्लिक सेक्‍टर में नौकरी के नए ऑफर मिलने के भी योग हैं। व्‍यापारियों के लिए भी यह समय अनुकूल है। आप अपने प्रतिद्वंदियों को पीछे छोड़कर आगे निकल जाएंगे। उन्‍हें आप जितनी सफलता पाने का बहुत कम ही मौका मिलेगा।

वृश्चिक राशिफल 2025

धनु राशि

धनु राशि के नौवें भाव के स्‍वामी सूर्य देव हैं और इस भाव का संबंध अध्‍यात्‍म, लंबी यात्रा और उच्‍च शिक्षा से होता है। सूर्य का मेष राशि में गोचर के दौरान सूर्य आपके पांचवे भाव में प्रवेश करेगा जो कि प्रेम, रोमांस और संतान का भाव है। चूंकि, यह गोचर आपके पांचवे भाव में होने जा रहा है इसलिए इससे आपको करियर में लाभ होगा। आपको करियर में उन्‍नति और नए अवसर मिलने की संभावना है।

आप उत्‍साह और पेशेवर तरीके से काम कर के अपने लक्ष्‍यों को प्राप्‍त कर सकते हैं। आप अपने पेशेवर लक्ष्‍यों को पाने के लिए नई रणनीतियां अपना सकते हैं। व्‍यापारियों को भी खासतौर पर साझेदारी से अधिक पैसा कमाने का मौका मिलेगा। इस समय आपके सारे लक्ष्‍य और इच्‍छाएं पूरी होंगी।

 धनु राशिफल 2025

सूर्य का मेष राशि में गोचर: इन राशियों पर पड़ेगा नकारात्‍मक प्रभाव

तुला राशि

तुला राशि के ग्‍यारहवें भाव का स्‍वामी सूर्य है। यह भाव भौतिक सुख और इच्‍छाओं का कारक होता है। अब सूर्य विवाह और संबंधों का कारक यानी सप्‍तम भाव में गोचर करने जा रहे हैं। तुला राशि वालों को कार्यस्‍थल में खासतौर पर अपने सहकर्मियों के साथ संबंधों को लेकर चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है।

इसके अलावा ये जातक अपने कार्यक्षेत्र में अधिक परेशान और तनाव में रह सकते हैं जिसकी वजह से अचानक यात्राएं और प्रतिकूल परिणाम मिलने के संकेत हैं। आपको अपने कार्यस्‍थल पर चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है जिससे निर्णय लेते समय सावधानी बरतने की ज़रूरत होगी अन्‍यथा आपको वित्तीय नुकसान हो सकता है।

तुला राशिफल 2025

मीन राशि

सूर्य जो कि पहले मीन राशि के छठे भाव का स्‍वामी था, अब सूर्य का मेष राशि में गोचर होने के दौरान वह आपके दूसरे भाव में उच्‍च का है। आमतौर पर सूर्य के दूसरे भाव में होने को अत्‍यधिक लाभकारी नहीं माना जाता है।

इस दौरान आपको मुंह से संबंधित समस्‍याएं, आंखों से जुड़े विकार और वित्तीय नुकसान होने की आशंका है। इसके अलावा आपके अपने रिश्‍तेदारों के साथ संबंध खराब हो सकमे हैं। हालांकि, अगर आप लोन और वित्तीय सहायता लेने के बारे में सोच रहे हैं, तो आपके लिए यह गोचर लाभकारी सिद्ध हो सकता है।

सूर्य का मेष राशि में गोचर: उपाय

  • गुड़ और दूध से बनी मिठाईयों का दान करें।
  • रविवार के दिन मंदिर या वरिष्‍ठ पुरुषों को गेहूं और तांबे के बर्तन दान में दें।
  • रोज़ तुलसी के पौधे को पानी दें और उसकी पूजा करें। रविवार के दिन तुलसी पूजन न करें।
  • आप नियमित रूप से आदित्‍य स्‍तोत्रम का पाठ करें।
  • आप ज्यादा से ज्‍यादा लाल और नारंगी रंग का प्रयोग करें।
  • आप रोज़ तांबे के पात्र में जल भरकर उसमें गुलाब की कुछ पंखुडियां डालकर सूर्य को अर्घ्‍य दें।

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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

प्रश्‍न 1. किस बिंदु पर सूर्य सर्वोच्‍च उच्‍चता पर होता है?

उत. 10 डिग्री पर।

प्रश्‍न 2 सूर्य किसका कारक हैं?

उत्तर. सूर्य आत्‍मा का कारक हैं और कुंडली में यह पिता, प्रशासन, आरोग्‍य बल, आंखों, हड्डियों और आत्‍मविश्‍वास को दर्शाता है।

प्रश्‍न 3. सूर्य का किन ग्रहों के साथ मैत्री संबंध है?

उत्तर. बृहस्‍पति, चंद्रमा और मंगल।

मीन राशि में शुक्र की मार्गी चाल शेयर बाज़ार के लिए रहेगी अशुभ, रहना होगा सावधान!

मीन राशि में शुक्र की मार्गी चाल शेयर बाज़ार के लिए रहेगी अशुभ, रहना होगा सावधान!

शुक्र मीन राशि में मार्गी: एस्ट्रोसेज एआई हमेशा से अपने पाठकों के लिए ज्योतिष की दुनिया में होने वाले छोटे से छोटे बदलाव की जानकारी लेकर आता है। अब प्रेम एवं ऐश्वर्य के कारक ग्रह कहे जाने वाले शुक्र 13 अप्रैल 2025 को मीन राशि में मार्गी होने जा रहे हैं। ऐसे में, शुक्र देव की चाल में होने वाले इस बदलाव का असर देश-दुनिया के साथ-साथ सभी राशियों पर पड़ेगा, इस बारे में हम आगे विस्तार से बात करेंगे। लेकिन ध्यान देने योग्य बात है कि शुक्र ग्रह अपनी उच्च राशि मीन में होंगे। ऐसे में, क्या शुक्र की मार्गी अवस्था आपके जीवन को नकारात्मक या सकारात्मक रूप से प्रभावित करेगी? आइए जानते है। 

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शुक्र मीन राशि में मार्गी: समय 

वैदिक ज्योतिष में शुक्र महाराज प्रेम, सुंदरता और कला का प्रतिनिधित्व करते हैं जो अब मीन राशि में मार्गी होने के लिए पूरी तरह से तैयार हैं। शुक्र देव 13 अप्रैल 2025 की सुबह 05 बजकर 45 मिनट पर अपनी उच्च राशि मीन में मार्गी हो रहे हैं। बता दें कि शुक्र की मीन राशि में स्थिति को बेहद अच्छा माना जाता है और ऐसे में, इनकी मार्गी चाल जातकों के जीवन में असामान्य और अनिश्चित घटनाएं लेकर आ सकती हैं। चलिए अब जानते हैं कि राशि चक्र की सभी 12 राशियों को शुक्र मीन राशि में मार्गी होकर किस तरह के परिणाम देंगे। हालांकि, आपके लिए यह जानना जरूरी है कि शुक्र देव मीन राशि में पापी ग्रह शनि, राहु और सूर्य के साथ मौजूद होंगे। ऐसे में, आपको शुक्र मार्गी से मिलने वाले शुभ परिणामों में कमी आ सकती है। 

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शुक्र मीन राशि में मार्गी: विशेषताएं 

शुक्र की मीन राशि में मौजूदगी रिश्ते और प्रेम जीवन में प्रेम और रोमांस लेकर आती है। जिन जातकों का जन्म शुक्र मीन राशि के तहत होता है, वह बेहद दयालु और कोमल हृदय वाले होते हैं। इन लोगों का नज़रिया प्रेम को लेकर सकारात्मक होता है और इन्हें साथी के रूप में ऐसे शख्स की तलाश रहती है जिनके साथ यह आध्यात्मिक रूप से जुड़ाव महसूस कर सकें। इन लोगों की जीवनसाथी को लेकर अपेक्षाएं हकीकत से परे हो सकती हैं क्योंकि यह एक ऐसी प्रेम कहानी चाहते हैं जो एकदम परफेक्ट हो। शुक्र की मीन राशि में स्थिति रचनात्मकता और कला को भी दर्शाती है। जो लोग मीन राशि में शुक्र के अंतर्गत जन्म लेते हैं, उनका झुकाव अक्सर संगीत, कविता, विज़ुअल और खुद को दूसरे के सामने सही तरीके से व्यक्त करने आदि में होता है। सुंदरता को लेकर इनका दृष्टिकोण सबसे अलग और विशिष्ट होता है।

शुक्र मीन राशि के अंतर्गत पैदा होने वाले जातकों में जिम्मेदारियों से बचने की प्रवृत्ति हो सकती है या फिर यह सपनों की दुनिया में खोए रहने वाले हो सकते हैं। अगर इनके रिश्ते में कभी भी उतार-चढ़ाव आते हैं, तो यह इन परिस्थितियों का सामना करने के बजाय इनसे बचने के लिए अपने संसार में खुद को सीमित कर सकते हैं। हालांकि, इनके चरित्र में कुछ विशेष गुण पाए जाते हैं जिनमें आपके अच्छे-बुरे गुणों की परवाह किए बिना आपको अत्यंत प्रेम करना, आपके प्रति वफादार होना और साथी के प्रति प्रेमपूर्ण होना शामिल हैं। 

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शुक्र मीन राशि में मार्गी: विश्व पर प्रभाव

ट्रांसपोर्ट एवं टूरिज्म

  • शुक्र मीन राशि में मार्गी होकर यातायात और शिपिंग से जुड़े क्षेत्रों में कुछ बड़े परिवर्तन लेकर आ सकते हैं।
  • इस अवधि में विभिन्न देशों के बीच ज़मीन को लेकर राजनीतिक संबंध बिगड़ सकते हैं जिसकी वजह शुक्र महाराज का पापी ग्रहों के साथ बैठे होना होगा।
  • शुक्र मार्गी के दौरान टूरिज्म इंडस्ट्री में गिरावट देखने को मिल सकती है या फिर कोई बड़ी दुर्घटना इस पर बुरा असर डाल सकती है।
  • होटल और खानपान से जुड़े क्षेत्र विशेषकर पैक्ड फ़ूड इंडस्ट्री की मांग में बढ़ोतरी हो सकती है। 

फैशन और कॉस्मेटिक इंडस्ट्री    

  • शुक्र के मीन राशि में मार्गी होने की अवधि में डिज़ाइनर, वेब डिज़ाइनर और फाइन आर्ट से जुड़े लोगों को बिक्री और मांग में कमी देखने को मिल सकती है।
  • इस दौरान कॉस्मेटिक इंडस्ट्री के साथ-साथ बाल और त्वचा से संबंधित सेक्टरों में भी मंदी नज़र आ सकती है। लेकिन, आर्गेनिक प्रोडक्ट्स की मांग में तेज़ी आने की संभावना है। 
  • शुक्र के मार्गी होने का असर देश के साथ-साथ विश्व स्तर पर भारतीय कपड़ा उद्योग और हैंडलूम को नकारात्मक रूप से प्रभावित करेगा। ऐसे में, इन क्षेत्रों के कारोबार की रफ़्तार सुस्त पड़ सकती है।
  • विश्व स्तर पर फैशन इंडस्ट्री और टेक्सटाइल इंडस्ट्री में गिरावट आने की आशंका है। साथ ही, फैशन से जुड़ीं चीज़ों की मांग कम हो सकती है। 

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मीडिया और एंटरटेनमेंट इंडस्ट्री  

  • जर्नलिज्म, मीडिया और पब्लिक रिलेशन से जुड़ाव रखने वाले लोगों को जनता की नाराज़गी झेलनी पड़ सकती है।
  • शुक्र मार्गी होने के दौरान लेखक और गायक उतना नाम और प्रसिद्धि प्राप्त नहीं कर पाएंगे जितना वह हासिल करना चाहते थे।  

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शुक्र मीन राशि में मार्गी: शेयर बाज़ार भविष्यवाणी 

शुक्र महाराज अब 13 अप्रैल 2025 को मीन राशि में मार्गी होने जा रहे हैं और ऐसे में, यह जातकों के जीवन, देश-दुनिया सहित स्टॉक मार्केट को भी प्रभावित करेंगे। इसी क्रम में, एस्ट्रोसेज एआई आपके लिए शेयर बाजार भविष्यवाणी लेकर आया है जिसके माध्यम से आप जान सकेंगे कि शुक्र मीन राशि में मार्गी होकर बाज़ार के प्रत्येक क्षेत्र और सेक्टर को किस तरह से प्रभावित करेंगे। 

  • इस महीने के अंत में कॉस्मेटिक, ब्यूटी और परफ्यूम से जुड़े क्षेत्रों को मंदी का सामना करना पड़ सकता है।
  • शुक्र मीन राशि में मार्गी होने के दौरान फैशन इंडस्ट्री और कपड़ा उद्योग में भी गिरावट आने का अनुमान है।  
  • रिलायंस ब्रांड और विभिन्न उद्योगों, विशेष रूप से फैशन से जुड़ी सेवाएं प्रदान करने वाले सेक्टर को मांग और लाभ में कमी का अनुभव हो सकता है।
  • शुक्र की मार्गी चाल कॉस्मेटिक क्षेत्र को बुरी तरह से प्रभावित कर सकती है। 
  • शेयर बाजार को भी शुक्र देव की वजह से नुकसान पहुंच सकता है। ऐसे में, शेयर की कीमतों और व्यापार को हानि झेलनी पड़ सकती है क्योंकि शुक्र देव पापी ग्रह के साथ विराजमान होंगे। 

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अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

1. क्या शुक्र एक पापी ग्रह है? 

