एस्ट्रोसेज की हमेशा से यही पहल रही है कि किसी भी महत्वपूर्ण ज्योतिषीय घटना की नवीनतम अपडेट हम अपने रीडर्स को समय से पहले दे पाएं और इसी कड़ी में हम आपके लिए लेकर आए हैं जल्द ही अस्त होने वाले बुध से संबंधित यह खास ब्लॉग। यह विशेष ब्लॉग आपको “वृश्चिक राशि में बुध के अस्त” होने से जुड़ी सारी जानकारी प्रदान करेगा जैसे कि तिथि, समय और प्रभाव आदि।
साथ ही, यह भी बताएंगे कि बुध ग्रह के अस्त होने पर किन राशियों के जातकों को नकारात्मक प्रभाव मिलने के संकेत हैं। बता दें कि बुध 30 नवंबर 2024 को वृश्चिक राशि में अस्त होने जा रहे हैं। तो आइए आगे बढ़ते हैं और जानते हैं कि किस राशि के जातकों को इस दौरान अशुभ परिणाम मिलने के संकेत हैं।
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बुध सौरमंडल का सबसे छोटा ग्रह है और इसका व्यास लगभग 4,880 किलोमीटर है। इस ग्रह की संचरना चट्टानी है और बुध की कक्षा अंडाकार है एवं इसे सूर्य का एक चक्कर पूरा करने में 88 दिन लगते हैं। बुध अपनी धुरी पर धीरे-धीरे घूमता है और इसे एक चक्कर पूरा करने में 59 दिन लगते हैं।
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वैदिक ज्योतिष में बुध का संबंध व्यक्ति के संचार कौशल, ज्ञान और बौद्धिक प्रक्रियाओं से है। इस ब्लॉग में बुध के ज्योतिषीय महत्व से जुड़े कुछ महत्वपूर्ण पहलुओं के बारे में बताया गया है। चूंकि, बुध संचार का कारक हैं इसलिए इस ग्रह की स्थिति पर निर्भर करता है कि हम अपने विचारों को किस तरह से व्यक्त करते हैं या अपनी बात कैसे रखते हैं, कैसे सोचते हैं और दूसरों से किस तरह से बात करते हैं। इस ग्रह का प्रभाव हमारी लेखन शैली, बोलने और बात करने के तरीके पर पड़ता है।
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बुध वृश्चिक राशि में अस्त: समय
बुध ग्रह अपने शत्रु मंगल की राशि वृश्चिक में 30 नवंबर, 2024 को शाम 08 बजकर 19 मिनट पर अस्त होंगे। बुध के अस्त होने से राशियों और देश-दुनिया पर क्या असर पड़ेगा, यह जानने से पहले आप बुध के वृश्चिक राशि में होने से जुड़ी कुछ विशेष बातों के बारे में जान लें।
बुध वृश्चिक राशि में अस्त
अस्त होने पर बुध ग्रह अंधकारमय हो जाता है और गलत संचार के कारण यह व्यक्ति को संकोची और गुप्त शत्रु बना देता है। यदि बुध के वृश्चिक राशि में होने पर शुभ ग्रहों की इस पर दृष्टि पड़ रही हो, तो व्यक्ति की अध्यात्म की ओर रुचि होती है और वह विशेष रूप से तंत्र-मंत्र में लिप्त रहता है। अगर इस पर शुभ और अशुभ दोनों तरह के ग्रहों की दृष्टि पड़ रही हो, तो इस स्थिति में जातक जादू टोने या काले जादू के प्रति आकर्षित हो सकता है। वहीं अगर सिर्फ अशुभ प्रभाव पड़ रहा हो, तो व्यक्ति चोर या हत्या करने वाला भी बन सकता है।
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बुध वृश्चिक राशि में अस्त : इन राशियों पर पड़ेगा नकारात्मक प्रभाव
मेष राशि
मेष राशि के जातकों के तीसरे और छठे भाव के स्वामी बुध ग्रह हैं। बुध वृश्चिक राशि में अस्त होने पर आपके नौवें भाव में रहेंगे। इसकी वजह से आपको त्वचा से संबंधित परेशानियां, कोई बीमारी, मूत्र मार्ग में संक्रमण और मच्छर के काटने जैसी स्वास्थ्य समस्याएं होने की आशंका है।
छात्रों के लिए यह समयावधि थोड़ी मुश्किल रहने वाली है। इन्हें बातचीत करने और अपने विचारों को व्यक्त करने में दिक्कत आ सकती है। इसके अलावा पढ़ाई के दबाव के कारण इनकी सेहत में भी गिरावट आने के संकेत हैं। चूंकि, छठे भाव के स्वामी की दूसरे भाव पर दृष्टि पड़ रही है इसलिए आपको बहुत सोच-समझकर बोलना चाहिए। इसके साथ ही आपको अपने खानपान को लेकर भी सतर्क रहने की ज़रूरत है। छोटे भाई-बहनों के साथ मतभेद या बहस से बचें और अपने पैसे को अच्छी तरह से संभालकर रखें।
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वृषभ राशि
वृषभ राशि के जातकों के लिए बुध ग्रह उनके दूसरे और पांचवे भाव के स्वामी हैं और अब बुध आपके सातवें भाव में अस्त होने जा रहे हैं। अहंकार और मतभेद की वजह से आपके जीवनसाथी या बिज़नेस पार्टनर के साथ संचार से संबंधित कोई समस्या उत्पन्न होने की आशंका है। आपको अपने पार्टनर के साथ आपसी समझ को बेहतर करने के लिए अपने अहंकार को छोड़ देने की सलाह दी जाती है।
