चित्रगुप्त पूजा 2019: ऐसे करें भगवान चित्रगुप्त की पूजा, जानें शुभ मुहूर्त और पूजा विधि !

कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि के दिन चित्रगुप्त जी की पूजा की जाती है। चित्रगुप्त पूजा के दिन किताब, कलम, दवात और बहीखातों की पूजा करते हैं, और इस दिन से ही नए बहीखातों की शुरूआत भी हो जाती है। पुराणों के अनुसार चित्रगुप्त पूजा करने से व्यक्ति को विष्णु लोक की प्राप्ति होती है। भगवान चित्रगुप्त इंसान के पाप पुण्य का लेखा-जोखा रखते हैं। व्यापारियों के लिए तो यह दिन नए साल की शुरुआत मानी जाती है। इस दिन से नए बहीखातों पर ‘श्री’ लिखकर किसी भी कार्य को प्रारंभ किया जाता है। दिवाली के बाद भैया दूज के दिन ही चित्रगुप्त की पूजा भी मनाई जाती है। तो चलिए जानते हैं, इस साल किस मुहूर्त में, और कैसे करनी है चित्रगुप्त महाराज की पूजा –

चित्रगुप्त पूजा शुभ मुहूर्त 

इस साल चित्रगुप्त पूजा 29 अक्टूबर, मंगलवार के दिन की जाएगी। इस दिन के पूजा मुहूर्त की बात करें, तो दोपहर 1 बजकर 11 मिनट से 3 बजकर 25 मिनट तक आप चित्रगुप्त भगवान की पूजा कर सकते हैं। 29 अक्टूबर को सुबह 6 बजकर 13 मिनट से द्वितीया तिथि प्रारम्भ हो जाएगी और 30 अक्टूबर  को सुबह 3 बजकर 48 मिनट पर समाप्त होगी। 

कौन हैं चित्रगुप्त महाराज ?

पुराणों के अनुसार चित्रगुप्त जी का जन्म ब्रह्मा जी के चित्त से हुआ था। इनका काम लोगों के कर्मों के हिसाब किताब रखना है। चित्रगुप्त जी की पूजा मुख्य रूप से भाई दूज के दिन होती है। जो भी जातक सच्चे मन से इनकी पूजा करता है, उसे लेखनी, वाणी और विद्या का वरदान मिलता है। चित्रगुप्त हिंदुओं के प्रमुख देवता में गिने जाते हैं, जो अपने दरबार में मनुष्यों के पाप-पुण्य का लेखा-जोखा कर न्याय किया करते थे। 

कैसे करें चित्रगुप्त जी की उपासना ?

  • प्रातः काल पूर्व दिशा में एक चौक बनाएँ। 
  • इस पर चित्रगुप्त भगवान की फोटो की स्थापना करें। अगर फोटो उपलब्ध न हो, तो एक कलश को चित्रगुप्त जी का प्रतिक मानकर उसे स्थापित करें।
  • अब उनके सामने एक घी का दीपक जलाएं, और फूल, रोली, हल्दी, चन्दन और मिष्ठान्न अर्पित करें।   
  • इन सब चीज़ों के साथ उन्हें एक कलम भी अर्पित करें।
  • इसके बाद एक सफ़ेद कागज़ पर हल्दी लगाएँ और उसपर “श्री गणेशाय नमः” लिखें। इसके नीचे एक तरफ अपना नाम, पता और दिनांक लिखें और दूसरी तरफ अपनी आय-व्यय का विवरण दें। इसके साथ ही अगले साल के लिए आवश्यकता अनुसार धन हेतु निवेदन करें, फिर अपना हस्ताक्षर करें। 
  • उस कागज़ पर 11 बार “ॐ चित्रगुप्ताय नमः” लिखें। 
  • भगवान चित्रगुप्त से विद्या,बुद्धि और लेखन का वरदान माँगें। 
  • अर्पित की हुई कलम को संभाल कर रखें और पूरे साल उसका प्रयोग करें। 

यह भी पढ़ें –

राजस्थान के इस मंदिर में मिलता है पाप मुक्ति का प्रमाण-पत्र

जानें तिरुपति पर क्यों चढ़ाए जाते हैं बाल

Dharma

बजरंग बाण: पाठ करने के नियम, महत्वपूर्ण तथ्य और लाभ

बजरंग बाण की हिन्दू धर्म में बहुत मान्यता है। हनुमान जी को एक ऐसे देवता के रूप में ...

51 शक्तिपीठ जो माँ सती के शरीर के भिन्न-भिन्न अंगों के हैं प्रतीक

भारतीय उप महाद्वीप में माँ सती के 51 शक्तिपीठ हैं। ये शक्तिपीठ माँ के भिन्न-भिन्न अंगों और उनके ...

सिद्ध कुंजिका स्तोत्र (Kunjika Stotram) से पाएँ दुर्गा जी की कृपा

सिद्ध कुंजिका स्तोत्र एक ऐसा दुर्लभ उपाय है जिसके पाठ के द्वारा कोई भी व्यक्ति पराम्बा देवी भगवती ...

12 ज्योतिर्लिंग: शिव को समर्पित हिन्दू आस्था के प्रमुख धार्मिक केन्द्र

12 ज्योतिर्लिंग, हिन्दू आस्था के बड़े केन्द्र हैं, जो समूचे भारत में फैले हुए हैं। जहाँ उत्तर में ...

दुर्गा देवी की स्तुति से मिटते हैं सारे कष्ट और मिलता है माँ भगवती का आशीर्वाद

दुर्गा स्तुति, माँ दुर्गा की आराधना के लिए की जाती है। हिन्दू धर्म में दुर्गा जी की पूजा ...

Leave a Reply

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा.