हिंदू धर्म में अमावस्या तिथि और पूर्णिमा तिथि का बेहद ही महत्व बताया गया है। पूर्णिमा और अमावस्या यह दोनों ही तिथियां प्रत्येक माह में एक बार अवश्य पड़ती है। ऐसे में एक साल में कुल 12 अमावस्या और 12 पूर्णिमा तिथियाँ आती हैं। यहाँ जानने वाली बात यह भी है कि जिस माह में जो अमावस्या पड़ती है उसे उस माह की अमावस्या के नाम से जाना जाता है। जैसे कि हिंदू महीने चैत्र माह में पड़ने वाली अमावस्या को चैत्र अमावस्या 2022 (Chaitra Amavasya 2022) के नाम से जाना जाता है।
आमतौर पर अमावस्या के दिन पितरों के लिए दान पुण्य तर्पण करने, पवित्र नदियों में स्नान आदि करने का बेहद ही महत्व बताया जाता है। मान्यता है कि यदि चैत्र अमावस्या के दिन सूर्य के साथ-साथ पितरों की भी पूजा की जाए तो इससे हमारे पूर्वज और पितर प्रसन्न होते हैं। बात करें इस वर्ष चैत्र अमावस्या तिथि की तो उदया तिथि के अनुसार इस साल चैत्र अमावस्या 1 अप्रैल को पड़ रही है।
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चैत्र अमावस्या 2022: तिथि और शुभ मुहूर्त
1 अप्रैल, 2022 (शुक्रवार)
मार्च 31, 2022 को 12:24:45 से अमावस्या आरम्भ
अप्रैल 1, 2022 को 11:56:15 पर अमावस्या समाप्त
जानकारी: ऊपर दिया गया मुहूर्त दिल्ली के लिए मान्य है। यदि आप अपने शहर के अनुसार इस दिन का शुभ मुहूर्त जानना चाहते हैं तो यहां क्लिक करके जान सकते हैं।
चैत्र अमावस्या का महत्व
सनातन धर्म में अमावस्या तिथि का धार्मिक महत्व बहुत ज्यादा माना जाता है। कहते हैं इस दिन यदि पितरों के लिए पूजा, अर्चना, तर्पण, आदि किया जाए तो उन्हें मोक्ष प्राप्त होता है। इतना ही नहीं अमावस्या तिथि के दिन यदि कुछ सरल ज्योतिषीय उपाय किए जाएं तो इससे व्यक्ति को पितृ दोष और काल सर्प दोष जैसे जटिल कुंडली दोषों से भी छुटकारा मिल जाता है।
चैत्र अमावस्या का धार्मिक महत्व
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार चैत्र अमावस्या के दिन यदि पवित्र नदियों में स्नान किया जाए तो इससे व्यक्ति के जीवन में हमेशा भगवान विष्णु की कृपा बनी रहती है। इसके साथ ही अमावस्या तिथि पर चंद्रमा की विधिवत पूजा करने से भी व्यक्ति को चंद्र देव का आशीर्वाद प्राप्त होता है और जीवन में सुख समृद्धि बनी रहती है।
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चैत्र अमावस्या ज्योतिषीय महत्व
ज्योतिषीय महत्व की बात करें तो अमावस्या तिथि वह तिथि होती है या वह दिन होता है जिस दिन सूर्य और चंद्रमा एक ही राशि में मौजूद होते हैं। ज्योतिष के अनुसार जहां सूर्य एक तरफ आग्नेय तत्व को दर्शाता है वहीं चंद्रमा शीतलता का प्रतीक माना गया है यानी शांति का प्रतीक माना गया है। ऐसे में जब चंद्रमा सूर्य के प्रभाव में आता है तो चंद्रमा का प्रभाव धीरे-धीरे क्षीण होने लगता है इसलिए मन को एकाग्र चित्त करने के लिए इस दिन का विशेष महत्व बताया गया है।
धर्म और ज्योतिष के जानकार मानते हैं कि अमावस्या का यह पावन दिन आध्यात्मिक चिंतन के लिए बेहद ही शुभ और सर्वश्रेष्ठ होता है। इसके अलावा माना जाता है कि जो लोग अमावस्या तिथि के दिन जन्म लेते हैं उनकी कुंडली में चंद्र दोष होता है।
चैत्र अमावस्या के दिन किए जाने वाले अनुष्ठान
- चैत्र अमावस्या के दिन जल्दी उठकर किसी पवित्र नदी में स्नान करने का विधान बताया गया है। हालांकि अगर यह मुमकिन नहीं है तो आप अपने घर में ही नहाने के पानी में कुछ बूंद गंगाजल के डालकर उससे स्नान कर सकते हैं। इससे भी आपको उतना ही पुण्य प्राप्त होगा।
- स्नान करने के बाद पितरों और सूर्य देव की पूजा करें।
- इसके बाद अपनी यथाशक्ति के अनुसार जरूरतमंदों को अनाज, कपड़े, खाने की सफेद वस्तुएं, पानी के लिए मिट्टी के बर्तन, आदि का दान करना चाहिए। ऐसा करने से आपके पितृ भी प्रसन्न होते हैं और उन्हें मोक्ष की प्राप्ति होती है। साथ ही व्यक्ति को अमोघ फल की भी प्राप्ति होती है।
