इस साल, 19 नवंबर 2021, दिन शुक्रवार को सुबह 11 बजकर 32 मिनट से इस साल का आखिरी चंद्र ग्रहण शुरू होगा, जो कि शाम 05 बजकर 33 मिनट पर समाप्त होगा। चंद्र ग्रहण एक महत्वपूर्ण खगोलीय घटना है। जब चंद्रमा पर पृथ्वी की छाया पड़ने लगती है तो ये स्थिति चंद्र ग्रहण कहलाती हैं। आइए जानते हैं कि साल के इस अंतिम चंद्र ग्रहण का सूतक काल मान्य होगा या नहीं।
चंद्र ग्रहण 2021: कब, कहाँ और दृश्यता?
ये खंडग्रास चंद्रग्रहण होगा, जो कार्तिक शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा के दिन लगने जा रहा है। ग्रहण की शुरुआत सुबह 11:32 बजे से होगी और इसकी समाप्ति शाम 05:33 पर होगी। ग्रहण काल की कुल अवधि 06 घंटे 01 मिनट की होगी। ये चंद्र ग्रहण भारत में अरुणाचल प्रदेश के पूर्वी सीमांत क्षेत्रों में, अमेरिका, उत्तरी यूरोप, पूर्वी एशिया, ऑस्ट्रेलिया और प्रशांत महासागर में दिखाई देगा।
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संपूर्ण भारत में ग्रहण नहीं होगा दृश्य
19 नवंबर को लगने वाला चंद्र ग्रहण संपूर्ण भारत में नहीं दिखाई देगा। वर्ष का अंतिम चंद्र ग्रहण भारत के पूर्वोत्तर राज्यों- असम और अरुणाचल प्रदेश में कुछ पल के लिए आंशिक चंद्र ग्रहण के रूप में दिखाई दे सकता है। इसके साथ ही अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया, पूर्वी एशिया और उत्तरी यूरोप में भी ये चंद्र ग्रहण दिखाई देगा।
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार सूतक काल उस समय को कहते हैं, जब प्रकृति अत्याधिक संवेदनशील अवस्था में होती है। सूतक काल के दौरान किसी भी प्रकार के शुभ कार्य नहीं किए जाने चाहिए। मान्यता अनुसार इस काल में तो मंदिरों के कपाट भी बंद कर दिए जाते हैं। इसके अलावा सूतक में ईश्वर भजन करना ही श्रेयस्कर माना जाता है।
सूतक काल: मान्य होगा या नहीं?
19 नवंबर को लगने वाला यह चंद्र ग्रहण खंडग्रास चंद्र ग्रहण होगा। ज्योतिष मान्यताओं के अनुसार खंडग्रास चंद्र ग्रहण लगने पर सूतक काल मान्य नहीं होता है। बल्कि पूर्ण चंद्र ग्रहण लगने पर ही सूतक काल मान्य होता है, जिसमे पूर्ण चंद्र ग्रहण के शुरू होने से 9 घंटे पहले सूतक काल प्रारंभ हो जाता है।
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कुंवारों और गर्भवती स्त्रियों के लिए अशुभ है ये ग्रहण
वैसे तो चंद्रग्रहण एक भौगोलिक घटना है, लेकिन वैदिक ज्योतिष में ग्रहण जैसी महत्वपूर्ण घटना को ग्रह-नक्षत्रों और राशियों से जोड़ दिया जाता है और इसी वजह से ग्रहण का नाम सुनते ही लोगों के मन में इसके प्रभाव को लेकर कई शंका और चिंताएं पैदा हो जाती हैं। माना जाता है कि 19 नवंबर को लगने वाला ये चंद्र ग्रहण कुंवारों और गर्भवती स्त्रियों के लिए कुछ अच्छा नहीं सिद्ध होगा।
19 नवंबर को होने वाले चंद्र ग्रहण के प्रभावों से बचने के लिए ये उपाय करें
- भगवान शिव व भगवान गणेश जी की आराधना करें।
- गरीबों को भोजन कराएं और वस्त्र दान करें।
- चींटियों को आटा, शक्कर और तिल के तेल से बना पाउडर मिश्रण कर खिलाएं।
- मछलियों को दाना दें।
- गायों को हरा चारा खिलाएं।
- बेईमानी, जमाखोरी और मुनाफाखोरी जैसे कार्यों से दूर रहें।
- अपने काम को लेकर ईमानदार रहें।
किन राशियों के लिए होगा ग्रहण शुभ और किन जातकों को रहना होगा सावधान?
19 नवंबर को साल का आखिरी चंद्र ग्रहण लगने जा रहा है। जो वृषभ राशि और कृतिका नक्षत्र में लगेगा। तो चलिए अब जानते हैं कि इस ग्रहण का किन राशि वालों पर शुभ प्रभाव पड़ेगा और किन जातकों को इस ग्रहण के दौरान रहना होगा सतर्क:-
वैदिक ज्योतिष अनुसार ये ग्रहण तुला, कुंभ और मीन राशि वालों के लिए शुभ रहेगा। इस दौरान इस राशि के जातकों को अच्छे परिणाम प्राप्त होंगे। उन्हें अपने कार्यक्षेत्र में अच्छी सफलता मिलने की संभावना बनेगी, जिसके परिणामस्वरूप वे अपने करियर में आगे बढ़ने के लिए कई नए अवसर प्राप्त करेंगे। यदि कहीं नौकरी का आवेदन किया है तो, वहां भी सफलता मिल सकती है। इसके अलावा व्यापारी जातकों को भी इस दौरान विशेष लाभ प्राप्त होने के योग बनते दिखाई देंगे। क्योंकि ये ग्रहण आपके करियर में आ रही हर बाधा दूर करेगा। साथ ही निवेश करने के लिए भी, ये अवधि विशेष अनुकूल सिद्ध होगी।
इसके अतिरिक्त इस चंद्र ग्रहण के दौरान खासतौर से मेष, वृषभ, सिंह और वृश्चिक राशि के जातकों को अधिक सावधान रहने की सलाह दी जाती है। क्योंकि विशेषज्ञों अनुसार इन राशि वालों के लिए इस ग्रहण का प्रभाव, कुछ अशुभ रहने वाला है।
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