नहीं, कुंडली में शुक्र देव बृहस्पति ग्रह के बाद सबसे शुभ एवं लाभकारी ग्रहों में से एक माने गए हैं।

2. क्या हमेशा शुक्र वक्री चाल चलते हैं?

नहीं, सामान्य रूप से शुक्र मार्गी चाल या सीधी गति में आगे बढ़ते हैं, लेकिन यह एक वर्ष में लगभग दो या तीन बार वक्री हो जाते हैं।

3. क्या गुरु ग्रह शुक्र का मित्र है? 

नहीं, ज्योतिष में बृहस्पति और शुक्र ग्रह एक-दूसरे के प्रति तटस्थ संबंध रखते हैं।

कामदा एकादशी 2025: इस दिन राशि अनुसार लगाएं श्री हरि को भोग!

कामदा एकादशी 2025: इस दिन राशि अनुसार लगाएं श्री हरि को भोग!

कामदा एकादशी 2025: हिंदू धर्म में एकादशी के व्रत का बहुत महत्‍व है। ज्‍योतिष शास्‍त्र के अनुसार एक माह में दो एकादशी तिथि पड़ती हैं जिससे साल में कुल 24 एकादशियां आती हैं। चैत्र माह के शुक्‍त पक्ष को आने वाली एकादशी तिथि को कामदा एकादशी 2025 के नाम से जाना जाता है। प्रत्‍येक एकादशी की तरह इस दिन भी भगवान विष्‍णु और मां लक्ष्‍मी की आराधना की जाती है। अपनी मनोकामना की पूर्ति, कष्‍टों से मुक्‍ति और सुख-समृद्धि की कामना से इस दिन व्रत रखा जाता है।

एस्‍ट्रोसेज एआई के इस विशेष ब्‍लॉग के ज़रिए हम आपको कामदा एकादशी 2025 की‍ तिथि, महत्‍व और पूजन विधि आदि के बारे में बताएंगे। तो चलिए अब बिना देर किए आगे बढ़ते हैं और जानते हैं कि वर्ष 2025 मे कामदा एकादशी कब पड़ रही है।

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कब है कामदा एकादशी 2025

कामदा एकादशी 08 अप्रैल, 2025 को मंगलवार के दिन पड़ रही है। 07 अप्रैल, 2025 को रात्रि 08 बजकर 03 मिनट से एकादशी तिथि आरंभ हो जाएगी जिसका समापन 08 अप्रैल को रात्रि 09 बजकर 15 मिनट पर होगा। कामदा एकादशी को ‘चैत्र शुक्‍ल एकादशी’ के नाम से भी जाना जाता है क्‍योंकि यह चैत्र नवरात्रि के बाद आती है।

कामदा एकादशी 2025 की पूजन वि‍धि

  • एकादशी 2025 व्रत से एक दिन पूर्व भोजन करने के पश्‍चात् भगवान विष्‍णु का ध्‍यान करें। इसके अगले दिन कामदा एकादशी पर सुबह स्‍नान आदि से निवृत्त होने के बाद अपने घर के पूजन स्‍थल में व्रत रखने का संकल्‍प लें।
  • इस एकादशी पर भगवान विष्‍णु को पुष्‍प, फल दूध, पंचामृत, तिल आदि अर्पित करें।
  • पूजन के बाद दिनभर भगवान विष्‍णु का ध्‍यान करें और उनके नाम का भजन करें। रात में भी जागरण करें। एकादशी के व्रत में अगले दिन पारण किया जाता है।

कामदा एकादशी 2025 के व्रत में क्‍या खाएं

  • कामदा एकादशी पर व्रत रखने पर एक ही समय पर भोजन किया जाता है जिसमें दूध से बने उत्‍पाद, फल, सब्जियां और सूखे मेवे शामिल होते हैं।
  • इस दिन सात्विक और शाकाहारी भोजन ही करना चाहिए।
  • किसी भी एकादशी पर चावल, मूंग दाल, गेहूं और जौ नहीं खाना चाहिए।
  • सूर्यास्‍त से पहले ही भोजन कर लेना चाहिए लेकिन अन्‍न का सेवन एकादशी के अगले दिन ब्राह्मण को दक्षिणा और भोजन देने के बाद ही करना चाहिए।

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क्‍यों खास है कामदा एकादशी 2025

प्रथम एकादशी है: कामदा एकादशी हिंदू नववर्ष की प्रथम एकादशी तिथि है। माना जाता है कि इस दिन व्रत करने से भी इच्‍छाओं की पूर्ति होती है।

पाप से मुक्‍ति: एकादशी के दिन पूरे विधि-विधान से व्रत करने पर ब्रह्म हत्‍या जैसे पाप से भी मुक्‍ति मिल सकती है।

संतान प्राप्ति का आशीर्वाद: यदि कोई व्‍यक्‍ति संतान प्राप्ति की कामना रखता है, तो कामदा एकादशी का व्रत ज़रूर रखना चाहिए। इसके साथ ही संतान की लंबी उम्र और सफलता के लिए भी इस दिन व्रत रखा जा सकता है।

मोक्ष प्राप्‍त होता है: माना जाता है कि कामदा एकादशी का व्रत करने से सभी सांसारिक सुखों का आनंद लेने के बाद मनुष्‍य को भगवान विष्‍णु के वैकुंठ धाम में स्‍थान मिलता है।

कामदा एकादशी 2025 पर व्रत का पारण करने की विधि

  • एकादशी व्रत के अगले दिन सूर्योदय के बाद ही एकादशी व्रत का पारण किया जाता है। द्वादश तिथि के अंदर ही व्रत का पारण करना जरूरी होता है।
  • हरि वासर के दौरान पारण नहीं करना चाहिए। यदि द्वादश तिथि पर हरि वासर चल रहा है, तो इसके समाप्‍त होने का इंतज़ार करें और इसके बाद ही व्रत खोलें।
  • हरि वासर द्वादश तिथि की पहली एक चौथाई अवधि होती है। व्रत खोलने का सबसे सही समय प्रात: काल का होता है। इसके अलावा आप मध्‍याह्न के समय भी व्रत खोल सकते हैं।

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कामदा एकादशी 2025 पर भूलकर भी न करें ये काम

कामदा एकादशी ही नहीं बल्कि किसी भी एकादशी तिथि पर निम्‍न कार्य करने से बचना चाहिए:

  • देर तक न सोएं: शास्‍त्रों में एकादशी तिथि पर सुबह देर तक सोने को अशुभ माना गया है। इससे घर के अंदर नकारात्‍मक ऊर्जा आती है और कार्यों में अड़चनें आने का डर रहता है। एकादशी पर सूर्योदय से पहले उठकर स्‍नान एवं पूजा कर लेनी चाहिए। इसके बाद सूर्य देव को अर्घ्‍य देना चाहिए।
  • चावल का सेवन: सभी कुल 24 एकादशियों पर चावल का सेवन करने से मना किया गया है। कहते हैं कि इस दिन चावल खाने से व्रत निष्‍फल हो सकता है। इसके बजाय आप दूध और कुट्टू के आटे से बनी चीज़ें एवं फल आदि खा सकते हैं।
  • सात्विक भोजन: इस दिन तामसिक भोजन करना वर्जित माना गया है। इसमें लहसुन, प्‍याज़, अंडा और मांस-मदिरा शामिल है। इसके अलावा ज्‍यादा मसालेदार भोजन करने से भी बचना चाहिए। इसके बजाय सात्विक भोजन करें।
  • किसी की निंदा न करें: एकादशी का व्रत बहुत शुभ माना जाता है। इस दिन ईश्‍वर की भक्‍ति और नाम जप में लीन रहना चाहिए। किसी की बुराई करने या किसी को आहत करने से बचना चाहिए।
  • ब्रह्मचर्य रखें: यदि आप व्रत का संपूर्ण फल प्राप्‍त करना चाहते हैं, तो एकादशी के व्रत के दौरान ब्रह्मचर्य का पालन करें। इस दिन आप भजन-कीर्तन में लीन रह सकते हैं।
  • बाल काटना: एकादशी पर बाल या नाखून काटना अशुभ माना जाता है। इससे घर की सुख-समृद्धि नष्‍ट हो सकती है और घर में दरिद्रता आ सकती है।

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कामदा एकादशी 2025 पर व्रत किए बिना कैसे करें विष्‍णु जी को प्रसन्‍न

यदि आप किसी कारणवश व्रत नहीं रख सकते हैं, तो भी आप कुछ आसान तरीकों एवं उपायों से भगवान विष्‍णु को प्रसन्‍न कर सकते हैं।

  • एकादशी पर सुबह जल्‍दी उठें और साफ धुले हुए वस्‍त्र पहन लें। इसके बाद पूज-अर्चना करें।
  • भगवान विष्‍णु को हल्‍दी, चंदन और कुमकुम लगाएं एवं उनके आगे धूप-दीप दें और तुलसी की पत्तियां अर्पित करें।
  • आप कामदा एकादशी पर 108 बार ‘ॐ नमो भगवते वासुदेवाय’ का जाप करें।
  • भगवान विष्‍णु के मंदिर जाकर पूजा करें एवं भोग लगाएं।
  • एकादशी पर अन्‍न, वस्‍त्र और धन का दान करने का बहुत महत्‍व है। इस दिन गाय को चारा खिला सकते हैं।

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कामदा एकादशी 2025 पर राशि अनुसार लगाएं भोग

जानिए कि कामदा एकादशी पर भगवान विष्‍णु और मां लक्ष्‍मी को प्रसन्‍न करने के लिए आप राशि अनुसार किन चीज़ों का भोग लगा सकते हैं: 

  • मेष राशि: आप विष्णु जी को अनार या मीठी पोंगल चढ़ाएं। इससे आपके जीवन में सकारात्‍मकता आएगी और अड़चनें दूर होंगी।
  • वृषभ राशि: यदि आपकी वृषभ राशि है, तो आप विष्‍णु जी को दूध से बनी खीर का भोग लगाएं। इससे आपके जीवन में संपन्‍नता और सुख-शांति का आगमन होगा।
  • मिथुन राशि: इस राशि वाले मखाने और गुड़ का भोग लगाएं। ऐसा करने से आपकी बुद्धि में वृद्धि होगी और आप मानसिक रूप से स्थिर होंगे।
  • कर्क राशि: आपको एकादशी पर विष्‍णु जी को नारियल के लड्डू चढ़ाने चाहिए। इससे आप भावनात्‍मक रूप से मज़बूत होंगे और आपके परिवार में सुख-शांति आएगी।
  • सिंह राशि: इस राशि वाले शहद और आटे का हलवा बनाकर चढ़ाएं। ऐसा करने से आपके साहस और आत्‍मविश्‍वास में वृद्धि होगी और आपको ईश्‍वर का आशीर्वाद मिलेगा।
  • कन्‍या राशि: जिन लोगों की कन्‍या राशि है, वे तुलसी से बना पंचामृत अर्पित करें। इससे आपके अंदर सकारात्‍मक ऊर्जा का संचार होगा।
  • तुला राशि : आप भगवान विष्‍णु को मिश्री और मलाई का भोग लगाएं। यह उपाय करने से आपके जीवन में संतुलन और खुशियां आएंगी।
  • वृश्चिक राशि: आप ईश्‍वर को गुड़ का भोग लगाएं। इससे आपको नकारात्‍मक ऊर्जा से मुक्‍ति मिलेगी।
  • धनु राशि: आप विष्‍णु जी को चना दाल का हलवा भोग में दें। आपको ज्ञान और संपन्‍नता मिलेगी।
  • मकर राशि: ये जातक एकादशी पर तिल के लड्डू चढ़ाएं। इससे आपको चुनौतियों और मुश्किलों को पार करने में मदद मिलेगी।
  • कुंभ राशि: भगवान विष्‍णु का आशीर्वाद और संपन्‍नता पाने के लिए आप उन्‍हें मालपुए का भोग लगाएं।
  • मीन राशि: एकादशी तिथि पर मीन राशि के लोग पीले रंग की मिठाई जैसे कि बेसन के लड्डू चढ़ाएं।

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अक्‍सर पूछे जाने वाले प्रश्‍न

प्रश्‍न 1. 2025 में कामदा एकादशी कब है?

उत्तर. 08 अप्रैल को कामदा एकादशी है।

प्रश्‍न 2. एकादशी पर किसकी पूजा होती है?

उत्तर. भगवान विष्‍णु और मां लक्ष्‍मी की पूजा होती है।

प्रश्‍न 3. क्‍या एकादशी पर चावल खा सकते हैं?

