मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर: जानिए किस राशि के जातकों के शुरू होंगे अच्छे दिन!

मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर: वैदिक ज्योतिष के अनुसार, मंगल एक उग्र ग्रह है इसलिए इसे लाल ग्रह के नाम से भी जाना जाता है। ज्योतिष में मंगल के गोचर का विशेष महत्व है और इस ग्रह की चाल में बदलाव का असर सभी 12 राशियों पर देखने को मिलता है। मंगल एक राशि में लगभग 45 दिनों तक रहते हैं और इसके बाद ये अपनी राशि में परिवर्तन कर लेते हैं। इसी क्रम में नवंबर के महीने में मंगल एक बार फिर अपनी राशि में परिवर्तन करने जा रहे हैं। मंगल के गोचर का प्रभाव प्रत्येक राशि में सकारात्मक व नकारात्मक रूप से पड़ेगा। तो आइए बिना देरी किए आगे बढ़ते हैं और जानते हैं मंगल का गोचर आपके लिए क्या लेकर आया है और इसके प्रभाव आपके जीवन में किस प्रकार से पड़ेगा लेकिन इससे पहले जान लेते हैं मंगल के गोचर का समय व तिथि।

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मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर: समय और तिथि

वीरता, शौर्य व शक्ति के कारक ग्रह मंगल 16 नवंबर 2023 की सुबह 10 बजकर 03 मिनट पर 12 राशियों में से आठवीं राशि वृश्चिक में गोचर करने जा रहे हैं जिसके स्वामित्व स्वयं मंगल ग्रह को प्राप्त है। वृश्चिक एक जलीय राशि है और यह हमारे शरीर में तामसिक ऊर्जा को नियंत्रित करती है। वृश्चिक राशि सभी राशियों में सबसे संवेदनशील राशि मानी गई है। यह हमारे जीवन में उतार-चढ़ाव और निरंतर परिवर्तन को नियंत्रित करती है। आगे जानते हैं मंगल का गोचर सभी 12 राशि के जातकों को किस प्रकार से प्रभावित करेगी लेकिन इससे पहले जान लेते हैं वृश्चिक राशि में मंगल के गोचर का प्रभाव और ज्योतिष में मंगल का महत्व।

ज्योतिष में मंगल ग्रह का महत्व

वैदिक ज्योतिष में मंगल ग्रह ऊर्जा, बड़े व छोटे भाई, जमीन, ऊर्जा, साहस, पराक्रम, शौर्य के कारक हैं। जीवन में ऊर्जा देने का काम मंगल ही करता है। मंगल ग्रह को मेष और वृश्चिक राशि का स्वामित्व प्राप्त है। मेष राशि में मंगल बेहद बलवान कहे जाते हैं। इस राशि में वो मूल त्रिकोण कहलाते हैं वहीं वृश्चिक राशि में स्वराशि के होते हैं। यह मकर राशि में उच्च के होते हैं, जबकि कर्क इनकी नीच राशि है। 

वहीं नक्षत्रों में यह मृगशिरा, चित्रा और धनिष्ठा नक्षत्र के स्वामी होते हैं। किसी भी व्यक्ति के शरीर में मंगल आंखों को नियंत्रित करते हैं । यदि किसी जातक का मंगल शुभ हो तो वह स्वभाव से निडर और साहसी होता है और युद्ध में विजय प्राप्त करता है। लेकिन यदि किसी जातक की जन्म कुंडली में मंगल अशुभ स्थिति में विराजमान हो तो जातक को जीवन के कई क्षेत्रों में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। मंगल ग्रह लाल रंग का प्रतिनिधित्व करता है।

आगे बढ़ते हैं और जानते हैं वृश्चिक राशि में मंगल ग्रह का प्रभाव किस प्रकार से पड़ता है।

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वृश्चिक राशि में मंगल ग्रह

वृश्चिक राशि में मंगल के प्रभाव से जातक को किसी सरकारी कार्य को पूरा करने में सरकार का सहयोग प्राप्त होता है और इनके सारे काम आसानी से निपट जाते हैं। आर्थिक जीवन की बात करें तो इन्हें किसी भी प्रकार की परेशानी का सामना नहीं करना पड़ता है। ये पर्याप्त धनलाभ प्राप्त कर अपने जीवन को सुचारू रूप से चलाने में सफल होते हैं। ये स्वभाव में निडर, आक्रामक और दुश्मनों को दबाने में हर तरह से सक्षम होते हैं। ये जातक अपने परिवार का भी विशेष ध्यान देते हैं। इन्‍हें हमेशा मुश्किल काम करना ही अच्‍छा लगता है और इनकी इंद्रियां काफी तेज होती हैं। यो जातक आसानी से लोगों के बीच अपना आपा नहीं खोते हैं और जल्दी क्रोधित नहीं होते हैं। इनकी एक खास बात यह है कि ये दूसरों पर आसानी से भरोसा भी नहीं करते हैं और न ही जल्‍दी से किसी के करीब जाते हैं और न ही इनको समझौता करना पसंद होता है।

