मामूली नहीं है सूर्य का ये गोचर!

सूर्य का यह गोचर इन राशियों के लिए साबित होगा लाभकारी 

देश और दुनिया भर में चल रही कोरोना महामारी और बढ़ती अस्थिरता के बीच, नवग्रहों के शासक माने जाने वाले, सूर्य, 14 मई 2020 को वृषभ राशि में गोचर करेंगे। सूर्य को ऊर्जा और सत्य के अक्षय भंडार का प्रतीक माना जाता है। साथ ही इन्हें शक्ति का अमर स्रोत भी कहा गया है। सूर्य ग्रह का पहलू, प्रकृति और शक्ति अन्य ग्रहों की तुलना में सभी प्राणियों पर सबसे अधिक प्रभाव डालता है।

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क्योंकि सूर्य को अन्य सभी ग्रहों में सबसे शक्तिशाली ग्रह माना जाता है, इसलिए वृषभ राशि में सूर्य के इस गोचर से विश्व में चल रही इस कोरोना महामारी के संकट के बीच बड़े बदलाव लाने की उम्मीद के तौर पर भी देखा जा रहा है।

ज्योतिष में सूर्य ग्रह 

ज्योतिष की दुनिया में सूर्य की स्थिति को बेहद ही महत्वपूर्ण माना जाता है। कुंडली में सूर्य की अच्छी दशा नाम, प्रसिद्धि, आत्मिक ढृढ़ता और मान-सम्मान दिलाने वाली साबित होती है। इसके अलावा ज्योतिष की दुनिया में, सूर्य सरकार और प्रशासन का भी प्रतिनिधित्व करता है।

सूर्य देव इस गोचर के दौरान अपनी उच्च राशि मेष से निकलकर शुक्र के स्वामित्व वाली वृषभ राशि में गोचर करेंगे। यह बात साफ़तौर पर इस तरफ इशारा करती है कि इस दौरान सरकार या प्रशासन द्वारा अबतक की गयी पहल अब पहले से कई गुना अधिक व्यवस्थित और संगठित ढंग से होती हुई नज़र आएगी। ऐसे में जायज़ है कि इससे हमें अच्छे परिणाम मिलेंगे। जैसा कि वृषभ को काल पुरुष कुंडली का दूसरा घर माना जाता है, जो कि संसाधनों का कारक माना गया है, ये बात इस तरफ इशारा करती है कि कोई इंसान हो या सरकार, हम इस समय में संसाधनों को उनकी अनुकूलतम क्षमता के हिसाब से बेहतर ढंग से उपयोग करने में कामयाब होंगे जिससे हमें बेहतर परिणाम मिलेंगे।

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सूर्य का वृषभ राशि में प्रवेश: जानें ख़ास विशेषताएं और इससे होने वाले बदलाव 

चूंकि यह स्वतंत्र भारत की कुंडली के लग्न से गति कर रहा है और ज्यादातर ग्रह चर राशियों से स्थिर राशियों में जा रहे हैं, इसलिए कहा जा सकता है कि इस गोचर के दौरान सरकार स्थिरतापूर्ण सही फैसले ले सकती है। यह राशि स्वच्छता को भी दर्शाती है इसलिए जनता भी स्वच्छता के प्रति जागरुक होगी औऱ अपने आसपास स्वच्छता और साफ़-सफाई बनाने की कोशिश करेगी। इससे समाज को कोरोना के खिलाफ लड़ने में भी मदद मिलेगी।

इसके अलावा, सूर्य सहित प्रमुख ग्रह पृथ्वी के संकेतों में हैं जो वाणिज्य, उत्पादकता और दक्षता को दर्शाते हैं। यह दर्शाता है कि इस दौरान देश की अर्थव्यवस्था में सुधार लाने के लिए सरकार अधिक और ठोस कदम अवश्य उठाएगी। इस गोचर अवधि के दौरान, बैंकिंग आदि जैसे वित्तीय संस्थानों को सरकार द्वारा व्यापक बैकअप मिलेगा। इसके साथ-साथ शेयर बाजारों में भी इस गोचर के दौरान बढ़त मिलने की प्रबल संभावना है।

सूर्य अपने शुरुआती चरणों के दौरान ‘कृतिका’ नक्षत्र से गुजरेगा, जो सूर्य द्वारा ही शासित नक्षत्र है। यह बात इस तरफ इशारा करती है कि यह गोचर आपको सत्ता, जीवन शक्ति और मजबूती प्रदान करने वाला साबित होगा। यह नक्षत्र जो की खुद अग्नि तत्व से जुड़ा है वो आत्मविश्वास को दर्शाता है, और जीवन से किसी भी प्रकार की नकारात्मक ऊर्जाओं को दूर करता है। जैसा कि अग्नि केवल ऊपर की तरफ जाती है ठीक उसी तरह यह गोचर भी सिर्फ वृद्धि की ही तरफ जाने वाला साबित होगा।

