राहु-केतु के राशि परिवर्तन होने पर जातकों को मिलने वाला शुभ-अशुभ फल एवं उपाय

राहु और केतु ग्रहों को ज्योतिष में मायावी ग्रहों का दर्जा प्राप्त है। इन दोनों ही ग्रहों का नाम सुनते ही लोग घबराने लगते हैं, लेकिन क्या असल में हमें राहु-केतु से भयभीत होने की अवश्यकता है? क्या असल में ये दोनों ग्रह हमें दुष्परिणाम ही देते हैं? इन सभी सवालों का जवाब आचार्य कमल शर्मा के इस ब्लॉग के माध्यम से जानिए और साथ ही जानिए राहु-केतु के राशि परिवर्तन का सभी बारह राशियों पर प्रभाव और उपाय की सम्पूर्ण जानकारी। 

कुंडली में राहु-केतु   

जन्म कुंडली में यदि राहु केतु ग्रह योग कारक ग्रहों के साथ अथवा योगकारक स्थानों में स्थित हो तो योग कारक ग्रहों से 4 गुना अधिक शुभ फल अपने महादशा एवं अंतर्दशा में प्रदान करते हैं। 

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राहु और केतु ग्रह को ज्योतिष शास्त्रों के अनुसार छाया ग्रह माना जाता है परंतु ये ग्रह मानव जीवन में विविध प्रकार के फलों को प्रदान करने में सक्षम होते हैं।

  • शास्त्रों के अनुसार राहु एवं केतु ग्रह को गोचर में इतना शुभ फल प्रदान करने वाला नहीं माना गया है किंतु यदि यह ग्रह जन्म कुंडली के अंदर योगकारक या शुभ स्थानों में और शुभ ग्रहों के साथ हो तो अति शुभ फल प्रदायक हो जाते हैं।
  • राहु केतु ग्रह को जन्म कुंडली में अथवा गोचर में अकेले 3,6,11 वें स्थान में स्थित होने पर अति शुभ फल प्रदायक माना गया है।
  • राहु-केतु 1,5,7,9,10 इन स्थानों में मध्यम फल देने वाले यानी मिश्रित फल देने वाले माने गए हैं।
  • इसके अलावा 2,8,12 वें भाव में स्थित राहु केतु ग्रह खराब फल प्रदान करने वाले माने गए हैं। 

लाहिरी पंचांग के अनुसार 12 अप्रैल, 2022 को सुबह 10 बजकर 36 मिनट पर वृष राशि से राहु ग्रह मेष राशि में व केतु ग्रह वृश्चिक राशि से तुला राशि में अपना स्थान परिवर्तन कर चुके हैं। ग्रहों के गोचर का प्रभाव लंबे समय तक रहता है। ऐसे में आइये जानते हैं राहु-केतु के इस राशि परिवर्तन का सभी बारह राशियों पर क्या कुछ प्रभाव पड़ेगा और साथ ही जानते हैं इससे बचने के उपायों की भी संपूर्ण जानकारी।

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राहु-केतु राशि परिवर्तन: प्रभाव और उपाय 

मेष राशि 

मेष राशि के जातकों के लिए शारीरिक कष्ट, मानसिक चिंता, वैवाहिक जीवन में सामान्य उतार-चढ़ाव व चिंता, पति पत्नी के बीच वैचारिक मतभेद की स्थिति बनी रहेगी। इसके अलावा कुछ जातकों के लिए शुभ फल जैसे मान सम्मान में वृद्धि एवं पद प्रतिष्ठा में इजाफ़ा, विवाह के योग बनेंगे एवं रोजगार के अवसर प्राप्त होंगे।

उपाय: काले रंग की टोपी बनवा कर जरूरतमंद व्यक्तियों को दान करें। 

वृषभ राशि 

वृष राशि के जातकों के लिए राहु केतु के द्वारा गोचर करने पर अनावश्यक खर्च, यात्रा में नुकसान, पैरों में जलन या दर्द, सामान्य फोड़ा फुंसी आदि होने की आशंका है। इसके अलावा कुछ जातकों को शुभ फल जैसे बाहरी क्षेत्रों से संबंध यात्रा, सुखद एवं धन धान्य का सुख आदि प्राप्त होंगे। 