वृश्चिक राशि में मंगल के नकारात्मक प्रभाव की बात करें तो ये जातक किसी तरह की साजिश में फंसने की वजह से लंबी मुकदमेबाजी का सामना कर सकते हैं। कई बार जेल जाने तक की नौबत आ जाती है। वृश्चिक राशि में मंगल की उपस्थिति खासतौर से कर्क, सिंह, मकर और कुंभ राशि वालों के पहले भाव के लिए अच्छे परिणाम देने वाला साबित हो सकता है।

कुंडली में मंगल की मजबूत स्थिति के संकेत

मंगल ग्रह यदि आपकी कुंडली में मजबूत स्थिति में मौजूद हो तो कई सारे शुभ परिणाम प्राप्त होते हैं। आइए जानते हैं मंगल की मजबूत स्थिति के क्या संकेत हैं:

  • मंगल की प्रबलता से व्यक्ति निडरता से अपने निर्णय लेता है और अपने फैसले पर टिका रहता है।
  • जातक ऊर्जावान महसूस करता है और ऐसे जातकों की इम्यूनिटी मजबूत होती है, जिसके चलते ये सभी रोगों से लड़ने में सक्षम होते हैं।
  • बली मंगल के परिणामस्वरूप इन जातकों के उत्पादक क्षमता में वृद्धि होती है। 
  • ये जातक विपरीत परिस्थितियों में भी बड़ी सी बड़ी चुनौतियों को स्वीकार करते हैं उन्हें मात भी देते हैं। 
  • बली मंगल का प्रभाव केवल व्यक्ति के ही ऊपर नहीं पड़ता है, बल्कि इसका प्रभाव व्यक्ति के पारिवारिक जीवन पर पड़ता है। मंगल के शुभ प्रभाव के कारण व्यक्ति के भाई-बहन अपने कार्यक्षेत्र में खूब नाम कमाते हैं।
  • मंगल के शुभ प्रभाव से जातक सेना, पुलिस, प्रॉपर्टी डीलिंग, इलेक्ट्रॉनिक संबंधी, इलेक्ट्रिक इंजीनियरिंग, स्पोर्ट्स आदि क्षेत्र में बेहतरीन प्रदर्शन करता है।

पीड़ित मंगल के संकेत

  • यदि आपकी कुंडली में मंगल दोष है तो आपका विवाह देरी या किसी प्रकार की रुकावट आ सकती है। इसके अलावा, दांपत्य जीवन अशांतिपूर्ण हो सकता है या फिर आगे चलकर रिश्ता भी टूट की कगार में भी आ सकता है।
  • यदि मंगल खराब है या मंगल दोष है तो व्यक्ति कई प्रकार के रोगों से घिरा रह सकता है। साथ ही, उसे गुर्दे में पथरी, ब्लड प्रेशर, गठ‍िया, फोड़े-फुंसी आदि जैसे बीमारियां हो सकती हैं।
  • पीड़ित मंगल के कारण जातक का स्वभाव उग्र हो जाता है, जिसके कारण हर व्यक्ति से संबंध खराब होते चले जाते हैं। भाई-बहनों से भी नहीं बनती है और ये लोग अत्यधिक गुस्सा करने लगते हैं।
  • कमजोर मंगल के कारण जातक संतान सुख से भी वंचित हो जाता है या संतान पैदा करने में कई समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
  • कुंडली में मंगल की कमजोर स्थिति के परिणामस्वरूप व्यक्ति कोर्ट के मामलों में फंस सकता है और अपने परिवार के सदस्यों या मित्रों को धोखा भी दे सकता है।
  • इसके अलावा, मंगल के अशुभ प्रभाव से व्यक्ति को किसी दुर्घटना का सामना करना पड़ता है।

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मंगल के शुभ प्रभाव पाने के लिए करें ज्योतिषीय उपाय

मंगल दोष को दूर करने के लिए कुछ आसान उपाय दिए जा रहे हैं, जिसे अपनाकर आप सभी समस्याओं से छुटकारा पा सकेंगे।

मंगलवार का व्रत करें

मंगल दोष को दूर करने के लिए पवन सुत हनुमान जी की विधि-विधान से पूजा करें। 11 या 21 मंगलवार का व्रत करें और साथ ही, सुंदरकांड का पाठ अवश्य करें। माना जाता है ऐसा करने से आप जीवन के हर क्षेत्र में बेहतरीन परिणाम प्राप्त करें।

