स्वराशि में आएंगे बुध (24 जून, 2023): इन राशियों की खुलेगी किस्मत!

वैदिक ज्योतिष में बुध ग्रह को महत्वपूर्ण ग्रह का दर्जा प्राप्त है। बुध ग्रह को बुद्धि, वाणी, तर्क, विद्या, व्यापार, आदि का कारक ग्रह माना जाता है। ऐसे में जब भी यह महत्वपूर्ण ग्रह गोचर करता है अर्थात एक राशि से दूसरी राशि में प्रवेश करता है तो इससे बुध से संबंधित क्षेत्रों में महत्वपूर्ण बदलाव देखने को मिलते हैं। 

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कुछ ऐसा ही होने जा रहा है 24 जून को, जब बुध ग्रह अपनी राशि मिथुन में गोचर करेंगे। तो आइए एस्ट्रोसेज के विशेष ब्लॉग के माध्यम से जान लेते हैं कि बुध का यह महत्वपूर्ण गोचर सभी राशियों को किस तरह से प्रभावित करेगा, इस गोचर का समय और अवधि क्या होने वाली है, इस दौरान राशि अनुसार क्या कुछ उपाय करके बुध ग्रह से संबंधित शुभ परिणाम प्राप्त किए जा सकते हैं, और साथ ही जान लेते हैं 2023 में आगे बुध ग्रह कब-कब गोचर करने वाले हैं।

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बुध गोचर जून 2023: समय और अवधि 

बात करें जून में होने वाले बुध ग्रह के गोचर की तो यह गोचर 24 जून, 2023 को दोपहर 12 बजकर 35 मिनट पर होगा। इस गोचर के दौरान बुध ग्रह अपनी ही राशि मिथुन में प्रवेश कर जाएंगे। बुध इस राशि में 8 जुलाई तक रहेंगे और इसके बाद चंद्रमा के स्वामित्व वाली कर्क राशि में गोचर कर जाएंगे। 

बात करें बुध ग्रह के गोचर की तो आमतौर पर बुध ग्रह का गोचर 23 दिनों की अवधि के लिए होता है। इसके बाद बुध ग्रह अगली राशि में अपना राशि परिवर्तन कर लेते हैं। 

ज्योतिष के जानकार मानते हैं कि बुध के मिथुन राशि में गोचर से जातकों के जीवन में मिठास आने की संभावना है, इसके साथ ही जातक हाजिर जवाबी भी हो सकते हैं, बहुत से लोगों की बात करने की क्षमता में सुधार देखने को मिल सकता है, इसके साथ ही बुध गोचर के दौरान बहुत से जातक अपने आसपास के लोगों को खुश करते हुए नजर आएंगे। 

हालांकि ऐसा ही नहीं है कि बुध ग्रह के गोचर से व्यक्ति को केवल शुभ या केवल प्रतिकूल परिणाम ही प्राप्त होंगे। बुध ग्रह किसी व्यक्ति की कुंडली में किस स्थिति में, किस भाव में विराजमान है, उस पर बुध गोचर का फल निर्भर करता है। आप अपनी राशि के अनुसार इस गोचर का भविष्यफल पढ़ने के लिए हमारे साथ अंत तक बने रहें।

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बुध ग्रह से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण बातें 

  • बुध ग्रह मिथुन राशि और कन्या राशि के स्वामी हैं। 
  • बुध ग्रह कन्या राशि में उच्च अवस्था के होते हैं और मीन में नीच के हो जाते हैं। 
  • बुध ग्रह शुक्र के दोस्त हैं और शनि से भी यह समरसता रखते हैं। 
  • बुध जिस व्यक्ति की कुंडली में अच्छे होते हैं ऐसे जातक सुंदर होते हैं, तर्कसंगत बनते हैं, व्यवसाय में लाभ कमाते हैं, ऐसे जातकों की बात करने की कला शानदार होती है। 
  • इसके अलावा कुंडली में मजबूत बुध के प्रभाव से जातक मीडिया के क्षेत्र, कंप्यूटर से संबंधित काम, और मार्केटिंग में अपार लाभ कमाते हैं। 
  • बुध के प्रभाव से जातकों की बुद्धि प्रखर बनती है। 

