शनि कुंभ राशि में वक्री: किन राशियों पर होगी पैसों की बरसात और किन राशियों की बढ़ेंगी मुश्किलें?

वैदिक ज्योतिष में शनि ग्रह को कर्मफल दाता और न्यायाधीश का दर्जा दिया गया है इसलिए इनकी चाल या स्थिति में बदलाव जातकों के जीवन में कई बड़े परिवर्तन लेकर आ सकती है। अब शनि देव 17 जून 2023 को कुंभ राशि में वक्री होने जा रहे हैं। एस्ट्रोसेज का यह विशेष ब्लॉग आपको शनि कुंभ राशि में वक्री के बारे में समस्त जानकारी प्रदान करेगा। साथ ही आपको अवगत कराएंगे शनि की वक्री अवस्था का राशियों पर कैसा प्रभाव पड़ेगा। 

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जैसे कि हम जानते हैं कि शनि ग्रह कर्मफल दाता है जो कर्मों के अनुसार फल प्रदान करते हैं और सभी ग्रहों में यह सबसे मंद गति से चलने वाले ग्रह हैं। ऐसे में, जब भी इनकी स्थिति में ज़रा सा भी परिवर्तन होता है उसका असर मानव जीवन के साथ-साथ राशिचक्र की सभी 12 राशियों पर पड़ता है। 

शनि महाराज को किसी एक राशि से दूसरी राशि में प्रवेश करने में ढाई साल का समय लगता है और इस प्रकार, यह 12 राशियों का एक चक्र पूरा करने में 29.5 साल का समय लेते हैं। बीते 17 जनवरी 2023 को शनि देव अपनी मूलत्रिकोण राशि में लौट आए थे और अब यह कुंभ राशि में ही 17 जून 2023 की रात 10 बजकर 48 मिनट पर वक्री हो रहे हैं। हालांकि, शनि की वक्री अवस्था को बेहद प्रभावशाली और ताकतवर माना जाता है जिसका गहरा असर सभी राशियों पर देखने को मिलता है। अब नज़र डालते हैं कि किन राशियों को शनि की वक्री चाल शुभ परिणाम प्रदान करेगी। 

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शनि कुंभ राशि में वक्री: इन राशियों को करेगा प्रभावित

मेष राशि

मेष राशि के जातकों के लिए शनि आपके दसवें और ग्यारहवें भाव के स्वामी हैं और अब यह लाभ भाव यानी कि ग्यारहवें भाव में वक्री हो रहे हैं। ऐसे में, शनि का कुंभ राशि में वक्री होना आपके करियर और कमाई को प्रभावित करेगा। इसके परिणामस्वरूप, जातकों को कार्यों में मनचाहे परिणाम पाने के लिए अधिक मेहनत करनी पड़ सकती है।

आपको यह बात ध्यान में रखनी होगी कि शनि ग्रह आपकी परीक्षा ले रहे हैं और इस दौरान वह आपको जीवन के महत्वपूर्ण पाठ पढ़ाएंगे। ऐसे में, आपको मेहनत करना जारी रखना होगा क्योंकि भविष्य में आपको शनि देव अनुकूल परिणाम प्रदान करेंगे। वहीं, जिन जातकों का अपना व्यापार है वह रुके हुए कामों को पूरा करते हुए नज़र आ सकते हैं जो कि व्यवसाय का विस्तार करने में मददगार साबित होंगे। हालांकि, शनि की वक्री चाल का आपकी आर्थिक स्थिति पर अच्छा प्रभाव पड़ेगा और इसके फलस्वरूप आपको धन से जुड़े मामलों में कई बेहतरीन अवसर प्राप्त हो सकते हैं। 

मिथुन राशि 

मिथुन राशि वालों के लिए शनि आपके आठवें और नौवें भाव के स्वामी हैं जो कि वक्री होने जा रहे हैं। शनि की वक्री चाल के चलते आपके भाग्य में थोड़ी कमी देखने को मिल सकती है और साथ ही, कार्यों के पूरे होने में देरी होने की संभावना है, लेकिन थोड़ी देर से ही सही आपके सभी कार्य आपके अनुसार पूरे हो जाएंगे। 