उत्तर. इस दिन चावल खाना वर्जित है।

मीन राशि में मार्गी होकर बुध, किन राशियों की बढ़ाएंगे मुसीबतें और किन्हें देंगे सफलता का आशीर्वाद? जानें

मीन राशि में मार्गी होकर बुध, किन राशियों की बढ़ाएंगे मुसीबतें और किन्हें देंगे सफलता का आशीर्वाद? जानें

बुध मीन राशि में मार्गी: ज्योतिष में बुध ग्रह को “ग्रहों के राजकुमार” का पद प्राप्त है और इनका वर्णन हिंदू धर्म सहित अनेक पौराणिक ग्रंथों में भी मिलता है। बता दें कि 5वीं शताब्दी में आर्यभट्ट द्वारा रचित संस्कृत ग्रंथ “आर्यभटीय” में भी बुध ग्रह का वर्णन किया गया है। अब बुध ग्रह मीन राशि में एक बार फिर से अपनी स्थिति में बदलाव करते हुए मार्गी होने जा रहे हैं और इनकी स्थिति में बदलाव का असर राशि चक्र की सभी 12 राशियों पर अलग-अलग से दिखाई दे सकता है। सिर्फ इतना ही नहीं, बुध मार्गी का सकारात्मक या नकारात्मक प्रभाव शेयर बाजार और देश दुनिया को भी प्रभावित करेगा। ऐसे में, बुध मीन राशि में मार्गी होकर आपकी राशि को अच्छे-बुरे किस तरह के परिणाम देंगे? यह जानने के लिए शुरुआत करते हैं इस ब्लॉग की और जानते हैं बुध मार्गी का सभी राशियों पर कैसा प्रभाव पड़ेगा। साथ ही, इसके अशुभ प्रभावों से किस तरह बचा जा सकता है।   

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वैदिक ज्योतिष में बुध महाराज को एक शुभाशुभ ग्रह के रूप में देखा जाता है क्योंकि यह जातकों को ग्रहों की संगति के अनुसार फल प्रदान करते हैं। ऐसे में, जब बुध देव की चाल, दशा और स्थिति में कोई भी बदलाव होता है, तो यह संसार समेत जातकों को सकारात्मक या नकारात्मक दोनों तरह के फल देते हैं। इसके अलावा, बुध ग्रह को बुद्धि, तर्कशक्ति,  व्यापार, शेयर बाजार और तार्किक क्षमता का कारक ग्रह माना गया है। आइए अब हम आगे बढ़ते हैं और एस्ट्रोसेज एआई के इस लेख के माध्यम से जानते हैं कि बुध मीन राशि में कब मार्गी होंगे। 

बुध मीन राशि में मार्गी: तिथि और समय 

बुध महाराज को सभी नवग्रहों में चंद्रमा के बाद सबसे तेज़ गति से चलने वाला ग्रह माना गया है क्योंकि एक राशि में यह लगभग 23 दिनों के लिए रहते हैं। इस प्रकार, यह एक राशि में बेहद कम समय के लिए विराजमान होते हैं। अब बुध ग्रह 07 अप्रैल 2025 की शाम 04 बजकर 04 मिनट पर अपनी वक्री अवस्था से बाहर आते हुए मीन राशि में मार्गी हो जाएंगे। बता दें कि बुध की नीच राशि मीन है जिसके स्वामी ग्रह गुरु महाराज हैं। बृहस्पति देव के साथ बुध तटस्थ संबंध रखते हैं। ऐसे में, बुध का मीन राशि में मार्गी होना राशियों के साथ-साथ विश्व को निश्चित रूप से प्रभावित कर सकता है। आगे बढ़ने से पहले हम जान लेते हैं कि किसे कहते हैं ग्रह का मार्गी होना। 

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क्या होता है किसी ग्रह का मार्गी होना?

जैसे कि हम सभी इस बात को भली-भांति जानते हैं कि प्रत्येक ग्रह समय-समय पर अपनी चाल, दशा या स्थिति में बदलाव करते हुए अस्त, उदय, वक्री और मार्गी होते हैं। हालांकि, सूर्य एकमात्र ऐसा ग्रह है जो हमेशा एक ही अवस्था में रहता है। बात करें ग्रह के मार्गी होने की, तो किसी ग्रह के मार्गी होने का अर्थ उस अवस्था से है जब ग्रह अपनी उल्टी चाल यानी कि वक्री स्थिति से पुनः सीधा चलना लगता है और इसे ही ग्रह का मार्गी होना कहा जाता है। ज्योतिष में जिस तरह ग्रहों के गोचर को महत्वपूर्ण माना जाता है, ठीक उसी प्रकार ग्रहों की स्थिति में होने वाले परिवर्तनों को भी विशेष माना जाता है। चलिए अब नज़र डालते हैं बुध ग्रह के ज्योतिषीय महत्व पर। 

ज्योतिष की दृष्टि से बुध ग्रह

  • वैदिक ज्योतिष में बुद्धि, तर्क, व्यापार एवं वाणी के कारक ग्रह के रूप में बुध देव को लाभकारी ग्रह माना गया है।
  • यह चतुरता, मित्र, गणित और संवाद का भी प्रतिनिधित्व करता हैं। किसी व्यक्ति की कुंडली में बुध देव को तीसरे और छठे भाव पर आधिपत्य प्राप्त हैं। 
  • राशि चक्र में बुध ग्रह मिथुन और कन्या राशि पर शासन करते है। बता दें कि कन्या राशि में बुध ग्रह उच्च अवस्था में और मीन राशि में नीच होते हैं। 
  • यह हर राशि में तक़रीबन 24 दिनों तक रहते हैं और उसके बाद, एक राशि से निकलकर दूसरी राशि में प्रवेश कर जाते है। 
  • सभी 27 नक्षत्रों में बुध महाराज को अश्लेषा, ज्येष्ठा और रेवती नक्षत्र का स्वामित्व प्राप्त हैं। 
  • बात करें इनके मित्रों की, तो बुध देव के सूर्य और शुक्र के साथ मैत्रीपूर्ण संबंध है जबकि चंद्रमा और केतु को इनका शत्रु माना जाता है। वहीं, मंगल, बृहस्पति और शनि के साथ बुध ग्रह के संबंध तटस्थ है। 
  • बुध ग्रह को सप्ताह में बुधवार का दिन समर्पित होता है और इन्हें हरा रंग अतिप्रिय हैं। 
  • शायद ही आप जानते होंगे कि बुध देव को रौहिणेय, तुंगा सौम्य आदि नामों से भी जाना जाता है। ग्रीस की पौराणिक कथाओं में बुध ग्रह हेमीज़ का प्रतिनिधित्व करते हैं। 

बुध ग्रह का वैज्ञानिक महत्व  

बुध ग्रह का ज्योतिषीय महत्व के साथ-साथ वैज्ञानिक महत्व भी है जिसके बारे में हम यहाँ बात करेंगे।

  • वैज्ञानिक दृष्टि से, सौरमंडल का सबसे छोटा और तेज़ गति से चलने वाला ग्रह बुध है। यह अन्य ग्रहों की तुलना में सूर्य के सबसे नज़दीक स्थित है। 
  • एक तरफ, बुध की सतह चट्टान की तरह एकदम ठोस है, तो वहीं इसका वायुमंडल हाइड्रोजन, हीलियम, ऑक्सीजन और सोडियम पोटेशियम आदि से मिलकर बना है।
  • बता दें कि बुध ग्रह का अपना कोई चंद्रमा नहीं है और इस वजह से यहाँ पर जीवन की कल्पना नहीं की जा सकती है। 

अब हम आगे बढ़ते हैं और बात करते हैं कुंडली में बुध देव के शुभ या अशुभ होने पर जातक को किस तरह के संकेत मिलते हैं।

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मज़बूत बुध के लक्षण 

ऐसे जातक जिनकी कुंडली में बुध महाराज मज़बूत या शुभ स्थिति में होते हैं, उन्हें अपने जीवन में कई तरह के सकारात्मक परिणामों की प्राप्ति होती है जो कि इस प्रकार है:

  • कुंडली में मज़बूत बुध होने पर व्यक्ति का संचार कौशल काफ़ी शानदार होता है और उसकी वाणी से दूसरे जल्द ही प्रभावित हो जाते हैं।
  • इनका शुभ प्रभाव होने से जातक को विश्लेषणात्मक कौशल और तेज़ बुद्धि का आशीर्वाद मिलता है।
  • ऐसे जातक जिनकी कुंडली में बुध ग्रह शुभ होते हैं, वह ट्रेडिंग के क्षेत्र में महारत हासिल करते हैं जिसके चलते वह अच्छा ख़ासा लाभ कमाने में सफल होते हैं।
  • कुंडली में मज़बूत बुध के प्रभाव से इन लोगों का व्यक्तित्व शारीरिक रूप से बेहद आकर्षक और सुंदर होता है। इस वजह से अक्सर यह अपनी वास्तविक उम्र से कम आयु के ही नज़र आते हैं और इनकी आँखों में एक अलग चमक होती है। ऐसे लोगों की आवाज़ बेहद पतली होती है।
  • जिन लोगों की कुंडली में बुध का प्रभाव मज़बूत होता है, वह वाद-विवाद, तर्क और राजनीति के क्षेत्र में काफ़ी अच्छे होते हैं। इन लोगों का झुकाव नई-नई चीज़ों को सीखने में होती है।
  • बुध देव का जीवन पर शुभ प्रभाव होने की वजह से जातक अच्छा प्रवक्ता, वक्ता, बीमा एजेंट, बहुभाषी और अधिकारी आदि बनता है। 

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कमजोर बुध के लक्षण

ज्योतिषियों का मानना है कि अगर कुंडली में बुध ग्रह अशुभ या दुर्बल स्थिति में होता है, तो जातक का जीवन समस्याओं से भर जाता है। ऐसे में, आपको जीवन में कई तरह की समस्याओं से दो-चार होना पड़ता है जो कि इस प्रकार है:

  • ऐसे जातक जिनकी कुंडली में बुध कमजोर अवस्था में होता है, उन्हें बातचीत करने में और दूसरों के सामने अपने विचारों को रखने में परेशानी होती है।
  • किसी व्यक्ति की कुंडली में बुध ग्रह अशुभ होने पर आपको शारीरिक और मानसिक समस्याओं से दो-चार होना पड़ सकता है।
  • कमजोर बुध का नकारात्मक प्रभाव होने के कारण जातक के मान सम्मान, यश बल और पद-प्रतिष्ठा में गिरावट आती है। 
  • इसके अलावा, अशुभ बुध का सीधा प्रभाव व्यक्ति के भाषण और बातचीत करने की क्षमता को प्रभावित करता है।
  • ऐसे लोग जिनका बुध कमजोर होता है, उनके स्वभाव में चतुराई और मूड स्विंग देखने को मिलते हैं। इसके अलावा, इन लोगों में छलकपट की प्रवृत्ति भी होती है।

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बुध मीन राशि में मार्गी; सरल एवं प्रभावी उपाय

  • बुध ग्रह को मज़बूत करने के लिए गाय को हरी सब्जियां जैसे पालक, मेथी आदि खिलाएं।
  • संभव हो, तो बुध ग्रह के लिए बुधवार के दिन व्रत करें। 
  • रोज़ाना सफेद चंदन का मस्तक पर तिलक करना शुभ रहेगा। 
  • बुध से शुभ परिणामों की प्राप्ति के लिए आप चार मुखी या दस मुखी रुद्राक्ष धारण कर सकते हैं, परंतु ऐसा करने से पहले किसी ज्योतिषी से परामर्श अवश्य लें।
  • जिन जातकों की कुंडली में बुध ग्रह अशुभ परिणाम दे रहा होता है, वह अनुभवी एवं विद्वान ज्योतिषियों की सलाह पर पन्ना रत्न धारण कर सकते हैं।
  • बुध देव को मज़बूत करने के लिए श्री गणेश पूजा करना शुभ साबित होता है। साथ ही, आप साबुत मूंग और हरे रंग के वस्त्रों का अपने सामर्थ्य अनुसार दान करें।

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बुध मीन राशि में मार्गी: राशि अनुसार प्रभाव और उपाय 

मेष राशि

मेष राशि वालों के लिए बुध ग्रह आपकी कुंडली में तीसरे तथा छठे भाव के स्वामी हैं। अब…(विस्तार से पढ़ें) 

वृषभ राशि

वृषभ राशि वालों के लिए बुध ग्रह आपकी कुंडली में दूसरे तथा पांचवें भाव के स्वामी हैं जो…(विस्तार से पढ़ें)

मिथुन राशि

मिथुन राशि वालों के लिए बुध ग्रह आपके लग्न या राशि के स्वामी होने के साथ-साथ चतुर्थ…(विस्तार से पढ़ें)

कर्क राशि

कर्क राशि वालों के लिए बुध ग्रह आपकी कुंडली में तीसरे तथा द्वादश भाव के स्वामी… (विस्तार से पढ़ें)

सिंह राशि

सिंह राशि वालों के लिए बुध ग्रह आपकी कुंडली में दूसरे तथा लाभ भाव के स्वामी हैं जो…(विस्तार से पढ़ें) 

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कन्या राशि

कन्या राशि वालों के लिए बुध आपके लग्न या राशि के स्वामी होने के साथ-साथ आपके दशम…(विस्तार से पढ़ें)

तुला राशि

तुला राशि वालों के लिए बुध ग्रह आपकी कुंडली में भाग्य भाव और द्वादश भाव के… (विस्तार से पढ़ें) 

वृश्चिक राशि 

वृश्चिक राशि वालों के लिए बुध आपकी कुंडली में आठवें तथा लाभ भाव के स्वामी हैं जो…(विस्तार से पढ़ें) 

धनु राशि 

धनु राशि वालों के लिए बुध आपकी कुंडली में सातवें तथा दसवें भाव के स्वामी हैं। ऐसे…(विस्तार से पढ़ें)

मकर राशि

मकर राशि वालों के लिए बुध देव आपकी कुंडली में छठे तथा भाग्य भाव के स्वामी हैं जो(विस्तार से पढ़ें)

कुंभ राशि

कुंभ राशि वालों के लिए बुध ग्रह आपकी कुंडली में पांचवें तथा आठवें भाव के स्वामी हैं। अब…(विस्तार से पढ़ें)

मीन राशि

मीन राशि वालों के लिए बुध ग्रह आपकी कुंडली में चौथे तथा सातवें भाव के स्वामी हैं जो…(विस्तार से पढ़ें)

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इसी आशा के साथ कि, आपको यह लेख भी पसंद आया होगा एस्ट्रोसेज के साथ बने रहने के लिए हम आपका बहुत-बहुत धन्यवाद करते हैं।

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

1. बुध मीन राशि में मार्गी कब होंगे?

साल 2025 में बुध मीन राशि में मार्गी 07 अप्रैल 2025 को होंगे।

2. मीन राशि का स्वामी कौन है?

राशि चक्र की बारहवीं और अंतिम राशि मीन के अधिपति देव गुरु ग्रह हैं।  

3. क्या गुरु ग्रह बुध का शत्रु है? 

नहीं, बुध और गुरु ग्रह के बीच तटस्थ संबंध है।

इस सप्ताह मिलेगा राम भक्त हनुमान का आशीर्वाद, सोने की तरह चमकेगी किस्मत!

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एस्ट्रोसेज एआई साप्ताहिक राशिफल का यह विशेष ब्लॉग अपने पाठकों के लिए लेकर आया है जिसके माध्यम से आपको अप्रैल माह के पहले सप्ताह यानी कि 07 अप्रैल से 13 अप्रैल, 2025 के बारे में विस्तृत जानकारी प्राप्त होगी। इसके अलावा, यह सप्ताह आपके जीवन में किस तरह के परिवर्तन लेकर आएगा? करियर और व्यापार का कैसा रहेगा हाल? प्रेम जीवन में बनी रहेगी मिठास या समस्याओं का करना होगा सामना? क्या वैवाहिक जीवन में होगी प्रेम की बरसात? हमारा यह लेख आपको आपको आपके सभी सवालों के सटीक जवाब प्रदान करेगा। साथ ही, ग्रहों के नकारात्मक प्रभावों से बचने के लिए कौन से उपाय करना फायदेमंद रहेगा, यह भी हम आपको बताएंगे। आइए बिना देर किए शुरुआत करते हैं इस लेख की और जानते हैं अप्रैल 2025 के इस सप्ताह का हाल।

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शायद ही आप जानते होंगे कि साप्ताहिक राशिफल का यह ब्लॉग पूरी तरह से वैदिक ज्योतिष पर आधारित है जिसे ग्रह, नक्षत्रों की चाल, दशा और स्थिति की गणना करने के बाद अनुभवी और विद्वान ज्योतिषियों द्वारा तैयार किया गया है। हमारा यह ब्लॉग इस सप्ताह के लिए सभी 12 राशियों को भविष्यवाणी प्रदान करने के साथ-साथ इस हफ़्ते में पड़ने वाले व्रत-त्योहार, ग्रहण-गोचर और बैंक अवकाशों से भी अवगत करवाएगा। लेकिन इस बारे में जानने से पहले जान लेते हैं इस सप्ताह का पंचांग। 

इस सप्ताह के ज्योतिषीय तथ्य और हिंदू पंचांग की गणना 

07 से 13 अप्रैल 2025 का यह सप्ताह अप्रैल का पहला सप्ताह होगा। हिंदू पंचांग के अनुसार, इस सप्ताह का आरंभ पुष्य नक्षत्र के अंतर्गत शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि अर्थात 07 अप्रैल 2025 , सोमवार के दिन होगा जबकि इस सप्ताह का समापन स्वाति नक्षत्र के तहत कृष्ण पक्ष की प्रतिपदा तिथि यानी कि 13 अप्रैल 2025, रविवार को होगा। अंग्रेजी कैलेंडर में अप्रैल चौथा महीना होता है और इस माह के हर हफ़्ते का धार्मिक दृष्टि से अपना महत्व है। इस दौरान कौन-कौन से ग्रह-गोचर होंगे और किन व्रत-त्योहारों को मनाया जाएगा, आइए जानते हैं। 

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इस सप्ताह में पड़ने वाले व्रत और त्योहारों की संपूर्ण जानकारी

सनातन धर्म में अनेक व्रत और त्योहारों को धूमधाम से मनाया जाता है जो अब हमारे दैनिक जीवन का अभिन्न हिस्सा बन गए हैं। व्यक्ति के जीवन में हर त्योहार खुशियां और सौभाग्य लेकर आता है, परन्तु वर्तमान समय में इंसान अपनी व्यस्त ज़िन्दगी की भागदौड़ में इन पर्वों की तिथियों को भूल जाता है। आपके साथ ऐसा न हों इसलिए यहां हम आपको इस हफ़्ते में आने वाले व्रत एवं त्योहारों की संपूर्ण सूची दे रहे हैं ताकि आप इन त्योहारों की पहले ही तैयारी कर सकें। 

चैत्र नवरात्रि पारणा (7 अप्रैल 2025, सोमवार): पंचांग के अनुसार, चैत्र शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को चैत्र नवरात्रि का पारण किया जाता है। इस दिन नौ दिनों तक चलने वाली चैत्र नवरात्रि  का समापन होगा। साल 2025 में चैत्र नवरात्रि का पारण 07 अप्रैल, सोमवार को किया जाएगा। 

कामदा एकादशी (08 अप्रैल 2025, मंगलवार): कामदा एकादशी का व्रत चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी को किया जाता है। मान्यताओं के अनुसार, यह व्रत भगवान विष्णु को समर्पित सबसे उत्तम व्रतों में से एक है। कामदा एकादशी पर भगवान वासुदेव और विष्णु जी की पूजा की जाती है। इस दिन भगवान विष्णु की उपासना भक्तिभाव से करने से जातक की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। साथ ही, भक्त के सभी पाप नष्ट हो जाते हैं। 

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प्रदोष व्रत (शुक्ल) (10 अप्रैल 2025, गुरुवार): हिंदू कैलेंडर के अनुसार, हर माह के शुक्ल और  कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी को प्रदोष व्रत करने का विधान है। बता दें कि सूर्यास्त से पूर्व और रात होने से पहले के समय को प्रदोष काल कहा जाता है। प्रदोष व्रत में भगवान शिव की आराधना की जाती है और सच्चे मन से व्रत रखने वाले व्यक्ति को मनचाहे वस्तु की प्राप्ति का आशीर्वाद मिलता है। 

हनुमान जयंती (12 अप्रैल 2025, शनिवार): हर साल चैत्र मास की पूर्णिमा तिथि को हनुमान जयंती के रूप में मनाया जाता है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, चैत्र पूर्णिमा के दिन राम जी के परम भक्त हनुमान जी का जन्म हुआ था इसलिए यह तिथि हनुमान जी के जन्मदिन के रूप में मनाई जाती है। हनुमान जयंती के अवसर पर देश भर के हनुमान मंदिरों में भक्तों की भीड़ देखने को मिलती हैं। 

चैत्र पूर्णिमा व्रत (12 अप्रैल 2025, शनिवार): चैत्र मास की पूर्णिमा को चैत्र पूर्णिमा कहते हैं और यह चैती पूनम के नाम से भी जानी जाती है। हिन्दू वर्ष के पहले माह में आने के कारण चैत्र पूर्णिमा का विशेष महत्व है और इस दिन जगत के पालनहार भगवान सत्यनारायण की पूजा की जाती है जबकि उत्तर भारत में चैत्र पूर्णिमा को हनुमान जयंती के रूप में मनाया जाता है। 

हम आशा करते हैं कि यह व्रत-त्योहार आपके जीवन को खुशियाँ और उमंग से भर देंगे। 

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इस सप्ताह (07 अप्रैल से 13 अप्रैल, 2025) पड़ने वाले ग्रहण और गोचर

वैदिक ज्योतिष और सनातन धर्म में ग्रहण और गोचर को विशेष माना गया है जो मनुष्य जीवन को गहराई से प्रभावित करते हैं। ऐसे में, आपको इन ग्रहण और गोचरों की जानकारी होना जरूरी होता है इसलिए यहां हम आपको इस सप्ताह के ग्रहण-गोचर की तिथियां प्रदान कर रहे हैं। बता दें कि अप्रैल 2025 के इस सप्ताह में कोई गोचर नहीं होगा, लेकिन दो बड़े ग्रह अपनी स्थिति में परिवर्तन करेंगे। अब हम आगे बढ़ते हैं और आपको रूबरू करवाते हैं इन ग्रहों की चाल में होने वाले बदलाव के समय से। 

बुध मीन राशि में मार्गी (07 अप्रैल 2025): बुद्धि, वाणी, तर्क और व्यापार के कारक ग्रह बुध महाराज अब मीन राशि में 07 अप्रैल 2025 की शाम 04 बजकर 04 मिनट पर मार्गी होने जा रहे हैं जिसका प्रभाव सभी राशियों और देश-दुनिया पर दिखाई देगा।

शुक्र मीन राशि में मार्गी (13 अप्रैल 2025): शुक्र देव को प्रेम, ऐश्वर्य, भोग-विलास एवं रोमांस के कारक ग्रह कहा जाता है और अब 13 अप्रैल 2025 की सुबह 05 बजकर 45 मिनट पर मीन राशि में वक्री अवस्था से बाहर आते हुए  मार्गी होने जा रहे हैं। 

नोट: इस सप्ताह कोई ग्रहण नहीं लगने जा रहा है।  

इस सप्ताह में पड़ने वाले बैंक अवकाश

साप्ताहिक राशिफल का यह ब्लॉग आपको इस हफ्ते में पड़ने वाले बैंक अवकाशों के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान करेगा ताकि आप समय रहते हुए अपने सभी कामों को निपटा सकें। 

तिथि दिनपर्वराज्य
10 अप्रैल 2025गुरुवारमहावीर जयंतीछत्तीसगढ़, चंडीगढ़, दमन और दिऊ, दिल्ली, दादर और नागर हवेली, गुजरात, हरियाणा, झारखण्ड, कर्नाटक, लक्षद्वीप, महाराष्ट्र , मध्य प्रदेश, मिजोरम, उड़ीसा, पंजाब , राजस्थान , तमिलनाडु और उत्तर प्रदेश
13 अप्रैल 2025रविवारमहा विशुबा संक्रांतिउड़ीसा
13 अप्रैल 2025रविवारवैशाखजम्मू कश्मीर और पंजाब

आइए अब हम आपको रूबरू करवाते हैं इस सप्ताह के शुभ मुहूर्तों से। 

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07 अप्रैल से 13 अप्रैल, 2025 के शुभ मुहूर्त 

अगर आप अप्रैल 2025 के पहले सप्ताह (07 अप्रैल से 13 अप्रैल, 2025) में कोई शुभ एवं मांगलिक काम करने के लिए शुभ मुहूर्त एवं तिथि ढूंढ रहे हैं, तो हम आपको यहाँ इस हफ्ते के सभी मुहूर्त जैसे कि विवाह, मुंडन और कर्णवेध संस्कार आदि की सूची प्रदान कर रहे हैं। चलिए नज़र डालते हैं इस सप्ताह के शुभ मुहूर्तों पर। 

इस सप्ताह के कर्णवेध मुहूर्त 

तिथि दिन
13 अप्रैल 202507:02-12:1914:40-19:13

नोट: अप्रैल के इस सप्ताह में विवाह और मुंडन संस्कार के लिए कोई शुभ मुहूर्त उपलब्ध नहीं हैं।   

इस सप्ताह जन्मे मशहूर सितारें

अब हम बात करेंगे इस सप्ताह में जन्म लेने वाली मशहूर हस्तियों की जिनका जन्मदिन इस हफ्ते में आएगा।   

07 अप्रैल 2025: संचिता शेट्टी, जितेंद्र, जैकी चैन

08 अप्रैल 2025: रोहन मेहरा, रॉबिन राइट, नित्या मेनन

09 अप्रैल 2025: तीरथ सिंह रावत, राणा रणबीर, स्वरा भास्कर

10 अप्रैल 2025: टेरेंस लुईस, चेतन चंद्र, अनंत अंबानी

11 अप्रैल 2025: शुभांगी अत्रे, ज्योतिराव फुले, इयान बेल

12 अप्रैल 2025: दिग्विजय देशमुख, ब्रेंडन यूरी, सुमित्रा महाजन 

13 अप्रैल 2025: सतीश कौशिक, मानविता, एरिक एवरी

एस्ट्रोसेज इन सभी सितारों को जन्मदिन की ढेरों शुभकामनाएं देता है। यदि आप अपने पसंदीदा सितारे की जन्म कुंडली देखना चाहते हैं तो आप यहां पर क्लिक कर सकते हैं। 

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साप्ताहिक राशिफल 07 अप्रैल से 13 अप्रैल, 2025

यह भविष्यफल चंद्र राशि पर आधारित है। अपनी चंद्र राशि जानने के लिए क्लिक करें:
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मीन प्रेम राशिफल

आपकी राशि के प्रेमी लोगों के लिए, यह समय काफी अच्छा रहेगा और….(विस्तार से पढ़ें)

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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

1. 2025 में कामदा एकादशी कब है?