चैत्र अमावस्या हिंदू वर्ष का अंतिम दिन
चैत्र अमावस्या का महत्व इसलिए भी एनी अमावस्या की तुलना में ज्यादा माना जाता है क्योंकि यह हिंदू वर्ष का अंतिम दिन होता है। चैत्र अमावस्या विक्रम संवत वर्ष का आखिरी दिन होता है। चैत्र अमावस्या के बाद चैत्र शुक्ल प्रतिपदा तिथि आती है जिसे हिंदू नव वर्ष का पहला दिन माना गया है। कहते हैं चैत्र शुक्ल प्रतिपदा ही वो दिन था जिस दिन ब्रह्मा जी ने सृष्टि की रचना की थी।
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सुख समृद्धि के लिए चैत्र अमावस्या पर अवश्य करें इनमें से कोई भी एक उपाय
- चैत्र अमावस्या के दिन गाय की शुद्ध घी का दीपक जलाएं। ध्यान रखें कि इसमें आपको रुई की बत्ती का इस्तेमाल नहीं करना है बल्कि लाल रंग के धागे का इस्तेमाल करना है। इसके बाद इस दीपक में थोड़ा सा केसर डाल दें। इस दीपक को घर के ईशान कोण में रखें। इस उपाय को करने से आपके जीवन में महालक्ष्मी की कृपा बनी रहेगी। साथ ही सुख समृद्धि आपके जीवन में आजीवन बनी रहेगी।
- इस दिन का दूसरा उपाय आप यह कर सकते हैं कि किसी भूखे, ज़रूरतमंद या गरीब को भोजन कराएं। भूखा इंसान नहीं तो आप किसी पशु पक्षी को भोजन करा सकते हैं या फिर आप किसी तालाब में जाकर आटे की गोलियां मछलियों के लिए डाल सकते हैं। इस उपाय को करने से आपके पितृ प्रसन्न होंगे और साथ ही आपको हर परेशानी से छुटकारा मिलने लगेगा।
- चैत्र अमावस्या के दिन पितरों को प्रसन्न करना बेहद ही आसान और उपयुक्त होता है। ऐसे में इस दिन गाय के गोबर के उपले लेकर इस पर शुद्ध घी और गुड रखकर धूप दें। इसके साथ ही आप अपने पितरों के पसंद का शुद्ध खाना बनाएं और उसे अपने पितरों को अर्पित करें।
- अगर आपको काम में मेहनत के बाद भी सफलता नहीं मिल रही है तो चैत्र अमावस्या के दिन चींटियों को आटे में चीनी मिलाकर खिलायें। ऐसा करने से आपके सभी काम पूरे होने लगेंगे, आपको सफलता मिलने लगेगी, और साथ ही आपके सभी पाप और कष्ट भी दूर होने लगेंगे।
- चैत्र अमावस्या के दिन आप अपने घर की छत पर दीपक जला कर रखते हैं। इस उपाय से भी मां लक्ष्मी की कृपा आजीवन आपके जीवन में बनी रहेगी और आपको कभी भी धन की कमी नहीं उठानी पड़ेगी।
- नौकरी, व्यापार इत्यादि से जुड़ी कोई समस्या है या फिर कुंडली में पितृ दोष है तो अमावस्या के दिन पीपल के पेड़ के नीचे सरसों के तेल का दीपक जलाएं।
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चैत्र का महीना इन राशियों के लिए रहेगा बेहद शुभ मिलेगी मां दुर्गा की असीम कृपा
चैत्र का महीना हिंदू कैलेंडर के अनुसार साल का पहला महीना होता है। ऐसे में इसका धार्मिक और ज्योतिष महत्व बताया गया है। चैत्र के महीने में ही चैत्र नवरात्रि भी पड़ती है।
आगे बढ़ते हैं और जान लेते हैं कि चैत्र का यह महीना किन राशियों के लिए बेहद ही शुभ रहने वाला है।
- मेष राशि: मेष राशि के जातकों के लिए चैत्र का महीना शुभ होगा। इस दौरान आप कार्य क्षेत्र में नई जिम्मेदारियां प्राप्त कर सकते हैं। साथ ही प्रमोशन के भी प्रबल योग बन रहे हैं।
- मिथुन राशि: चैत्र का महीना मिथुन राशि के जातकों के लिए भी बेहद शानदार महीना साबित होगा। इस दौरान आपकी यात्रा के प्रबल योग बन रहे हैं और इन यात्राओं से आपको लाभ भी होगा। व्यापारी जातकों के लिए विशेष तौर पर यह समय उपयुक्त रहने वाला है।
- कर्क राशि: तीसरी राशि जिसके लिए चैत्र का महीना शुभ रहेगा वह है कर्क राशि। इस दौरान आपकी आध्यात्मिक मामलों के प्रति रुचि बढ़ती नजर आएगी। आप इस दौरान किसी धार्मिक यात्रा पर भी जा सकते हैं।
- कन्या राशि: इसके अलावा चैत्र का महीना कन्या राशि के जातकों के लिए भी शुभ साबित होगा। हालांकि कार्यक्षेत्र पर आप थोड़ा सतर्क रहने की सलाह दी जाती है लेकिन व्यापारी जातकों को सफलता के ढेरों अवसर प्राप्त होंगे। इस दौरान आप कोई नया व्यापार भी शुरू कर सकते हैं।
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