वैदिक ज्योतिष में सूर्य और गुरु की युति का विशेष महत्व माना गया है। ज्योतिष के जानकार मानते हैं कि जब भी सूर्य और गुरु की एक साथ युति होती है तो यह विशेष शुभ फलदाई होती है। मई के महीने में ऐसा हुआ भी है। दरअसल 14 मई को गुरु और सूर्य की युति हुई है जिससे मई का यह दिन साल का सबसे शुभ दिन माना जा रहा है।
जहां एक तरफ सूर्य आत्मा, गरिमा और आत्मविश्वास का प्रतीक है वहीं गुरु को विस्तार, विकास, आध्यात्मिकता, भाग्य और अवसर का प्रतीक माना गया है। ऐसे में गुरु-सूर्य युति की ये अवधि व्यक्ति के सपनों और लक्ष्यों के लिहाज से बेहद ही शानदार मानी जा रही है।
ये युति कब तक रहेगी? इस युति से आपको कैसे परिणाम मिलेंगे और इस युति को अपने लिए और भी शुभ और यादगार बनाने के लिए आप राशि अनुसार क्या कुछ कर सकते हैं? इन सभी बातों की जानकारी आपको हमारे इस विशेष ब्लॉग के माध्यम से हम देने का प्रयत्न करेंगे।
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साल का सबसे शुभ दिन
बृहस्पति का वृषभ राशि में प्रवेश व्यक्ति के जीवन में शक्तिशाली ऊर्जा लेकर आएगा। इसके अलावा आपकी जानकारी के लिए बता दें कि जब भी सूर्य (सूर्य का वृषभ राशि में गोचर 14 मई) और गुरु (गुरु का वृषभ राशि में गोचर 1 मई) की युति होती है तो इससे गुरु आदित्य योग का निर्माण होता है। इस योग के प्रभाव से व्यक्ति के अंदर आत्मविश्वास की वृद्धि होती है, व्यक्ति को अच्छे ज्ञान की प्राप्ति होती है, हर काम में शुभ परिणाम प्राप्त होते हैं, करियर में तरक्की मिलती है, व्यक्तित्व में निखार आता है और स्वास्थ्य अच्छा रहता है।
अधिक जानकारी: सूर्य वृषभ राशि में 15 जून तक मौजूद रहेंगे। अर्थात सूर्य-गुरु की ये युति तकरीबन 1 महीने की अवधि तक चलेगी। इसके अलावा इसी अवधि में शुक्र और बुध भी वृषभ राशि में प्रवेश कर जाएंगे। यानि कि मई महीने में वृषभ राशि में एक दो नहीं पूरे 4 ग्रह एक साथ आने वाले हैं।
जैसा कि हमने पहले भी बताया कि वैदिक ज्योतिष में गुरु और सूर्य की युति विशेष मायने रखती है तो चलिए अब आगे बढ़ते हैं जान लेते हैं राशियों के ऊपर क्या प्रभाव पड़ने वाला है। साथ ही जानेंगे राशि अनुसार इस दौरान आपको क्या कुछ काम करना चाहिए और क्या कुछ काम भूल से भी नहीं करना चाहिए।
गुरु सूर्य युति- राशि अनुसार प्रभाव और क्या करें क्या ना करें की जानकारी
मेष राशि
यह अवधि आपको वित्तीय लक्ष्यों को हासिल करने में सफलता दिलाएगी। आपके व्यक्तित्व में आत्मनिर्भरता और निखार आएगा और आपके जीवन में सुख समृद्धि और सफलता बढ़ेगी।
इस दौरान क्या करें: अपने तर्क और भावनाओं को संतुलित करके आशावादी दीर्घकालिक योजना बनाएं।
क्या ना करें: अतीत की असफलताओं, गलतियों और चीजों में ज्यादा लिप्त होने की प्रवृत्ति को खुद को पीछे ना ले जानें दें।
वृषभ राशि
आपके लिए यह अवधि भावनात्मक विस्तार और समस्या से उबरने के लिए सर्वश्रेष्ठ अवसर प्रदान करेगी। यह समय आपके जीवन में खामियों से उबर कर सुंदरता और सफलता लेकर आएगा।
क्या करें: उदार, दयालु और क्षमाशील बनें।
क्या ना करें: दूसरों की गलतियां नजरअंदाज करने की कोशिश करें और खुद को बेहतर बनाने का प्रयत्न करें।
मिथुन राशि
यह समय आपको इस बात का एहसास दिलाएगा कि आपके जीवन में अब हर वह चीज आ चुकी है जिसकी आप कामना करते हैं। ऐसे में अपने व्यस्त जीवन से थोड़े पल चुरा कर इन चीजों के लिए धन्यवाद करें और इन चीजों का जश्न मनाएं। इसके अलावा ताजी हवा में सांस लें और खुद को प्रोत्साहित करें।
इस दौरान क्या करें: देखें कि आप अपने जीवन में कितनी दूर आ गए हैं।
क्या ना करें: बेवजह की जिद करने से परहेज करें।
कर्क राशि
कर्क राशि के जातक अपने जीवन से क्या चाहते हैं और बदले में क्या देना चाहते हैं यह जानने के लिए यह समय शानदार रहेगा। कृतज्ञता को अपने जीवन में शामिल करें।