अगर आप भी अपनी कुंडली में बुध ग्रह की स्थिति के बारे में जानना चाहते हैं तो अभी विद्वान ज्योतिषियों से फोन पर बात करें और अपने सवाल का जवाब जान सकते हैं। 

बुध गोचर से बनेगा बुधादित्य योग 

यहां यह भी जानना बेहद आवश्यक है कि बुध जब मिथुन राशि में प्रवेश करेंगे तो यहां पहले से ही सूर्य मौजूद रहने वाले हैं। दरअसल सूर्य 15 जून को मिथुन राशि में प्रवेश कर चुके हैं और 16 जुलाई तक यहीं इसी राशि में रहने वाले हैं। ऐसे में 15 जून से लेकर 8 जुलाई तक यानी कि जब तक मिथुन राशि में सूर्य और बुध दोनों मौजूद रहेंगे तब तक यहां बुधादित्य योग का निर्माण होगा। बुधादित्य योग से बहुत सी राशियों को शुभ परिणाम मिलेंगे।

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बुधादित्य योग का कुंडली के विभिन्न भावों में प्रभाव 

बुधादित्य योग व्यक्ति की कुंडली में जिस भाव में बनता है उसके अनुरूप ही फल प्रदान करता है। उदाहरण के तौर पर, 

  • अगर प्रथम भाव में बुधादित्य योग का निर्माण हो रहा है तो ऐसे में व्यक्ति को मान, सम्मान और यश की प्राप्ति होती है।  
  • द्वितीय भाव में बुधादित्य योग का निर्माण व्यक्ति को सुखी जीवन और ऐश्वर्य की प्राप्ति कराता है।  
  • तृतीय भाव में बुधादित्य योग जातकों को कष्ट देता है। ऐसे लोगों के भाई बहनों से रिश्ते बिगड़ सकते हैं।  
  • चतुर्थ भाव में बुधादित्य योग के प्रभाव स्वरूप व्यक्ति खुद भी विद्वान होता है और अन्य लोगों को भी विद्वान बनाता है।  
  • पंचम भाव में बुधादित्य योग के प्रभाव स्वरूप व्यक्ति को अल्पायु की संतान प्राप्त होने की आशंका बढ़ जाती है।  
  • षष्ठ भाव में बुधादित्य योग विरोधियों के चलते समस्याओं की वजह बनता है।  
  • सप्तम भाव में बुधादित्य योग दांपत्य जीवन में परेशानी की वजह बनता है।  
  • अष्टम भाव में बुधादित्य योग विदेश मुद्रा में व्यापार कराता है और व्यवसाय में सफलता दिलाता है।  
  • नवम भाव में बुधादित्य योग व्यक्ति को ढेरों शुभ फल प्रदान करता है।  
  • दशम भाव में बुधादित्य योग व्यक्ति को चतुर और संगीत प्रेमी बनाता है।  
  • एकादश भाव में बुधादित्य योग व्यक्ति को सरकार या सरकारी स्त्रोतों से लाभ प्राप्त करता है।  
  • द्वादश भाव में बुधादित्य योग व्यक्ति को पारिवारिक विवाद की समस्या देने वाला साबित हो सकता है। 

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बुध गोचर 2023 

अब आगे बढ़ते हैं और जान लेते हैं कि 2023 में बुध ग्रह गोचर कब-कब होने वाला है।  

8 जुलाई कर्क राशि में गोचर 

25 जुलाई सिंह राशि में गोचर 

1 अक्टूबर कन्या राशि में गोचर 

19 अक्टूबर तुला राशि में गोचर 

6 नवंबर वृश्चिक राशि में गोचर 

27 नवंबर धनु राशि में गोचर 

28 दिसंबर वृश्चिक राशि में गोचर

बुध गोचर का सभी 12 राशियों पर प्रभाव और उपाय 

बुध का अपनी ही राशि में गोचर अनुकूल परिणाम प्रदान करने वाला साबित हो सकता है। आइये अब जानते हैं कि आपकी राशि के लिए यह गोचर कितना खास और महत्वपूर्ण रहेगा।