उपाय: काले या भूरे रंग के जूते चप्पल जरूरतमंद व्यक्तियों में दान करें। 

मिथुन राशि 

मिथुन राशि के जातकों के लिए आय में वृद्धि होगी साथ ही कंधे में दर्द, कान संबंधित रोग हो सकते हैं। संतान संबंधित चिंता, विद्या क्षेत्र में उतार-चढ़ाव देखने, को भी मिल सकते हैं। इसके अलावा मिथुन राशि वालों को शुभ स्थिति में स्थित राहु कठोर से कठोर विद्या प्राप्ति और किसी बड़े व्यक्ति के सलाहकार बनने में सहायता प्रदान करेंगे।

उपाय: भूरे रंग के रुमाल में कुलथी एवं उड़द की पोटली बनाकर दान करने से आपको शुभ फल की प्राप्ति होगी।

कर्क राशि 

कर्क राशि के जातकों को राहु-केतु राशि परिवर्तन से पिता को कष्ट, कार्यक्षेत्र में विलंब, के साथ कार्यों में असफलता, पारिवारिक कष्ट, मिलने की आशंका बन रही है। वहीं कुछ जातकों को इससे शुभ फलों की प्राप्ति भी हो सकती है जैसे पद प्रतिष्ठा में वृद्धि, नौकरी इत्यादि के संदर्भ में शुभ समाचार मिल सकता है।

उपाय: राहु केतु द्वारा शुभ फल प्राप्ति हेतु राहु एवं केतु ग्रह की पूजा या जप करवाएं एवं अपने इष्ट देव की आराधना आपको करनी चाहिए।

सिंह राशि 

सिंह राशि के जातकों को राहु-केतु के नकारात्मक फल के रूप में धार्मिक कार्यों में मन का नहीं लगना और भाग्य का साथ मिलने में रुकावट उठाने पड़ सकते हैं वहीं शुभ फल की बात करें तो कार्य क्षेत्र से संबंधित उत्सुकता, हिम्मत, ताकत, साहस की वृद्धि देखने को मिल सकती है एवं अचानक भाग्य में वृद्धि, धार्मिक स्थानों व कार्यों में नेतृत्व करने का अवसर प्राप्त होने की भी संभावना बनती नज़र आ रही है। 

उपाय: प्राचीन शिव मंदिर में जल चढ़ाएँ वह सीधा दान करें यानी भोजन सामग्री दान करें। शुभ फल प्राप्त होंगे।

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कन्या राशि 

कन्या राशि के जातकों को इस गोचर से विशेष सावधानियां बरतनी चाहिए क्योंकि राहु आपके लिए अष्टम स्थान व केतु द्वितीय स्थान में होने की वजह से आपको अनेकों प्रकार के कष्टों का सामना करना पड़ सकता है। विशेषकर18, 36, 54, 72 वर्ष की आयु के आसपास वाले जातकों को कष्ट अधिक हो सकता है। कन्या राशि के जातकों को गुप्त युक्ति द्वारा अपने कार्यों की सफलता प्राप्त होगी और गुप्त युक्ति द्वारा धन संग्रहित करने में भी आप कामयाब रहेंगे। 

उपाय: राहु केतु के बीज अक्षरी मंत्रों का जाप करें और एक मिट्टी के घड़े में लकड़ी के कोयले, दही, साबुत उड़द, भरकर काले कपड़े से ढक कर उसके ऊपर दीपक जलाकर पूजा करके जल में प्रवाहित करें या निर्जन स्थान पर छोड़ दें। इस उपाय से आपको शुभ फल की प्राप्ति होगी

तुला राशि 

तुला राशि के जातकों के लिए राहु केतु का गोचर हो जाने के पश्चात रोजगार व व्यवसाय में कुछ रुकवटों के साथ सफलता प्राप्त होगी। वैवाहिक जीवन में कुछ सामान्य उतार-चढ़ाव देखने को मिलेंगे जैसे कि मतभेद इत्यादि। तुला राशि के जातकों को मिलने वाले शुभ फल की बात करें तो, अविवाहितों के विवाह के योग बनेंगे, यात्रा एवं रोजगार प्राप्ति के अवसर प्राप्त होंगे।

उपाय: विवाहित जोड़े को काले या भूरे रंग की वस्तुएं भेंट करें। सभी लोगों से प्रेम से बातचीत करें। इससे आप लोगों को शुभ फल की प्राप्ति होगी।