क्या करें: अपने जीवन में भौतिक, भावनात्मक, शारीरिक और आध्यात्मिक संतुलन की खोज करें।
क्या ना करें: अपनी भावनाओं पर हावी ना हों।
सिंह राशि
जीवन में पीछे मुड़कर देखने के बजाय आगे आने वाली जीत का जश्न मनाने के लिए यह दिन शानदार रहेगा। साथ ही आपने अपने जीवन में जिस भी लक्ष्य को बहुत अधिक महत्व दिया है उसे कड़ी मेहनत करके अपने जीवन में आगे बढ़ाने के लिए भी यह समय शानदार रहेगा।
क्या करें: अपने लोगों और अपनेपन की भावना का जश्न मनाएँ।
क्या ना करें: सूक्ष्म प्रबंधन परिणाम पर ध्यान केंद्रित करें।
कन्या राशि
आप लंबे समय से दुनिया से छिपकर और बचकर रहना चाह रहे थे लेकिन अब बस। अपने आप को प्यार, समर्थन और दया देने और खुद को अपनाकर स्वीकार करें। जब आप आत्म मूल्य में बदलाव महसूस करेंगे तो अपने आप आप जीवन में उन चीजों को अपनी तरफ आकर्षित करने में कामयाब रहेंगे जो वास्तव में आपके योग्य हैं।
क्या करें: जीवन की रफ्तार थोड़ी कम करें।
क्या ना करें: खुद पर ज्यादा कठोर ना बनें।
तुला राशि
एक लंबी कठिन सड़क पर चलने से आपको अपने लक्ष्य तक पहुंचने में मदद मिलने वाली है। ग्रहों का यह संयोजन इस बात पर निश्चित रूप से प्रकाश डालने वाला है कि वास्तव में आपके लिए अपने जीवन में क्या चीज मायने रखती हैं।
क्या करें: आप जो और जिससे प्यार करते हैं उसमें खुद को खो दें।
क्या ना करें: लोग क्या कहते हैं इस पर ध्यान केंद्रित न करें।
वृश्चिक राशि
जैसे-जैसे आप अपने जीवन में फैसला लेते हैं और उन पर कायम रहते हैं अतीत की सारी भ्रांतियां धीरे-धीरे आपके जीवन से समाप्त होने लगेगी। ग्रहों का यह संयोजन आपके जीवन में सुरक्षा, स्थिरता और विकास लेकर आएगा।
क्या करें: अपने जीवन के लिए एक ठोस नींव निर्धारित करें।
क्या ना करें: अपने डर को बढ़ावा ना दें।
धनु राशि
बाधाओं से दूर होकर स्वतंत्र होने के लिए यह समय बेहद ही शानदार साबित होगा। आप इस समय अपने जीवन और अपने लक्ष्यों के बीच उचित तालमेल महसूस करेंगे।
क्या करें: अपने व्यक्तिगत संरचना और अनुशासन को अपनाएँ।
क्या ना करें: नियमों का उल्लंघन न करें।
मकर राशि
इस समय अवधि में आप मानसिक रूप से मजबूत महसूस करेंगे। आपको उन सवालों के जवाब मिलेंगे जिससे आप आगे बढ़ने में कामयाब होंगे। इसके अलावा इस समय अवधि में आपको अपने जीवन में प्रेरणा की एक ऐसी अलौकिक किरण मिलने वाली है जो आपको अपने जीवन में बहुत दूर ले जाएगी।
क्या करें: अपने लक्ष्यों पर ध्यान केंद्रित करने को प्राथमिकता दें।
क्या ना करें: दूसरों से खुद की बराबरी ना करें।
कुंभ राशि
ग्रहों के संयोजन से आपको जीवन में सफलता और सुरक्षा प्राप्त होगी। आप जीवन में जहां पहुंच चुके हैं यहां पहुंचने के लिए अपने कड़ी मेहनत की है और अब समय है खुद को शाबाशी देने का और आगे बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करने का।
क्या करें: इस बात पर ध्यान केंद्रित करें कि आपकी आंतरिक आवाज आपका ध्यान किसी और खींच रही है।
क्या ना करें: किसी बात के संशय में ना रहें।
मीन राशि
यह समय आपके दिमाग को आपके जीवन में क्या बदलना है कैसे बदलना है या उन चीजों को कैसे स्वीकार करना है जो पहले से ही काफी अच्छी है के बारे में विचार करने के लिए शानदार समय साबित होगा। आप इन्हीं विचारों की जंजीरों में जकड़े नजर आ सकते हैं। इसके अलावा इस समय अवधि में आपके जीवन में स्थिरता और सुरक्षा बढ़ेगी।
क्या करें: आगे बढ़ते रहें।
क्या ना करें: अपने आप को दूसरों से कंपेयर ना करें।
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अक्सर पूछे जाने वाले सवाल
उत्तर: सूर्य गुरु की युति 14 मई से 15 जून तक होगी।
उत्तर: सूर्य गुरु की युति से गुरु आदित्य योग का निर्माण होता है।
उत्तर: मई के महीने में वृषभ राशि में गुरु, सूर्य, शुक्र और बुध एक साथ आने वाले हैं। ज्योतिषीय दृष्टि से इसका विशेष महत्व माना जा रहा है।