इस साल कामदा एकादशी 08 अप्रैल 2025, मंगलवार को है। 

2. अप्रैल में हनुमान जयंती कब है?  

हनुमान जयंती का पर्व 12 अप्रैल 2025 को मनाया जाएगा। 

3. बुध मीन राशि में मार्गी कब हो रहे हैं?

बुध देव 07 अप्रैल 2025 को मीन राशि में मार्गी हो जाएंगे।    

टैरो साप्ताहिक राशिफल : 06 अप्रैल से 12 अप्रैल, 2025

टैरो साप्ताहिक राशिफल : 06 अप्रैल से 12 अप्रैल, 2025

टैरो साप्ताहिक राशिफल 06 अप्रैल से 12 अप्रैल, 2025: दुनियाभर के कई लोकप्रिय टैरो रीडर्स और ज्‍योतिषयों का मानना है कि टैरो व्‍यक्‍ति की जिंदगी में भविष्‍यवाणी करने का ही काम नहीं करता बल्कि यह मनुष्‍य का मार्गदर्शन भी करता है। कहते हैं कि टैरो कार्ड अपनी देखभाल करने और खुद के बारे में जानने का एक ज़रिया है।

टैरो इस बात पर ध्‍यान देता है कि आप कहां थे, अभी आप कहां हैं या किस स्थिति में हैं और आने वाले कल में आपके साथ क्‍या हो सकता है। यह आपको ऊर्जा से भरपूर माहौल में प्रवेश करने का मौका देता है और अपने भविष्‍य के लिए सही विकल्‍प चुनने में मदद करता है। जिस तरह एक भरोसेमंद काउंसलर आपको अपने अंदर झांकना सिखाता है, उसी तरह टैरो आपको अपनी आत्‍मा से बात करने का मौका देता है।

आपको लग रहा है कि जैसे जिंदगी के मार्ग पर आप भटक गए हैं और आपको दिशा या सहायता की ज़रूरत है। पहले आप टैरो का मज़ाक उड़ाते थे लेकिन अब आप इसकी सटीकता से प्रभावित हो गए हैं या फिर आप एक ज्‍योतिषी हैं जिसे मार्गदर्शन या दिशा की ज़रूरत है या फिर आप अपना समय बिताने के लिए कोई नया शौक ढूंढ रहे हैं। इन कारणों से या अन्‍य किसी वजह से टैरो में लोगों की दिलचस्‍पी काफी बढ़ गई है। टैरो डेक में 78 कार्ड्स की मदद से भविष्य के बारे में जाना जा सकता है। इन कार्ड्स की मदद से आपको अपने जीवन में मार्गदर्शन मिल सकता है।

टैरो की उत्पति 15वीं शताब्‍दी में इटली में हुई थी। शुरुआत में टैरो को सिर्फ मनोरंजन के रूप में देखा जाता था और इससे आध्‍यात्मिक मार्गदर्शन लेने का महत्‍व कम था। हालांकि, टैरो कार्ड का वास्तविक उपयोग 16वीं सदी में यूरोप के कुछ लोगों द्वारा किया गया जब उन्होंने जाना और समझा कि कैसे 78 कार्ड्स की मदद से भविष्य के बारे में जाना जा सकता है, उसी समय से इसका महत्व कई गुना बढ़ गया।

टैरो एक ऐसा ज़रिया है जिसकी मदद से मानसिक और आध्‍यात्मिक प्रगति को प्राप्‍त किया जा सकता है। आप कुछ स्‍तर पर अध्‍यात्‍म से, थोड़ा अपनी अंतरात्‍मा से और थोड़ा अपने अंर्तज्ञान और आत्‍म-सुधार लाने से एवं बाहरी दुनिया से जुड़ें।

तो आइए अब इस साप्ताहिक राशिफल की शुरुआत करते हैं और जानते हैं कि 06 अप्रैल से 12 अप्रैल, 2025 तक का समय सभी 12 राशियों के लिए कैसे परिणाम लेकर आएगा?

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टैरो साप्ताहिक राशिफल 06 अप्रैल से 12 अप्रैल, 2025: राशि अनुसार राशिफल

मेष राशि

प्रेम जीवन: टू ऑफ कप्‍स

आर्थिक जीवन: ऐस ऑफ पेंटाकल्‍स

करियर: द चैरियट

स्वास्थ्य: द हाई प्रीस्‍टेस

टैरो साप्‍ताहिक राशिफल के अनुसार मेष राशि के जातकों को टू ऑफ कप्‍स कार्ड मिला है जिसके अनुसार आपके रिश्‍ते में आकर्षण बढ़ेगा और आपका रिश्‍ता मज़बूत होगा। इस कार्ड का कहना है कि आपका और आपके पार्टनर का रिश्‍ता भावनात्‍मक स्‍तर पर मज़बूत होगा, आपके रिश्‍ते में सुख-शांति आएगी और आप एक नए रिश्‍ते की शुरुआत भी कर सकते हैं।

ऐस ऑफ पेंटाकल्‍स कार्ड धन के मामले में समृद्धि और नए अवसरों को दर्शाता है। आपको बिज़नेस, प्रमोशन या नया पद मिलने से वित्तीय सफलता प्राप्‍त हो सकती है। यह कार्ड आपको सोच-समझकर जोखिम उठाने और इन अवसरों का लाभ उठाने की सलाह दे रहा है।

करियर रीडिंग में द चैरियट कार्ड दृढ़ संकल्‍प, चुनौतियों को पार करने और लक्ष्‍यों तक पहुंचने की प्रबल इच्‍छा को दर्शाता है। यह कार्ड इस बात का भी संकेत देता है कि आपके अंदर अपने उद्देश्‍यों को प्राप्‍त करने के लिए आत्‍म-नियंत्रण और समर्पण मौजूद है।

हेल्‍थ रीडिंग में द हाई प्रीस्‍टेस कार्ड स्‍वास्‍थ्‍य में बदलाव को दर्शाता है। यह कार्ड इस बात की ओर संकेत कर रहा है कि आपकी स्थिति में बदलाव आने के आसार हैं। आप किसी बीमारी से उबर रहे हैं या अपनी जीवनशैली में आवश्‍यक बदलाव कर के स्‍वास्‍थ्‍य एक नए चरण में प्रवेश कर सकते हैं।

लकी चार्म: की या लाल रंग का कोई रत्‍न

वृषभ राशि

प्रेम जीवन: द वर्ल्‍ड

आर्थिक जीवन: ऐट ऑफ वैंड्स

करियर: ऐस ऑफ कप्‍स

स्वास्थ्य: ऐट ऑफ स्‍वॉर्ड्स

प्रेम जीवन में वृषभ राशि के जातकों को द वर्ल्‍ड कार्ड मिला है कि जो लव लाइफ में संतोषजनक परिणाम तक पहुंचने का प्रतीक हो सकता है। यह कार्ड खुशियों, उत्‍सवों और परिवार के साथ मेल-जोल के सुखद पलों का प्रतिनिधित्‍व करता है। आप अपने जीवनसाथी या परिवार के अन्‍य सदस्‍यों के साथ घूमने जाने की योजना बना सकते हैं।

वित्तीय जीवन में ऐट ऑफ वैंड्स कार्ड वित्तीय लक्ष्‍यों की ओर तेजी से आगे बढ़ने, लाभ प्राप्‍त करने और प्रगति पाने की ओर इशारा कर रहा है। इस कार्ड का एक अर्थ यह भी है कि आपके प्रयास रंग ला रहे हैं और आपकी आर्थिक स्थिति सही दिशा में जा रही है। आपके निवेश या व्‍यावसायिक प्रयासों में वृद्धि हो सकती है या आपको त्‍वरित लाभ मिलने की भी संभावना है।

ऐस ऑफ कप्‍स कार्ड नए अवसरों और अच्‍छे विचारों को दर्शाता है और करियर के मामले में इनका प्रयोग कई तरीकों से किया जा सकता है। नौकरी की तलाश कर रहे जातक अपने करियर में एक नई शुरुआत कर सकते हैं।

स्‍वास्‍थ्‍य के मामले में आपको ऐट ऑफ स्‍वॉर्ड्स रिवर्स कार्ड मिला है जो कि बीमारी से ठीक होने, मानसिक रूप से मज़बूत होने और चिंता से राहत पाने के संकेत दे रहा है। यह कार्ड आपको याद दिला सकता है कि आप ठीक होने और स्‍वस्‍थ जीवन जीने में सक्षम हैं।

लकी चार्म: अंक 7

बृहत् कुंडली में छिपा है, आपके जीवन का सारा राज, जानें ग्रहों की चाल का पूरा लेखा-जोखा

मिथुन राशि

प्रेम जीवन: टू ऑफ वैंड्स

आर्थिक जीवन: पेज ऑफ कप्‍स

करियर: नाइट ऑफ वैंड्स

स्वास्थ्य: द सन

प्रेम जीवन में मिथुन राशि को टू ऑफ वैंड्स कार्ड मिला है जो कि रिश्‍ते में बेचैनी या असंतुष्टि की ओर इशारा कर रहा है। इस कार्ड का यह भी कहना है कि आप निर्णय ले सकते हैं कि आपको प्रेम जीवन में नए अवसरों पर ध्‍यान देना है या अपने मौजूदा रिश्‍ते में ही बना रहना है।

पेज ऑफ कप्‍स कार्ड दिन में सपने देखने और अवास्‍तविक वित्तीय अपेक्षाएं रखने को दर्शा सकता है। आपको लॉटरी या किसी अन्‍य जोखिम भरे निवेश से अपनी इच्‍छाओं को पूरा करने के बजाय अपने भविष्‍य के लिए व्‍यावहारिक चीज़ों पर ध्‍यान केंद्रित करने और एक समय पर एक लक्ष्‍य को पूरा करने पर ध्‍यान देना चाहिए।

नाइट ऑफ वैंड्स कार्ड खातसैर पर करियर बदलने के बारे में सोच रहे जातकों के लिए शुभ समाचार या नौकरी के नए अवसर मिलने के संकेत दे रहा है। यह कार्ड नौकरी के लिए आवेदन करने या प्रमोशन पाने में सफलता के संकेत भी कर सकता है।

द सन कार्ड जीवनशक्‍ति, शांति और उत्तम स्‍वास्‍थ्‍य का प्रतीक है। इस कार्ड का कहना है कि आप अब जल्‍दी ठीक हो जाएंगे और पहले से ज्‍यादा बेहतर महसूस करेंगे। इसके अलावा इस दौरान आपका आध्‍यात्मिक और व्‍यक्‍तिगत विकास भी होगा।

लकी चार्म: वेंचुरीन

कर्क राशि

प्रेम जीवन: नाइट ऑफ स्‍वॉर्ड्स

आर्थिक जीवन: सिक्‍स ऑफ कप्‍स

करियर: द एम्‍पेरर

स्वास्थ्य: ऐट ऑफ कप्‍स

कर्क राशि के जातकों को प्‍यार के मामले में नाइट ऑफ स्‍वॉर्ड्स कार्ड मिला है। आपका पार्टनर साहसी, सरल और बुद्धिमान हो सकता है या फिर आपके अंदर ये गुण हो सकते हैं। यह कार्ड आत्‍मविश्‍वास से भरपूर और साहसी प्रेमी बनने या फिर आपके इस तरह के रिश्‍ते में आने के संकेत दे रहा है।

सिक्‍स ऑफ कप्‍स कार्ड दान या उपहार के लेन-देन का संकेत दे रहा है। इस कार्ड के अनुसार आपको पैतृक संपत्ति भी मिल सकती है। सिक्‍स ऑफ कप्‍स कार्ड तब भी दिखाई देता है, जब आप वसीयत के बारे में या इसे बनाने पर विचार कर रहे हों। अपने माता-पिता के घर जाकर रहने से आप अपने लिए अधिक पैसों की बचत कर पाएंगे। वहीं दूसरी ओर, आप अपने घर में परिवार के सदस्‍यों को वापस बुला सकते हैं और अपने संसाधनों को साझा कर सकते हैं।