वृश्चिक राशि

वृश्चिक राशि के जातकों के लिए राहु केतु के राशि परिवर्तन के पश्चात आप अपने शत्रुओं पर विजय प्राप्त करेंगे और सामान्य पेट में गैस से संबंधित समस्या का सामना करना पड़ सकता है। आय क्षेत्र उत्तम रहेगा हालांकि इस दौरान अनावश्यक खर्च भी बढ़ने की आशंका है। बल पराक्रम साहस से कार्यों या कार्यक्षेत्र में उन्नति करेंगे। नाना प्रकार के सुख प्राप्त होंगे। 

उपाय: वृश्चिक राशि के जातकों को शुभ फल प्राप्ति हेतु यात्रियों का सहयोग करना चाहिए और अपने से बड़े लोगों का आशीर्वाद प्राप्त करते रहें। इससे आपको राहु केतु के दोषों से मुक्ति प्राप्त होकर शुभ फल प्राप्त होंगे।

धनु राशि 

धनु राशि के जातकों पर राहु केतु ग्रह के गोचर से पड़ने वाले प्रभाव धनु राशि के जातकों को अचानक धन प्राप्ति एवं आय के क्षेत्र में वृद्धि होगी और नकारात्मक प्रभाव की बात करें तो संतान संबंधित चिंता, विद्यार्थियों को विद्या क्षेत्र में रुकावटों का सामना करना पड़ सकता है। हालांकि शुभ स्थिति में स्थित राहु केतु द्वारा विद्या क्षेत्र में नई विद्या प्राप्ति के योग बनेंगे।

उपाय: शुभ फल प्राप्ति हेतु विद्यार्थी जातक ज्ञानवर्धक पुस्तकें एवं राहु केतु के स्तोत्र आदि की पुस्तके दान करें एवं अन्य जातक वट सावित्री की पूजा करें।

मकर राशि 

मकर राशि के जातकों पर राहु केतु द्वारा राशि परिवर्तन करने पर मिलने वाला फल ग्रस्त एवं पारिवारिक जीवन में परेशानियां, भूमि वाहन आदि के विषय में चिंता, कार्यक्षेत्र में अधिक परिश्रम के बाद ही सफलता प्राप्त होगी एवं जन्म कुंडली के मध्य राहु केतु शुभ स्थिति में स्थित होने पर भूमि मकान वाहनों का सुख प्राप्त होगा।

उपाय: शुभ फल प्राप्ति हेतु अपने घर में राहु केतु ग्रह से संबंधित पूजा एवं हवन करवाने से शुभ फल की प्राप्ति होगी।

कुम्भ राशि 

कुंभ राशि के जातकों को राहु केतु ग्रह के गोचर करने पर मिलने वाला फल हिम्मत में वृद्धि होगी, आपके साहस से रुके हुए कार्य होंगे, अचानक भाग्य में वृद्धि देखने को मिलेगी, अनेकों प्रकार की सफलताओं के साथ सुख पूर्वक धन प्राप्ति के योग बनेंगे। परंतु धार्मिक कार्यों में मन नहीं लगेगा। 

उपाय: अपने राशि अनुसार इष्ट देवों की आराधना करनी चाहिए। आपकी राशि के अनुसार इष्ट देव भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी है।

मीन राशि 

मीन राशि के जातकों को राहु केतु की राशि परिवर्तन में मिलने वाला फल मीन राशि के जातकों को कुटुंब से परेशानियां या विचारों में मतभेद देखने को मिलेंगे, इसके साथ ही अचानक चोट दुर्घटना आदि से सावधान रहें। मीन राशि के जातक जन्म कुंडली के मध्य शुभ स्थिति में स्थित राहु केतु के द्वारा अपनी वाणी के द्वारा व्यक्तियों को प्रभावित करने में आसानी रहेगी और धन का संग्रह करेंगे।

उपाय: राहु केतु के दोषों की शांति करवाना उत्तम रहेगा वह दुर्वा और कुशा का हवन करवाना चाहिए।

नोट: राहु केतु के द्वारा जनित सभी दोषों का निवारण करने के लिए भगवान शिव की आराधना करना अति उपयुक्त होता है। यह आराधना सभी राशि वाले जातक कर सकते हैं इससे सभी को उत्तम एवं शुभ फल की प्राप्ति होगी।

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