यह राशिफल चंद्र राशि पर आधारित है। जानें अपनी चंद्र राशि

मेष राशि 

मेष राशि के लिए बुध तीसरे और छठे भाव के स्वामी हैं और बुध का मिथुन राशि में गोचर आप के तीसरे भाव में होगा। इस गोचर के प्रभाव से आप ….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

वृषभ राशि 

बुध आपके दूसरे और पांचवें भाव के स्वामी हैं और बुध का मिथुन राशि में गोचर होने से वह आपके दूसरे भाव में प्रवेश करेंगे। यह आपके लिए ….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

मिथुन राशि 

मिथुन राशि के जातकों के राशि स्वामी बुध ही हैं यानी कि यह आपके पहले और चौथे भाव के स्वामी हैं और बुध का मिथुन राशि में गोचर आपकी ही राशि में होने से आपके सामाजिक….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

कर्क राशि 

कर्क राशि के लिए बुध तीसरे और बारहवें भाव के स्वामी हैं और मिथुन राशि में गोचर होने से वह आपके द्वादश भाव में प्रवेश करेंगे। द्वादश भाव में बुध के होने से शिक्षा के लिए आपको ….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

 सिंह राशि 

सिंह राशि के जातकों के लिए बुध दूसरे और ग्यारहवें भाव के स्वामी हैं और बुध का मिथुन राशि में गोचर आपके एकादश भाव में होगा। इस गोचर के प्रभाव से आपके भाई – बहनों….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

कन्या राशि 

यदि आपका जन्म कन्या राशि में हुआ है तो बुध आपके राशि स्वामी हैं यानी कि यह आपके पहले और दशम भाव के स्वामी हैं तथा बुध का मिथुन राशि में गोचर आपके दशम भाव में ही प्रवेश करेंगे। बुध गोचर के प्रभाव से कार्यक्षेत्र पर ….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

 तुला राशि 

तुला राशि के जातकों के लिए बुध नवम और द्वादश भाव के स्वामी हैं। बुध का मिथुन राशि में गोचर आपके नवम भाव में होगा। इस गोचर के आपको ….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

वृश्चिक राशि 

बुध आपके अष्टम और एकादश भाव के स्वामी हैं। बुध का मिथुन राशि में गोचर आपके अष्टम भाव में होगा। इस दौरान आपको विशेष रूप से आर्थिक और शारीरिक….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

धनु राशि 

धनु राशि के जातकों के लिए बुध सप्तम और दशम भाव के स्वामी हैं। बुध का मिथुन राशि में गोचर आपके सप्तम भाव में होगा। व्यापार का कारक बुध जब सप्तम भाव में जाएगा तो आपके व्यापार में….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

मकर राशि 

बुध का मिथुन राशि में गोचर आपके षष्ठ भाव में होगा। बुध आपके लिए षष्ठ और नवम भाव के स्वामी हैं। बुध का यह गोचर आपकी नौकरी के लिए ….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

कुम्भ राशि 

कुंभ राशि के जातकों के पांचवे और आठवें भाव के स्वामी हैं। बुध का कुंभ राशि में गोचर आपके पंचम भाव में ही होगा। इस वजह से यह समय प्रेम संबंधों में ….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

मीन राशि 

मीन राशि के जातकों के लिए बुध चौथे और सातवें भाव के स्वामी हैं। बुध का मिथुन राशि में गोचर आपके चतुर्थ भाव में होगा। यह गोचर परिवार के दृष्टिकोण से अनुकूल….(विस्तार से पढ़ें राशिफल और उपाय)

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