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वृषभ राशि को मानव अभिव्यक्ति के साथ जुड़ा हुआ माना जाता है और “कृतिका” नक्षत्र निर्मलता और स्वच्छता को दर्शाता है, इससे पता चलता है कि गोचर के प्रारंभिक चरण में लिया कोई भी फ़ैसला सकारात्मक बदलाव ला सकता है। इसलिए खासकर से गोचर की प्रारंभिक अवधि में अपने दृष्टिकोण में आशावादी और सकारात्मक रहें, क्योंकि ये अवधि इस पूरे गोचर में सकारात्मक परिणाम लाने वाली साबित होगी।

इस गोचर के दौरान इन चन्द्र राशि के जातकों को होगा लाभ 

यह गोचर विशेषतौर पर कर्क, धनु, मीन और सिंह राशि के लोगों के लिए अत्यधिक लाभकारी होगा। इस समय के दौरान उन्हें अपने सभी प्रयासों और कार्यों में जबरदस्त सफलता मिलने की संभावना है। इस गोचर के दौरान इन राशि के जातकों को उनके कार्य क्षेत्र में तरक्की के साथ-साथ आर्थिक लाभ मिलने की भी प्रबल संभावना है। इसके अलावा इन राशि के जातकों को सूर्य का यह गोचर अपार साहस, अपने लक्ष्यों और महत्वाकांक्षाओं को आगे बढ़ाने की प्रेरणा प्रदान करेगा।

इस दौरान इस राशि के जातकों को उनके परिवार और दोस्तों का भी भरपूर सहयोग प्राप्त होगा और साथ में उनकी सामाजिक स्थिति में भी बढ़ोतरी देखी जाएगी। इसके साथ-साथ स्वास्थ्य के लिहाज़ से भी इन राशि के जातकों के लिए यह गोचर काफी अच्छा रहने वाला है क्योंकि इस दौरान वो खुद को नयी उर्जा, जीवन शक्ति और उत्साह से भरा हुआ महसूस करेंगे।

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इन राशि के जातकों को उठानी पड़ सकती है थोड़ी परेशानी 

मिथुन, तुला और मकर राशि के जातकों को इस गोचर के दौरान सावधानी बरतने और थोड़ा अधिक जागरूक रहने की जरूरत है। इस समय अवधि के दौरान जल्दबाजी या बिना सोचे-समझे लिया गया कोई भी फ़ैसला आपको दुखी करने के साथ-साथ आपके लिए नुकसान लाने वाला भी साबित हो सकता है।

साथ ही उन्हें अपने स्वास्थ्य का विशेष और ख़ास ख्याल रखने की भी सलाह दी जाती है। तनाव से दूर रहना, दूसरों पर निर्भर रहने से बचना और अपने जीवन में एक सकारात्मक और आशावादी रवैय्या लागू करने से आपको इस गोचर का बेहतर परिणाम मिल सकता है।

सूर्य को प्रसन्न करने के ज्योतिषीय उपाय 

सूर्य को प्रसन्न करने के लिए आप नीचे दिए गए किसी भी उपाय को अपना सकते हैं।

  • रोज़ सुबह कोई भी महत्वपूर्ण काम या अपनी दिनचर्या शुरू करने से पहले अपने पिता या पितातुल्य इंसान का आशीर्वाद अवश्य लें।
  • पूर्व दिशा में झुकें, क्योंकि सूर्यदेव को पूर्व दिशा का स्वामी माना गया है।
  • रोज़ाना सूर्योदय के समय गायत्री मंत्र का जप करें।
  • प्रतिदिन सुबह भगवान सूर्य को अर्घ्य दें।
  • रोज़ाना सुबह सूर्य नमस्कार करें।
  • क्योंकि सूर्य से भगवान राम को जोड़कर देखा जाता है, इसलिए प्रतिदिन सुबह ‘राम रक्षा स्तोत्र’ का पाठ करें। ऐसा करने से समृद्धि और स्वास्थ्य में सुधार के लिए लाभकारी परिणाम मिलते हैं।
  • सूर्य होरा के दौरान प्रतिदिन “आदित्य हृदय स्तोत्र” या सूर्य मंत्र का पाठ करें।
  • तांबे के बर्तन से पानी पियें।
  • रोज़ाना प्राणायाम करें।

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