आपको अपने करियर में अपनी कड़ी मेहनत, फोकस एवं व्‍यवस्थित दृष्टिकोण की वजह से सफलता प्राप्‍त होने की उम्‍मीद है। अगर वर्तमान समय में आपका कार्यक्षेत्र या आपके काम करने की प्रक्रिया थोड़ी अव्‍यवस्थित या परेशान करने वाली है, तो अब कमान अपने हाथ में लेना आपके लिए फायदेमंद हो सकता है और आप काम करने के लिए एक नया ढांचा बना सकते हैं। इससे आपको और आपके सहकर्मियों को अच्‍छे से काम करने में मदद मिलेगी। इस कार्ड के अनुसार आपको अपने कार्यक्षेत्र में वरिष्‍ठ सहकर्मी या सुपरवाइज़र से अपने करियर में मार्गदर्शन या सहायता मिलने के योग हैं।

सेहत के मामले में आपको ऐट ऑफ कप्‍स कार्ड मिला है जिसके अनुसार आप इस समय भावनात्‍मक रूप से तनाव में हो सकते हैं। आपको थेरेपी या मेडिटेशन से राहत मिलने की उम्‍मीद है। अगर आपको लगता है कि बात करने से आपको मदद मिलेगी या राहत महसूस होगी, तो आप अपने करीबी दोस्‍तों या परिवार के किसी सदस्‍य से बात कर सकते हैं।

लकी चार्म: मूनस्‍टोन

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सिंह राशि

प्रेम जीवन: सिक्‍स ऑफ वैंड्स

आर्थिक जीवन: नाइन ऑफ पेंटाकल्‍स

करियर: थ्री ऑफ वैंड्स

स्वास्थ्य: द हर्मिट

टैरो कार्ड रीडिंग में सिक्‍स ऑफ वैंड्स कार्ड संकेत दे रहा है कि आप अपने प्रेम जीवन में उपलब्धि हासिल करने वाले हैं। इस समय कोई आपके प्रति आकर्षित हो सकता है। यदि आप अपने लिए पार्टनर की तलाश कर रहे हैं, तो वह व्‍यक्‍ति इस समय आपसे पहले से ज्‍यादा खुलकर बात कर सकता है। आपको सिर्फ पहला कदम बढ़ाने की ज़रूरत है।

वित्त के मामले में नाइन ऑफ पेंटाकल्‍स कार्ड दर्शाता है कि आपको अपनी कड़ी मेहनत और सावधानीपूर्वक योजना बनाकर चलने की वजह से वित्तीय सुरक्षा, स्‍वतंत्रता और स्थिरता प्राप्‍त हो रही है। यह कार्ड संकेत दे रहा है कि आप एक ऐसी स्थिति में पहुंच चुके हैं, जहां आप बिना किसी चिंता के भौतिक सुख-सुविधाओं और विलासिता का आनंद ले सकते हैं। यह वित्तीय सफलता अर्जित करने को दर्शाता है।

करियर के क्षेत्र में थ्री ऑफ वैंड्स कार्ड विस्‍तार करने, नए अवसरों की खोज करने और पेशेवर जीवन में भविष्‍य के लिए योजना बनाने और विकास पर ध्‍यान केंद्रित करने का संकेत दे रहा है। इस कार्ड का कहना है कि आपको नए बाज़ार, अवसरों या प्रोजेक्‍ट की ओर आशावादी रहने एवं उनमें सफल होने के लिए अपनी योग्‍यता पर विश्‍वास करना चाहिए।

सेहत के मामले में द हर्मिट कार्ड आपको याद दिलाता है कि स्‍वास्‍थ्‍य को लेकर आपको अति करने से बचना चाहिए। जब हम काम से ब्रेक लेने को नज़रअंदाज़ करते हैं, तो इसका असर हमारी सेहत पर पड़ सकता है। चाहे आप दिन में कुछ मिनट के लिए ही ब्रेक लें, द हर्मिट कार्ड आपको अपने लिए समय निकालकर आराम करने और अपने शरीर एवं मन से जुड़ने की सलाह दे रहा है।

लकी चार्म: सनस्‍टोन

कन्या राशि

प्रेम जीवन: सेवन ऑफ वैंड्स

आर्थिक जीवन: द सन

करियर: टेम्‍पेरेंस

स्वास्थ्य: द हर्मिट

कन्‍या राशि को सेवन ऑफ वैंड्स कार्ड मिला है जिसके अनुसार आपको अपने रिश्‍ते के लिए लड़ना पड़ सकता है या ऐसी समस्‍याओं या चीज़ों का सामना करना पड़ सकता है जो आपके रिश्‍ते को खतरे में डाल सकती हैं। इससे आपको यह समझ आएगा कि आपको अपने रिश्‍ते में कुछ सीमा निर्धारित करने और अपने पार्टनर के प्रति प्रतिबद्ध रहने की ज़रूरत है। दूसरे शब्‍दों में कहें तो यह कार्ड संभावित खतरों से अपने रिश्‍ते को बचाने और उसकी रक्षा करने के संकेत दे रहा है।

वित्तीय जीवन में द सन कार्ड समृद्धि और आर्थिक संपन्‍नता को दर्शाता है। इस कार्ड का कहना है कि आपको अपनी वर्तमान की वित्तीय स्थिति को लेकर संतुष्‍ट और कृतज्ञ रहना चाहिए।

द टेम्‍पेरेंस कार्ड आपको अपने उद्देश्‍यों को निर्धारित करने और दृढ़ एवं धैर्यपूर्ण दृष्टिकोण अपनाने के लिए कह रहा है। आप अपने काम को लेकर प्रतिबद्ध रहते हैं और मुश्किल समय में भी शांत रहने का गुण रखते हैं। आपकी यही बात आपको दूसरों से अलग बनाती है। यह कार्ड इस बात की याद दिलाता है कि आपको करियर में सफलता पाने में समय लग सकता है।

द हर्मिट कार्ड स्‍वास्‍थ्‍य के मामले में आत्‍म-विश्‍लेषण और आत्‍म-निरीक्षण करने एवं खुद की देखभाल करने के महत्‍व को दर्शाता है। इस कार्ड का कहना है कि आपको अपने शरीर पर ध्‍यान देना चाहिए, ज़रूरत पड़ने पर आराम करना चाहिए और खुद को थकाने के बजाय अपने स्‍वास्‍थ्‍य की ज़रूरतों को बेहतर तरीके से समझने के लिए आंतरिक मार्गदर्शन की तलाश करनी चाहिए।

लकी चार्म: ईविल आई

तुला राशि

प्रेम जीवन: द लवर्स

आर्थिक जीवन: सिक्‍स ऑफ कप्‍स

करियर: ऐट ऑफ स्‍वॉर्ड्स (रिवर्स्‍ड)

स्वास्थ्य: थ्री ऑफ कप्‍स

तुला राशि के जातकों को लव लाइफ के मामले में द लवर्स कार्ड मिला है। टैरो कार्ड रीडिंग में द लवर्स कार्ड ऊर्जा, सामंजस्‍य और संतुलन का प्रतिनिधित्‍व करता है। यह कार्ड एक ऐसे कपल को दर्शाता है जो एक दूसरे को पूरा करते हैं। हालांकि, यह कार्ड रिश्‍ते में प्रतिबद्धता और पसंद को भी दर्शाता है। यह कार्ड आपको प्‍यार के प्रति अपने समर्पण पर विचार करने के लिए कह रहा है।

सिक्‍स ऑफ कप्‍स कार्ड दूसरों की सहायता करने और चीज़ों को साझा करने का प्रतिनिधित्‍व करता है। इस कार्ड का कहना है कि आपको अपने परिवार या पूर्व में किए गए निवेशों से आर्थिक सहायता मिल सकती है। जो आर्थिक सहायता या धन आपको मिलेगा, वह केवल भौतिक संपत्ति नहीं होगी बल्कि उससे गहरी भावनाएं या पुरानी यादें जुड़ी होंगी। इस समय आप वित्तीय रूप से स्थिर रहेंगे जिससे आप दूसरों की आर्थिक सहायता करने या दान करने में सक्षम होंगे।

ऐट ऑफ स्‍वॉर्ड्स कार्ड रिवर्स्‍ड का कहना है कि भले ही थोड़ा समय लगा हो लेकिन अब आप अपने करियर से संबंधित चिंता से बाहर निकल रहे हैं। अब आपकी सोच अधिक स्‍पष्‍ट हो गई है और अब आपको परिस्थितियां आसान लग सकती हैं। कभी-कभी यह कार्ड करियर के क्षेत्र में नए अवसरों या प्रमोशन के संकेत भी देता है जिससे आप अपनी प्रतिभा का पूरा उपयोग कर पाएंगे।

स्‍वास्‍थ्‍य के मामले में थ्री ऑफ कप्‍स कार्ड का कहना है कि आप पार्टी या छुट्टियां मनाने के लिए तैयार हैं जिससे आपको खाने-पीने या बार-बार जश्‍न मनाने का मौका मिलेगा। इस समय का आनंद लें लेकिन स्‍वास्‍थ्‍य को नकारात्‍मक प्रभाव से बचाने के लिए ज्‍यादा न खाएं और संतुलन बनाए रखें।

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वृश्चिक राशि

प्रेम जीवन: व्‍हील ऑफ फॉर्च्‍यून

आर्थिक जीवन: द हीरोफैंट

करियर: ऐट ऑफ पेंटाकल्‍स

स्वास्थ्य: टेन ऑफ पेंटाकल्‍स

क्‍या आप जिन्‍हें पसंद करते हैं, उनसे बात करने की सोच रहे हैं या फिर आप अपने पार्टनर के साथ अपने रिश्‍ते को संभालने के लिए तैयार हैं? क्‍या आपके रिश्‍ते में किसी तरह की कोई समस्‍या चल रही है? घबराइए नहीं क्‍योंकि अब सब कुछ ठीक हो जाएगा और आपका रिश्‍ता समय की कसौटी पर खरा उतरेगा।

द हीरोफैंट कार्ड का कहना है कि इस सप्‍ताह आपकी आर्थिक स्थिति अनुकूल रहेगी और आपके पास अपने बिल भरने एवं आरामदायक जीवन जीने के लिए पर्याप्‍त धन होगा। इस सप्‍ताह आप अपने धन को समझदारी से संभालने में सक्षम होंगे और स्थिति को आसान बनाने के लिए बजट बनाकर चलेंगे।

करियर रीडिंग में ऐट ऑफ पेंटाकल्‍स कार्ड बताता है कि आप काम में डूबे रह सकते हैं और इस सप्‍ताह आपका पूरा फोकस अपने काम पर ही रहने वाला है। हालांकि, आपको बहुत ज्‍यादा काम करने से बचने और जीवन के अन्‍य महत्‍वपूर्ण पहलुओं पर भी ध्‍यान देने की सलाह दी जाती है।

हेल्‍थ रीडिंग में टेन ऑफ पेंटाकल्‍स कार्ड एक शुभ संकेत है क्‍योंकि यह बताता है कि आप अपने परिवार और दोस्‍तों की सहायता से उत्तम स्‍वास्‍थ्‍य को प्राप्‍त कर पाएंगे। आप उत्तम स्‍वास्‍थ्‍य का आनंद लेंगे और आपको कोई बड़ी स्‍वास्‍थ्‍य समस्‍या परेशान नहीं करेगी।

लकी चार्म: ब्‍लैक ब्रेसलेट

धनु राशि

प्रेम जीवन: नाइट ऑफ पेंटाकल्‍स

आर्थिक जीवन: किंग ऑफ वैंड्स

करियर: किंग ऑफ पेंटाकल्‍स

स्वास्थ्य: सेवन ऑफ पेंटाकल्‍स

धनु राशि के जातकों के लिए नाइट ऑफ पेंटाकल्‍स कार्ड एक ऐसे रिश्‍ते को दर्शाता है जो मज़बूत और विश्‍वसनीय है लेकिन उसमें रोमांस और आकर्षण की कमी हो सकती है। अगर आप अपने प्रेम जीवन में प्रतिबद्धता, स्थिरता और सुरक्षा की तलाश कर रहे हैं, तो यह कार्ड आपके लिए शुभ संकेतक होगा। इस कार्ड का कहना है कि आप और आपका पार्टनर दोनों ही अपने दीर्घकालिक लक्ष्‍यों को प्राप्‍त करने के लिए एक साथ काम करेंगे।

किंग ऑफ वैंड्स कार्ड मैच्‍योर होने और विकास को दर्शाता है। इस कार्ड का कहना है कि वित्तीय रूप से मज़बूत होने के लिए आपने कठिन संघर्ष किया है और अब आप आर्थिक रूप से स्थिर एवं सुरक्षित होने के महत्‍व को बखूबी समझते हैं।

करियर रीडिंग में किंग ऑफ पेंटाकल्‍स कार्ड प्रमोशन और प्रगति के संकेत दे रहा है। यह कार्ड बताता है कि आप भले ही किसी कंपनी में काम करते हों या आपकी खुद की कंपनी हो, इस सप्‍ताह आप अपनी कंपनी में महत्‍वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। आपके बॉस और सहकर्मी आपकी प्रशंसा और सराहना करते हुए नज़र आएंगे।