आपकी मां के आपके वैवाहिक जीवन में दखल देने की वजह से आपके रिश्ते को नुकसान पहुंच सकता है। इस समय आपका सारा ध्यान घर के कामों पर रहेगा और इस चक्कर में आप अपने पार्टनर और बच्चों की भावनात्मक ज़रूरतों को नज़रअंदाज़ कर सकते हैं। इसके कारण आपके परिवार में समस्याएं हो सकती हैं। अपने परिवार के साथ कुछ अच्छा समय बिताकर और बातचीत करके आप इन समस्याओं को सुलझा सकते हैं। आपको कड़वी बातें करने या अपमानजनक भाषा का प्रयोग न करने की सलाह दी जाती है।
कर्क राशि
कर्क राशि के जातकों के लिए बुध उनके तीसरे और बारहवें भाव के स्वामी हैं। अब बुध आपके पांचवे भाव में अस्त होने जा रहे हैं जिससे आपकी जिंदगी में कई घटनाओं के घटित होने की संभावना है। बारहवें भाव के स्वामी और अस्त होने के कारण इस समय आपकी आर्थिक स्थिति नियंत्रण में रहेगी। आपके पैसों की बचत करने या परिवार के खर्चों पर नियंत्रण रखने की वजह से ऐसा हो सकता है।
इस दौरान आप अपने बच्चों से पूरे जोश के साथ बात करें और उनकी सहायता करें। आपको कई बार अपनी संतान के साथ चुनौतीपूर्ण स्थितियों का सामना करना पड़ सकता है लेकिन बता दें कि बातचीत के ज़रिए आप किसी भी परेशानी को हल कर सकते हैं। वहीं कर्क राशि के जातकों को अपने प्रेम जीवन में भी कुछ परेशानियां देखनी पड़ सकती हैं। इनके और इनके जीवनसाथी के बीच कुछ समस्याएं होने के संकेत हैं।
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कन्या राशि
कन्या राशि के दसवें और लग्न भाव पर बुध ग्रह का आधिपत्य है। वृश्चिक राशि में अस्त होने पर बुध आपके तीसरे भाव में रहेंगे। इस समय आपको स्वास्थ्य समस्याओं से जूझना पड़ सकता है और इनका असर आपके पेशेवर जीवन पर भी देखने को मिलेगा।
ज्यादा तनाव लेने की वजह से आपके स्वास्थ्य में गिरावट आ सकती है और इसके कारण आपके लिए अपने निजी एवं पेशेवर कर्त्तव्यों को संभालना चुनौतीपूर्ण हो सकता है। इस समय आपको यह समझना होगा कि आपको सिर्फ अपने अहंकार को संतुष्ट करने के लिए उन लक्ष्यों को प्राप्त करने पर अपनी ऊर्जा बर्बाद नहीं करनी है जो आपकी पहुंच से बाहर हैं। आप खुद को गहराई से जानने की कोशिश करेंगे।
वृश्चिक राशि
वृश्चिक राशि के जातकों के लिए बुध उनके आठवें और ग्यारहवें भाव के स्वामी हैं और अब वृश्चिक राशि में अस्त होने पर बुध आपके पहले भाव में रहेंगे। वृश्चिक राशि के लोगों के लिए अष्टम भाव के स्वामी का अस्त होना सकारात्मक साबित होगा। बुध के आपके लग्न भाव में होने की वजह से आप जिन परेशानियों और अनिश्चितताओं का सामना कर रहे हैं, वो सभी समाप्त हो जाएंगी।
आपने अपने पेशेवर जीवन में जो कड़ी मेहनत की है, उसके लिए आपको आर्थिक लाभ न मिल पाने के संकेत हैं। आपको इस समय किसी भी तरह का निवेश करने से बचना चाहिए। इसके अलावा आप इस समय अपनी सेहत और फिटनेस को महत्व दें, अपनी एनर्जी को बढ़ाने और अपने नर्वस सिस्टम को आराम देने पर काम करें। इससे आपको लंबे समय तक स्वस्थ रहने में मदद मिलेगी।
बुध के वृश्चिक राशि में अस्त होने पर करें ये उपाय
बुध के वृश्चिक राशि में अस्त होने पर मिलने वाले दुष्प्रभावों को दूर करने के लिए आप कुछ ज्योतिषीय उपायों की मदद ले सकते हैं:
- बुध ग्रह को प्रसन्न करने के लिए बुधवार के दिन हरे रंगे के कपड़े पहनें।
- बुध के अशुभ प्रभावों को कम करने के लिए आप बुधवार के दिन व्रत भी रख सकते हैं।
- बुध को मज़बूत करने के लिए अपने दाएं हाथ की कनिष्ठिका उंगली में पन्ना रत्न धारण करें।
- बुध के मंत्रों का जाप करें।
- भगवान विष्णु की उपासना करें।
- ज़रूरतमंद और गरीब लोगों को दान करें।
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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
उत्तर. बुध ग्रह स्वराशि में उच्च का होता है।
उत्तर. शनि, शुक्र और सूर्य।
उत्तर. बृहस्पति को केंद्राधिपति दोष लगता है।