मूंगा रत्न धारण करें

मंगल दोष से मुक्ति के लिए आप मंगल ग्रह के शुभ रत्न मूंगा या उपरत्न लाल हकीक में से कोई एक धारण कर सकते हैं। इस रत्न को पहनने से साहस मिलता है और भौतिक सुखों में वृद्धि होती है। साथ ही, यह करियर और व्यापार से संबंधित जातकों के लिए बहुत ही लाभकारी होता है। हालांकि कोई भी रत्न धारण करने से पहले ज्योतिषी की सलाह जरूर ले लें।

इन मंत्रों का करें जाप

मंगलवार के दिन मंगल ग्रह के लिए इस मंत्र का 108 बार जाप करें। मंत्र- ‘ॐ भौमाय नम:’ या ‘ॐ अं अंगारकाय नम:’। ऐसा करने से जीवन में सुख-समृद्धि की प्राप्ति होगी।

इन चीजों का करें दान

कुंडली में मंगल की स्थिति को मजबूत करने के लिए लाल वस्त्र, लाल मसूर की दाल, लाल रंग का फूल, मूंगा, लाल चंदन आदि का दान कर सकते हैं। ऐसा करने से आर्थिक जीवन में आ रही समस्याओं से छुटकारा मिलेगा।

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लाल वस्त्र धारण करें

मंगल ग्रह का रंग लाल है इसलिए इसे लाल ग्रह भी कहते हैं। ऐसे में यदि आपकी कुंडली में मंगल की स्थिति कमजोर है तो आपको मंगलवार के दिन लाल वस्त्र पहनने चाहिए। यदि ऐसा संभव न हो तो आप लाल रंग की रुमाल भी अपने साथ रख सकते हैं।

महामृत्युंजय मंत्र का जाप करें

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, मंगल ग्रह के दुष्प्रभाव को कम करने के लिए भगवान शिव के महामृत्युंजय मंत्र का जाप करना चाहिए। साथ ही, पूजा के दौरान लाल चोला हनुमान जी को चढ़ाना चाहिए। 

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मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर: सभी 12 राशियों पर सकारात्मक व नकारात्मक प्रभाव!

मेष राशि

मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर आपको कई बार अप्रिय स्थिति में लाकर खड़ा कर सकता है। हालांकि इन परिस्थितियों से आपको कोई नुकसान नहीं होगा(विस्तार से पढ़ें)

वृषभ राशि

जीवनसाथी के साथ किसी छोटे-मोटे विवाद या तर्क वितर्क में उलझा हुआ पा सकते हैं जिससे आपके रिश्ते में असुरक्षा की भावना उत्पन्न(विस्तार से पढ़ें)

मिथुन राशि

मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर मिथुन राशि के जातकों के लिए बेहद ही अनुकूल साबित होने वाला है क्योंकि ज्योतिष के अनुसार(विस्तार से पढ़ें)

कर्क राशि

मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर कर्क राशि के छात्र जातकों के लिए विशेष तौर पर शुभ परिणाम लेकर आएगा। खासकर(विस्तार से पढ़ें) 

सिंह राशि

मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर की यह अवधि संपत्ति में निवेश करने के लिए या वाहन खरीदने के लिए बेहद ही उपयुक्त साबित होगी। हालांकि(विस्तार से पढ़ें)

कन्या राशि

कन्या राशि के जातकों के लिए मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर कुछ पहलुओं में अच्छा रहने वाला है क्योंकि तीसरे(विस्तार से पढ़ें)

तुला राशि

मंगल का यह गोचर आपके लिए औसत रहने वाला है क्योंकि एक तरफ आपकी बचत और बैंक बैलेंस में वृद्धि होगी तो(विस्तार से पढ़ें)

वृश्चिक राशि

इस राशि के जो जातक कोई परीक्षा दे रहे हैं या खेल के क्षेत्र से जुड़े हुए हैं उनके लिए भी यह गोचर शुभ रहेगा। हालांकि वहीं(विस्तार से पढ़ें)

धनु राशि

धनु राशि के जातकों के लिए मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर अनुकूल साबित होगा। विशेष तौर पर(विस्तार से पढ़ें)

मकर राशि

इस राशि के जो जातक रियल एस्टेट व्यवसाय में निवेश कर चुके हैं उन्हें इस दौरान(विस्तार से पढ़ें)

कुंभ राशि

वृश्चिक राशि में गोचर पेशेवर जीवन की लिहाज से कुंभ राशि के जातकों के लिए बेहद ही अनुकूल रहने वाला है(विस्तार से पढ़ें)

मीन राशि

मंगल का वृश्चिक राशि में गोचर आपको अपने पिता और गुरु का आशीर्वाद और सहयोग दिलाने में सहायक साबित होगा। अपने परिवार(विस्तार से पढ़ें)

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