हेल्‍थ रीडिंग में आपको सेवन ऑफ पेंटाकल्‍स कार्ड मिला है जिसका मतलब है कि आप बहुत प्रयास और संघर्ष करने के बाद अब बीमारी और स्‍वास्‍थ्‍य समस्‍याओं से उबर रहे हैं। अब आप ठीक होने की राह पर हैं।

लकी चार्म: एलम

मकर राशि

प्रेम जीवन: किंग ऑफ स्‍वॉर्ड्स

आर्थिक जीवन: द एम्‍पेरर

करियर: किंग ऑफ कप्‍स

स्वास्थ्य: जस्टिस

चूंकि, य‍ह कार्ड संचार से जुड़ा हुआ है इसलिए मकर राशि के जातकों के लिए किंग ऑफ स्‍वॉर्ड्स कार्ड का कहना है कि आपको अपने दिल की बात खुलकर व्‍यक्‍त करनी चाहिए। आप जिस चीज़ में विश्‍वास नहीं करते हैं, उसके लिए खड़े न हों। आपको अपने दिल और दिमाग की सुननी चाहिए और वह करें, जो आपको अपने लिए सही लगता है।

द एम्‍पेरर कार्ड का कहना है कि आपको धन को लेकर संयमित, अनुशासित और जिम्‍मेदार बनने की ज़रूरत है। आपको पता होना चाहिए कि आपका पैसा कहां जा रहा है, आप कैसे पैसे खर्च कर रहे हैं। आप अपने लिए बजट बनाकर चलें और उस पर टिके रहें और हर हफ्ते देखें कि आप बजट में रहते हुए काम कर रहे हैं या नहीं।

किंग ऑफ कप्‍स कार्ड दर्शाता है कि आप कार्यस्‍थल में अशांत या नकारात्‍मक माहौल में खुद को शांत रखने की कोशिश कर रहे हैं। आपको जल्‍द ही नौकरी के नए प्रस्‍ताव और बेहतर अवसर मिलने वाले हैं। आपको किसी अन्‍य विभाग में भी भेजा जा सकता है जिससे ये सभी समस्‍याएं जल्‍द ही समाप्‍त हो जाएंगी।

हेल्‍थ रीडिंग में जस्टिस कार्ड बताता है कि आपका स्‍वास्‍थ्‍य बेहतरीन रहेगा और आपको अच्‍छे स्‍वास्‍थ्‍य का आनंद लेने का अवसर प्राप्‍त होगा। हालांकि, आपको इस आनंद में बहक कर अपनी सेहत को नज़रअंदाज़ नहीं करना है।

लकी चार्म: रेड सेक्रेड थ्रेड

कुंभ राशि

प्रेम जीवन: द टॉवर

आर्थिक जीवन: फोर ऑफ पेंटाकल्‍स

करियर: थ्री ऑफ कप्‍स

स्वास्थ्य: थ्री ऑफ वैंड्स

कुंभ राशि के जातकों को द टॉवर कार्ड मिला है जो कि शुभ संकेत नहीं है। इस कार्ड का कहना है कि आपका रिश्‍ता अब टूटने की कगार पर है। छोटे-छोटे झगड़े, बड़े विवाद का रूप ले सकते हैं और आप यह सोचने पर मजबूर हो सकते हैं कि यह रिश्‍ता आपके लिए सही है या नहीं। यह आपके लिए आगे बढ़ने का समय है।

फोर ऑफ पेंटाकल्‍स कार्ड दर्शाता है कि इस सप्‍ताह आपको वित्त के मामले में कोई परेशानी नहीं होगी। आपने आर्थिक रूप से मज़बूत होने के लिए कड़ी मेहनत की है और अब आप अपनी मेहनत का फल भोग रहे हैं।

थ्री ऑफ कप्‍स कार्ड कहता है कि आपको अपने करियर में आनंद मिल रहा है। इसके साथ ही आपको दुनियाभर के लोगों से मिलने-जुलने का अवसर भी मिलेगा। आपकी जान-पहचान में कुछ ऐसे लोग हो सकते हैं जो करियर में आगे बढ़ने में आपकी मदद कर सकते हैं। आपकी नौकरी में भी बदलाव देखने को मिल सकता है।

थ्री ऑफ वैंड्स कार्ड कहता है कि आपको कोई बड़ी स्‍वास्‍थ्‍य समस्‍या परेशान नहीं करेगी। यदि आप लंबे समय से बीमार चल रहे थे, तो अब आप ठीक हो सकते हैं। इस समय ने आपको जीवन के प्रति एक नया दृष्टिकोण दिया है और आपके सोचने के तरीके को बदल दिया है।

लकी चार्म: एमेथिस्‍ट ब्रेसलेट

आपकी कुंडली में भी है राजयोग? जानिए अपनी  राजयोग रिपोर्ट

मीन राशि

प्रेम जीवन: थ्री ऑफ स्‍वॉर्ड्स (रिवर्स्‍ड)

आर्थिक जीवन: नाइट ऑफ वैंड्स

करियर: फोर ऑफ कप्‍स

स्वास्थ्य: नाइट ऑफ कप्‍स

थ्री ऑफ स्‍वॉर्ड्स (रिवर्स्‍ड) कार्ड का कहना है कि आप हाल ही में एक ऐसे रिश्‍ते से निकलकर आए हैं जो आपके लिए अपमानजनक था या आपके लिए सही नहीं था और आपका दिल टूट गया है। हालांकि, अब आप जिंदगी को एक नए नज़रिए से देखना शुरू कर रहे हैं।

मीन राशि के जातकों को नाइट ऑफ वैंड्स कार्ड मिला है जिसका कहना है कि आपको पैसों की बचत करने के साथ-साथ धन को संभालने पर ध्‍यान देने की ज़रूरत है। इस सप्‍ताह आपके पास पैसा तो आएगा लेकिन वह जल्‍दी खर्च भी हो जाएगा। आपको अपने खर्चों में कटौती करने की आवश्‍यकता है।

करियर र‍ीडिंग में फोर ऑफ कप्‍स कार्ड कहता है कि आपको अपनी नौकरी या करियर में प्रेरणा की कमी या असंतुष्‍ट महसूस हो सकता है। आप दूसरों की सफलता, जीवन और उपलब्धियों से ईर्ष्‍या करने के चक्‍कर में अपने कार्यक्षेत्र के अच्‍छे पहलुओं को नज़रअंदाज़ कर रहे हैं। 

नाइट ऑफ कप्‍स कार्ड कहता है कि अगर आप बेहतर होने या किसी स्‍वास्‍थ्‍य समस्‍या से ठीक होने की कोशिश कर रहे हैं, तो अब आपको अपने परिवार, दोस्‍तों और डॉक्‍टर से भावनात्‍मक एवं चिकित्‍सकीय सहयोग प्राप्‍त होगा।

लकी चार्म: गोल्‍ड रिंग

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इसी आशा के साथ कि, आपको यह लेख भी पसंद आया होगा एस्ट्रोसेज के साथ बने रहने के लिए हम आपका बहुत-बहुत धन्यवाद करते हैं।

अक्‍सर पूछे जाने वाले प्रश्‍न

प्रश्‍न 1. क्‍या टैरो अंक ज्‍योतिष पर आधारित होता है?

उत्तर. टैरो अंक ज्‍योतिष से मेल खाता है लेकिन इस पर पूरी तरह से निर्भर नहीं है।

प्रश्‍न 2. टैरो में सबसे ज्‍यादा रिसोर्सफुल कार्ड कौन-सा है?

उत्तर. द मैजिशियन कार्ड।

प्रश्‍न 3. टैरो डेक में परिवार के लिए कौन-सा कार्ड है?

उत्तर. टेन ऑफ कप्‍स।

चैत्र नवरात्रि 2025: महानवमी पर कन्या पूजन में जरूर करें इन नियमों एवं सावधानियों का पालन!!

चैत्र नवरात्रि 2025: महानवमी पर कन्या पूजन में जरूर करें इन नियमों एवं सावधानियों का पालन!!

चैत्र नवरात्रि 2025: हिंदू धर्म में नवरात्रि का पर्व साल में दो बार चैत्र और आश्विन माह में मनाया जाता है। इन दोनों नवरात्रि में दुर्गा अष्टमी व महानवमी को अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। इस बार चैत्र नवरात्रि 30 मार्च 2025 को शुरू हुए थे और अब जल्द ही नवमी के साथ नवरात्रि भी समाप्त हो जाएगी। सनातन धर्म में चैत्र नवरात्रि का विशेष महत्व है। पंचांग के अनुसार, प्रत्येक वर्ष चैत्र माह की शुक्ल प्रतिपदा तिथि से चैत्र नवरात्रि का आरंभ होता है और नवमी तिथि के साथ इसका समापन होता है। इन नौ दिनों में देवी के अलग-अलग स्वरूपों की पूजा की जाती है। देवी से भक्त शक्ति, धन-संपदा और खुशहाली का आशीर्वाद मांगते हैं। हालांकि, चैत्र नवरात्रि की नवमी तिथि पर राम नवमी का पर्व भी मनाया जाता है। 

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एस्ट्रोसेज एआई का यह विशेष ब्लॉग आपको चैत्र नवरात्रि 2025 महानवमी और रामनवमी पर्व से जुड़ी जानकारी प्रदान करेगा। साथ ही, इस दिन माँ के किस स्वरूप की पूजा की जाएगी? नवमी का महत्व, कन्या पूजन के दौरान बरती जाने वाली सावधानियां, कथा आदि के बारे में बताएंगे। सिर्फ इतना ही नहीं, राम नवमी के पर्व से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान करेंगे। तो आइए बिना देर किये आगे बढ़ते हैं और सबसे पहले नज़र डालते हैं महानवमी 2025 की तिथि और मुहूर्त पर। 

चैत्र नवरात्रि 2025 नौवां दिन: तिथि और मुहूर्त

हिंदू पंचांग में चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को महानवमी के रूप में मनाया जाता है। इस तिथि को राम नवमी भी कहा जाता है। चैत्र नवरात्रि की नवमी देवी दुर्गा के नौवें स्वरूप मां सिद्धिदात्री को समर्पित होती है और इस दिन इनकी पूजा का विधान है। वहीं, कन्याओं को देवी का स्वरूप माना जाता है इसलिए महानवमी पर कन्या पूजन का विशेष महत्व है। ऐसा कहा जाता है कि अष्टमी और नवमी तिथि पर कन्या पूजन करने से मां आदिशक्ति प्रसन्न होती है और भक्त को सुख-समृद्धि का आशीर्वाद देती है। चलिए बिना देर किए अब जानते हैं महानवमी की तिथि और पूजा मुहूर्त।

चैत्र नवरात्रि 2025 का नौवां दिन: 06 अप्रैल 2025, रविवार

नवमी तिथि का आरंभ: 05 अप्रैल की शाम 07 बजकर 29 मिनट से

नवमी तिथि समाप्त: 06 अप्रैल 2025 की शाम 07 बजकर 26 मिनट तक 

 जैसे कि हम आपको बता चुके हैं कि इस दिन राम नवमी का पर्व भी मनाया जाएगा। ऐसे में, हम आपको राम नवमी 2025 का मुहूर्त प्रदान कर रहे हैं। 

रामनवमी 2025 का पूजा मुहूर्त और शुभ योग  

हम आपको बता चुके हैं कि चैत्र नवरात्रि पर आदिशक्ति के नौवें स्वरूप माँ सिद्धिदात्री की पूजा की जाती है और उनकी कृपा पाने के लिए भक्त व्रत भी करते हैं। दूसरी तरफ, धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, भगवान विष्णु के सातवें अवतार मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम का जन्म चैत्र माह की शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि पर हुआ था जो कि चैत्र नवरात्रि का अंतिम दिन होता है। ऐसे में, इस दिन महानवमी और राम नवमी को धूमधाम से मनाया जाता है। साल 2025 की नवमी तिथि पर माँ दुर्गा और राम जी की पूजा सुकर्मा योग में की जाएगी जो कि बेहद शुभ माना जाता है। अब हम जान लेते हैं भगवान राम के भक्तों के लिए अपने आराध्य की पूजा किस समय में करना श्रेष्ठ रहेगा। 

राम नवमी की तिथि: 06 अप्रैल 2025, रविवार

राम नवमी मध्याह्न पूजा मुहूर्त: सुबह 11 बजकर 08 मिनट से दोपहर 01 बजकर 39 मिनट तक। 

राम नवमी मध्याह्न का क्षण: दोपहर 12 बजकर 23 पर 

राम नवमी 2025 की तिथि एवं पूजा मुहूर्त से आपको अवगत करवाने के बाद आइए आगे बढ़ते हैं और बात करते हैं माँ दुर्गा की नौवीं शक्ति देवी सिद्धिदात्री के स्वरूप की।  

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माँ सिद्धिदात्री का स्वरूप 

बात करें मां सिद्धिदात्री के स्वरूप की, तो माता सिद्धिदात्री कमल पर विराजमान हैं और इनकी सवारी शेर है। देवी की चार भुजाएं हैं और इन्होंने दाहिने एक हाथ में गदा और दूसरे हाथ में चक्र धारण किया हुआ है जबकि बाएं तरफ के दोनों हाथों में माता ने शंख और कमल का फूल लिया हुआ है। माँ सिद्धिदात्री का स्वरूप अत्यंत कोमल है और अपने भक्तों को विशेष सिद्धियां प्रदान करने वाला है। 

अगर हम इनके नाम के अर्थ की बात करें, तो देवी सिद्धिदात्री के नाम का अर्थ सिद्धि देने वाली देवी से है। माँ दुर्गा का नवम स्वरूप अपने भक्तों को सभी तरह की बुराइयों और अंधकार से मुक्ति दिलाता है और उनमें ज्ञान का संचार करती है। साथ ही, भक्त के जीवन को सुख-शांति से पूर्ण बनाने के साथ-साथ आपके सभी मनोरथ पूर्ण करती हैं।

क्यों की जाती है माँ सिद्धिदात्री की पूजा?  