इस अवधि में आपकी आर्थिक स्थिति में सुधार देखने को मिलेगा। इन जातकों को नौकरी में ट्रांसफर या फिर कार्यक्षेत्र में जॉब प्रोफाइल में बदलाव का सामना करना पड़ सकता है। हालांकि, इस दौरान आप अध्यात्म की राह पर आगे बढ़ेंगे या फिर स्वयं को आध्यात्मिक गुरुओं की शरण में पाएंगे।

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सिंह राशि

सिंह राशि के जातकों के लिए शनि आपके छठे और सातवें भाव के स्वामी हैं और यह अब सातवें भाव में वक्री होंगे। व्यवसायी वर्ग के लोगों के लिए यह अवधि अच्छी कही जाएगी क्योंकि इस दौरान आपका व्यापार रफ़्तार पकड़ेगा और आप अच्छा मुनाफा कमाएंगे। यदि आपका कोई कार्य रुका हुआ है या फिर अधूरा है, तो वह अब आगे बढ़ेगा।

नौकरी और व्यापार करने वाले जातकों के लिए यह अवधि फलदायी साबित होगी। आप कार्यों को अच्छे से करने में सक्षम होंगे और कार्यक्षेत्र पर आपका प्रदर्शन भी शानदार रहेगा। हालांकि, शनि की वक्री अवस्था आपके वैवाहिक जीवन में समस्याएं पैदा कर सकती हैं और आपको रिश्ते में उतार-चढ़ावों का सामना करना पड़ सकता है इसलिए इन जातकों को अपने रिश्ते को प्यार से संभालना होगा। 

कन्या राशि

कन्या राशि के जातकों के लिए शनि पांचवें और छठे भाव के स्वामी हैं जो अब आपके छठे भाव में वक्री होंगे। हालांकि, वकीलों के लिए इस समय को अच्छा नहीं कहा जा सकता है क्योंकि शनि छठे भाव में हैं और यह क़ानूनी मुद्दों के फैसलों में देरी करवा सकते हैं या फिर आपके पास आने वाले मुकदमों में कमी देखने को मिल सकती है।   

कन्या राशि वालों के शत्रु इस अवधि में आप पर हावी होने की कोशिश कर सकते हैं और कुछ  समय के लिए आपको कमज़ोर भी कर सकते हैं। हालांकि, परिस्थितियां आपके नियंत्रण में रहेंगी, लेकिन आप तनाव में नज़र आ सकते हैं और इस वजह से आपकी रातों की नींद भी उड़ सकती है। साथ ही, इन जातकों को स्टॉक मार्केट में निवेश करने से बचना होगा, अन्यथा आपको नुकसान हो सकता है। इसके परिणामस्वरूप आपको आर्थिक संकट का सामना करना पड़ सकता है। 

धनु राशि 

शनि का कुंभ राशि में वक्री होना धनु राशि वालों के लिए शुभ रह सकता है। इस दौरान आपको विभिन्न क्षेत्रों से अच्छी ख़बरें सुनने को मिलेगी, विशेष रूप से करियर और नौकरी में। यदि आप नौकरी में बदलाव करना चाहते हैं या फिर एक बेहतर अवसर की तलाश में हैं, तो अब आपको कई अच्छे ऑफर्स मिल सकते हैं। अपने साहस और प्रयासों के दम पर आप सफलता हासिल करने में सक्षम होंगे।

शनि की वक्री अवस्था के दौरान आप अच्छा ख़ासा लाभ प्राप्त करेंगे जिसके दम पर आप आर्थिक रूप से सफल होंगे। साथ ही, इस दौरान आपको उच्च वेतन वाली नौकरी मिलने की प्रबल संभावना है जो कि वित्तीय समस्याओं से आपको मुक्ति प्रदान करेगी। इस समय आपको भाग्य का भी साथ मिलेगा। 

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शनि कुंभ राशि में वक्री: आज़माएं ये सरल एवं अचूक उपाय  

  • शनि देव का आशीर्वाद पाने के लिए गरीबों को भोजन कराएं। 
  • गरीब लोगों को कंबल और काले रंग के कपड़े दान करें। 
  • जरूरतमंदों को जूते दान में दें। 
  • गरीबों को काले चने की खिचड़ी और गेहूं का दान करें। 
  • प्रत्येक शनिवार शनि मंदिर में सरसों के तेल का दीपक जलाएं और सरसों का तेल दान करें। 

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