चैत्र नवरात्रि 2025 के अंतिम दिन अर्थात नवमी तिथि पर मां सिद्धिदात्री की पूजा विधि-विधान से की जाती है। यह नवदुर्गा का नौवां और अंतिम स्वरूप हैं और इनकी उपासना से जातक के जीवन से सभी संकटों का नाश होता है। मां सिद्धिदात्री की पूजा से यक्ष, गंधर्व, किन्नर, नाग, देवी-देवता और मनुष्य को विशेष सिद्धियां प्राप्त होती हैं। ऐसा माना जाता है कि जो जातक नवरात्रि के नौ दिनों का व्रत नहीं कर पाते हैं, वह नवमी तिथि का व्रत और देवी सिद्धिदात्री की आराधना करके नवरात्रि के 9 दिनों की पूजा के समान फल प्राप्त कर सकते हैं।

मां सिद्धिदात्री का ज्योतिषीय महत्व 

एक तरफ, मां सिद्धिदात्री को हिंदू धर्म में माता जगदंबा का शक्तिशाली स्वरूप माना जाता है इसलिए इनका विशेष धार्मिक महत्व है। लेकिन, देवी का धार्मिक के साथ-साथ अपना ज्योतिषीय महत्व भी है। बता दें कि ज्योतिष शास्त्र में देवी सिद्धिदात्री का संबंध केतु ग्रह से माना गया है और इस ग्रह को माँ द्वारा नियंत्रित किया जाता है। इस प्रकार, जिन जातकों की कुंडली में केतु ग्रह की स्थिति अशुभ होती है या जो केतु के नकारात्मक परिणामों से जूझ रहे हैं, उनके लिए नवमी तिथि पर माता सिद्धिदात्री की पूजा शुभ रहती है।

माँ सिद्धिदात्री की पूजा विधि

  • महानवमी तिथि पर आप प्रातःकाल उठकर स्नानादि से निवृत होकर देवी की पूजा एवं कन्या पूजन का संकल्प करें।
  • इसके पश्चात, मां सिद्धिदात्री के सामने घी का दीपक जलाएं और उन्हें नौ कमल के फूल  भी चढ़ाएं। 
  • संभव हो, तो आप देवी को 9 प्रकार के पकवान, मिठाई या फल भी अर्पित करे।
  • अब आप माँ सिद्धिदात्री के मंत्र “ॐ ह्रीं दुर्गाय नमः” का जाप करें और फिर माता के सामने लाल कपड़े में लपेट कर कमल का फूल रखें। 
  • इसके पश्चात, माँ सिद्धिदात्री को अर्पित खाद्य पदार्थों को गरीबों को बांटने के बाद स्वयं भी उसका सेवन करें। 

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देवी सिद्धिदात्री की पूजा में करें इन मंत्रों का जाप

ॐ देवी सिद्धिदात्र्यै नमः॥

प्रार्थना मंत्र

सिद्ध गन्धर्व यक्षाद्यैरसुरैरमरैरपि।

सेव्यमाना सदा भूयात् सिद्धिदा सिद्धिदायिनी॥

स्तुति

या देवी सर्वभू‍तेषु माँ सिद्धिदात्री रूपेण संस्थिता।

नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥

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महानवमी पर कन्या पूजन की विधि

अगर आप महानवमी पर कन्या पूजन करेंगे, तो देवी की कृपा पाने के लिए इस विधि से कन्या पूजन करें। 

  • नवमी तिथि पर मां सिद्धिदात्री के पूजन के बाद कन्या पूजन प्रारंभ करें।  
  • कन्या पूजन के लिए सर्वप्रथम कन्याओं को अपने घर पर पूजन और भोजन के लिए आमंत्रित करें।  
  • घर पर कन्याओं का स्वागत पूरे मान-सम्मान के साथ करें और मां दुर्गा के नौ नामों के जयकारे लगाएं।
  • इसके बाद. कन्याओं को आसन पर बैठाएं। इन नौ कन्याओं के साथ एक बटुक यानी कि एक बालक को भी अवश्य बैठाएं।
  • बता दें कि कन्याओं के साथ बैठे हुए बटुक को भगवान भैरव का स्वरूप माना जाता है।  
  • इन सभी के पैरों को थाली में रखकर अपने हाथों से धोएं। 
  • अब कन्याओं के मस्तक पर अक्षत, फूल और कुमकुम लगाएं और माँ का ध्यान करके कन्याओं को भोजन कराएं। 
  • प्रसाद के रूप में हलवा, पूरी और चने को सबसे उत्तम माना जाता है और भोजन के बाद कन्याओं को अपनी क्षमता के अनुसार उपहार और दक्षिणा दें। इसके बाद, कन्याओं के पैर छूकर उनका आशीष लें और उन्हें विदा करें। 

कन्या पूजन के दौरान करें इन नियमों का पालन

  • कन्या पूजन के लिए कन्याओं को पहले से आमंत्रित करें और उन्हें पूरे मान-सम्मान के साथ घर में बुलाकर भोजन कराएं।
  • कन्याओं का मुख पूर्व दिशा की तरफ करके उनका तिलक करें और उन्हें लाल चुनरी अवश्य अर्पित करें।
  • किसी भी कन्या को जबरदस्ती भोजन न खिलाएं। 
  • कन्याओं को भोजन करवाने के बाद अपने सामर्थ्य के अनुसार उन्हें दक्षिणा देकर विदा करें और इसके पश्चात, आप व्रत का पारण करें।
  • इन कन्याओं को देवी दुर्गा का स्वरूप माना जाता है इसलिए इनका भूल से भी अनादर न करें और न ही इन्हें डांटे और न ही अपशब्द कहें।
  • कन्या पूजन के दौरान कन्याओं को परोसने वाला भोजन सात्विक होना चाहिए। इसमें लहसुन, प्याज का इस्तेमाल न करें। 

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चैत्र नवरात्रि 2025 पारण मुहूर्त

अगर आप भी चैत्र नवरात्रि की नवमी तिथि का पारण मुहूर्त जानना चाहते हैं, तो यहाँ हम आपको  चैत्र नवरात्रि 2025 के पारण का समय बताने जा रहे हैं जो कि इस प्रकार है:

चैत्र नवरात्रि पारण की तिथि: 07 अप्रैल 2025, सोमवार

पारण का समय: सुबह 06 बजकर 05 मिनट के बाद

चैत्र नवरात्रि 2025 महानवमी पर करें ये उपाय   

चैत्र नवरात्रि की नवमी तिथि पर कुछ विशेष उपायों को करने से आप देवी दुर्गा को प्रसन्न कर सकते हैं। तो आइए जानते हैं महानवमी के विशेष उपायों के बारे में।

  • जो लोग आर्थिक समस्याओं का सामना कर रहे हैं, उन्हें नवमी तिथि पर दुर्गा रक्षा स्त्रोत का पाठ करना चाहिए। ऐसा करने से देवी प्रसन्न होती हैं।
  • महानवमी के दिन पीले रंग का आसन बिछाएं और उत्तर दिशा की तरफ मुख करके बैठें। इसके बाद, देवी दुर्गा के सामने 9 दीप प्रज्वलित करें और लाल रंग के चावल की ढेरी बनाकर उस पर श्रीयंत्र की स्थापना करें। इसके पश्चात, लक्ष्मी मंत्र का जाप करते हुए पूजा-पाठ करें। अब इस श्रीयंत्र को अपने पूजा स्थान पर रखें। ऐसा करने से आपको धन लाभ की प्राप्ति होती है।
  • महानवमी पर आप देवी को गुड़ का प्रसाद के रूप में भोग लगाएं। साथ ही, आप देवी को हलवा, काले चने और पूरी का भोग भी लगा सकते हैं। 

चैत्र नवरात्रि के बारे में हम आगे भी बात करेंगे, लेकिन उससे पहले जान लेते हैं राम नवमी का महत्व और इस दिन किए जाने वाले उपाय।

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राम नवमी 2025 का धार्मिक महत्व  

हिंदू धर्म में चैत्र नवरात्रि की महानवमी और राम नवमी दोनों पर्वों को बेहद उत्साह और धूमधाम के साथ मनाया जाता है। मान्यताओं के अनुसार, चैत्र शुक्ल नवमी को भगवान राम का जन्म हुआ था और उस समय से ही माँ सिद्धिदात्री के साथ भगवान श्रीराम की भी पूजा-अर्चना की जाती है। आज भी इन दोनों बड़े पर्वों को एक साथ एक दिन मनाया जाता है। रामनवमी पर भक्तजन श्रीराम की उपासना करते हैं। इस मौके पर राम मंदिरों में पूजा-अर्चना और यज्ञ-हवन आदि धार्मिक अनुष्ठान संपन्न किए जाते हैं। साथ ही, देशभर में अनेक स्थानों पर लोग भंडारे का आयोजन करते हैं। यह तिथि चैत्र नवरात्रि की भी अंतिम तिथि होती है। 

बात करें धार्मिक महत्व की, तो धर्म ग्रंथों के अनुसार, त्रेतायुग में भगवान विष्णु ने रावण के अत्याचारों से संसार को मुक्ति दिलाने के लिए भगवान श्रीराम का अवतार लिया था। मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम का जन्म राजा दशरथ और माता कौशल्या के घर हुआ था। बता दें कि राम जी का जन्म मध्याह्न काल में हुआ था और मध्याह्न की अवधि सामान्य रूप से दो घंटे 24 मिनट की होती है। राम नवमी के अवसर पर भगवान राम के भक्त पवित्र नदियों में स्नान करते हैं और भगवान श्रीराम की आराधना सच्चे मन से करते हैं।

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रामनवमी के दिन इन उपायों से पाएं श्रीराम का आशीर्वाद  

  • सौभाग्य, समृद्धि और मनोकामनाओं की पूर्ति के लिए रामनवमी पर आप अपने मस्तक पर चंदन का तिलक करें।
  • रामनवमी पर नवदुर्गा और श्रीराम की पूजा के बाद सुंदरकांड का पाठ अवश्य करें। 
  • भगवान राम को लाल रंग के कपड़े में 1 गोमती चक्र, 11 लौंग और 11 बताशे बांधकर अर्पित करें। घर के मंदिर में एक कटोरी जल रखकर रक्षा मंत्र का 108 बार जाप करें। इस उपाय को करने से धन-समृद्धि में वृद्धि होगी।
  • रामनवमी के दिन मां दुर्गा को रोली, चंदन और हल्दी का तिलक करें। इसके बाद, माता से घर की सुख-शांति और समृद्धि के लिए प्रार्थना करें।

माँ सिद्धिदात्री से जुड़ी पौराणिक कथा 

धर्म शास्त्रों में माँ सिद्धिदात्री की कथा का वर्णन मिलता है और इस कथा के अनुसार, माता सिद्धिदात्री की कठोर तपस्या करने के बाद भगवान शिव ने आठ सिद्धियां प्राप्त की थी। मां सिद्धिदात्री की कृपा से महादेव का आधा शरीर देवी का हो गया था और उस समय से ही भगवान शिव अर्धनारीश्वर कहलाए गए। देवी दुर्गा का यह नौवां स्वरूप बाकी आठ स्वरूपों की तुलना में सर्वाधिक शक्तिशाली माना गया है।

मान्यता है कि आदिशक्ति के इस स्वरूप का अवतरण देवी-देवताओं के तेज से हुआ है। एक बार जब महिषासुर के आतंक से देवी-देवता से लेकर मनुष्य तक परेशान हो गए थे, उस समय सभी देवता भगवान शिव और विष्णु जी की शरण में गए और वहाँ उपस्थित देवताओं में से एक तेज निकला और इस दिव्य तेज से एक दिव्य शक्ति उत्पन्न हुई और इसको ही संसार में सिद्धिदात्री के नाम से जाना गया। देवी ने नवमी तिथि पर दैत्य महिषासुर का वध करके तीनों लोकों को उसके भय से मुक्ति प्रदान की थी।

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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

1. 2025 में चैत्र नवरात्रि महानवमी कब है?

इस साल महानवमी का पर्व 06 अप्रैल 2025 को मनाया जाएगा।

2. महानवमी पर देवी के किस स्वरूप की पूजा की जाती है?

चैत्र नवरात्रि की नवमी पर माँ सिद्धिदात्री का पूजन किया जाता है।  

3. 2025 में कब है राम नवमी? 

वर्ष 2025 में राम नवमी 06 अप्रैल 2025 को है।